अलवर. भर्तहरि धाम के पास सरिस्का के जंगल में मंगलवार को एक महिला का शव पड़ा हुआ मिला था. उसके हाथ और पैर अलग कटे हुए पड़े थे. इसकी पहचान बानसूर के भूपसेड़ा गांव की रहने वाली महिला के रूप में हुई है. परिजनों ने हत्या की आशंका जताई है और आरोपियों को गिरफ्तार नहीं कर लेने तक पोस्टमार्टम करवाने से मना कर दिया है.
सुनीता यादव ने जनवरी में नसबंदी का ऑपरेशन करवाया था. चिकित्सकों की सलाह पर वह 17 जनवरी की सुबह घर के बाहर टहल रही थी. उसी दौरान कुछ मिनटों में ही महिला लापता हो गई. परिजनों ने मामले की लिखित शिकायत पुलिस को दी थी. महिला का शव 8 फरवरी को को भर्तहरि धाम के पास जंगल में पड़ा हुआ मिला. बुधवार को शव की पहचान हुई. शव को राजीव गांधी अस्पताल की मोर्चरी में रखवाया गया है.
दूसरी तरफ परिजन महिला की हत्या का आरोप लगा रहे हैं. ग्रामीणों का आरोप है कि पुलिस ने इस मामले में लापरवाही की है. इसलिए महिला की हत्या हुई है. परिजनों का कहना है कि जब तक आरोपी गिरफ्तार नहीं होंगे, वे शव नहीं लेंगे. बानसूर पुलिस प्रशासन ग्रामीणों व परिजनों की समझाइश कर रहा है. गौरतलब है कि इसी मामले को लेकर परिजन 28 जनवरी को पुलिस अधीक्षक तेजस गौतम से और बाद में जयपुर आईजी से भी मिले थे. महिला का कोई सुराग नहीं मिलने पर गांव की चौपाल में बड़ी सभा की गई. इसमें पुलिस अधिकारी व जनप्रतिनिधि भी पहुंचे थे. पुलिस से महिला की बरामदगी की बात कही थी.