अलवर. जिले में सरिस्का को 1 अक्टूबर से पर्यटकों के लिए खोल दिया गया है. सरिस्का में कुल 5 जोन है. अभी तक केवल एक जोन चल रहा था. तो वहीं सरिस्का में अभी कुल 11 बाग और बाघिन है. लंबे समय से बाघों की मौत के चलते विवादों में रहने वाले सरिस्का को लगातार बचाने के प्रयास किए जा रहे हैं.
886 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में फैले हुए अलवर के सरिस्का को बाघों के लिए सुरक्षित क्षेत्र माना जाता है. लेकिन लगातार लंबे समय से सरिस्का में हो रही बाघों की मौत के चलते सरिस्का विवादों में रहने लगा है. इससे पहले भी साल 2005 में सरिस्का बाघ विहीन हो गया था. उसके बाद भी आए दिन बाघों की मौत के मामले सामने आते रहे है.
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वहीं, बीते डेढ़ साल के दौरान सरिस्का में चार बाघों की मौत हो चुकी है. सरिस्का को 1 अक्टूबर से पर्यटकों के लिए खोल दिया गया है. शिरीष का मैप 5 जून है अभी तक केवल 1 जून को पर्यटकों के लिए खोल कर रखा गया था. लेकिन पर्यटन सीजन शुरू होते ही सरिस्का के सभी जोन को पर्यटकों के लिए खोल दिया गया है.
बता दें कि पहले दिन सरिस्का के अधिकारियों और मंत्रियों ने आने वाले पर्यटक को तिलक लगाकर और माला पहनाकर उनका स्वागत किया. इस मौके पर बड़ी संख्या में सरिस्का के अधिकारी भी मौके पर मौजूद रहे.
सरिस्का विश्व भर में अपनी अलग पहचान रखता है. साल भर में देश-विदेश से पर्यटक अलवर आते हैं. इस बार सरिस्का में बीते सालों की तुलना में बेहतर बारिश हुई है. इसलिए आगामी अप्रैल माह तक सरिस्का में पानी की समस्या नहीं रहेगी. इसलिए सरिस्का प्रशासन को इस साल बेहतर पर्यटक आने की उम्मीद है.
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पहली बार सरिस्का को गर्मी में बारिश के मौसम में भी पर्यटकों के लिए खोला गया था. लेकिन इस दौरान पर्यटकों को केवल सरिस्का के 1 जून में आने जाने की अनुमति थी. सरिस्का में लगातार हो रही बाघों की मौत के चलते प्रशासन की तरफ से सरिस्का को बचाने के प्रयास किए जा रहे हैं. सरिस्का में बेहतर सुरक्षा इंतजाम किए गए हैं.