उदयपुर. कोरोना के चलते जहां देश-दुनिया की स्थिति पूरी तरह से बिगड़ गई है. झीलों के शहर उदयपुर में भी कोरोना वायरस के चलते सालों पुरानी परंपरा एक बार फिर टूटी है. बता दें कि लेकसिटी में हरियाली अमावस्या के मौके पर राजा महाराजाओं के समय से मेले का आयोजन किया जाता था.
वहीं उदयपुर में फतेह सागर की पाल से सहेलियों की बाड़ी तक महिलाओं के लिए एक मेले का आयोजन किया जाता था, लेकिन इस साल शहर की सालों पुरानी परंपरा टूट गई और इतिहास में पहली बार हरियाली अमावस्या के मेले का आयोजन नहीं किया गया. जबकि हर साल इस मेले में शामिल होने के लिए उदयपुर समेत आसपास के कई जिलों के हजारों लोग उदयपुर पहुंचते थे.
यह मेला मेवाड़ के सबसे बड़े मेलों में से एक था, लेकिन कोरोना के कहर से यह भी अछूता नहीं रहा और राज्य और केंद्र सरकार के आदेश के बाद जिला प्रशासन द्वारा इसे रद्द कर दिया गया है.
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बता दें कि उदयपुर में कोरोना वायरस संक्रमित मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है. ऐसे में एहतियातन जिला प्रशासन द्वारा यह निर्णय लिया गया. वहीं उदयपुर जिला कलेक्टर द्वारा हरियाली अमावस्या के मौके पर अवकाश जारी किया गया है.