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किसान आंदोलन को 'धार' देने टिकैत संग रावण, 'किसान देश की रीढ़ की हड्डी, उसे तोड़ने का प्रयास सहन नहीं होगा'

केंद्रीय कृषि कानूनों के विरोध में जारी किसान आंदोलन के तहत बुधवार को प्रदेश के किसानों ने नागौर में अपनी एकजुटता दिखाई. यहां हुई किसान महापंचायत को किसान नेता राकेश टिकैत और भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर आजाद सहित अन्य किसान नेताओं ने संबोधित किया. किसान संगठनों ने नागौर की इस महापंचायत में भी एक लाख किसानों के पहुंचने का दावा किया है.

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नागौर में किसान महापंचायत
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Published : Mar 3, 2021, 8:12 PM IST

नागौर. केंद्रीय कृषि कानूनों को लेकर किसान आंदोलन को आज 98 दिन हो चुके हैं. वहीं किसान नेता राकेश टिकैत किसान महापंचायत के माध्यम से इस अंदोलन को तेज करने में जुटे हुए हैं. वहीं बुधवार को नागौर के पशु प्रदर्शनी स्थल पर संयुक्त किसान महापंचायत का आयोजन किया गया.

किसान नेता राकेश टिकैत का संबोधन

इस महापंचायत को किसान नेता राकेश टिकैत और भीम आर्मी के संस्थापक चन्द्रशेखर आजाद सहित कई किसान नेताओं ने संबोधित किया. इस मौके पर किसान नेता राकेश टिकैत का विभिन्न संगठनों की ओर से लोक देवता तेजा जी की मूर्ति और हल देकर गर्भजोशी के साथ स्वागत किया गया. वहीं किसान नेता राकेश टिकैत ने कृषि कानूनों को लेकर केंद्र सरकार को आड़े हाथों लिया. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने मनमाने तौर पर किसानों पर तीन काले कृषि कानूनों को धोपा है. यही वजह है कि देश का किसान सड़कों पर आंदोलन को मजबूर हैं.

भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर आजाद का संबोधन

उन्होंने कहा कि सरकार ने किसानों की मंड़ियों को बंदकर दिया. ऐसे में किसानों की अगली मंडी संसद होगी. उन्होंने कहा कि सरकार अगर कृषि कानूनों को वापस नहीं लेती है तो किसान अपनी उपज लेकर संसद की ओर से बढ़ेंगे. टिकैत ने कहा कि सरकार ने नया बिजनेस शुरू किया है, वो रोटी का बिजनेस है. कुछ पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाने के लिए ये बिल लाए गए हैं. तीनों कृषि कानून वापस लेने और न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) तय नहीं होने तक आंदोलन जारी रखने की भी चेतावनी दी है.

यह भी पढ़ें: मोदी सरकार पर जमकर बरसे राकेश टिकैत, कहा- किसानों की नई मंडी संसद होगी

इस मौके पर भीम आर्मी चीफ चन्द्रशेखर आजाद रावण ने महापंचायत को संबोधित किया. इस दौरान उन्होंने केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोलते हुए कहा कि केंद्र सरकार आजाद देश को फिर से गुलाम बनाने में जुटी हुई है. किसान की रोटी को छीनने का प्रयास किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि पहले ईस्ट इंडिया कंपनी ने हम पर राज किया. अब सरकार के कुछ पूंजीपति रिश्तेदार और चहेते देश पर कब्जा करना चाहते हैं.

संयुक्त किसान मोर्चा के नेता युद्धवीर सिंह का संबोधन

यह भी पढ़ें: किसान नेता राकेश टिकैत का राजस्थान दौरा, आज नागौर में करेंगे किसान महापंचायत

आजाद ने कहा कि किसान देश की रीड की हड्डी हैं. उसके रीड की हड्डी को तोड़ने का प्रयास किया जा रहा है, जो कि सहन नहीं होगा. आजाद ने कहा कि कृषि काननू के खिलाफ चल रहे आंदोलन में भीम आर्मी किसानों के साथ है. मिलकर यह लड़ाई लड़ी जाएगी और जीती भी जाएगी. इस मौके पर जाट महासभा के अध्यक्ष राजाराम मील, किसान सभा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष कॉमरेड अमराराम, किसान यूनियन के महासचिव युद्धवीर सिंह, किसान संघर्ष समिति के संयोजक हिम्मत सिंह गुर्जर, जमीअत उलेमा-ए-हिंद के प्रदेश उपाध्यक्ष हाफिज मंजूर, अर्जुनराम लोमरोड़ सहित हजारों किसान मौजूद रहे.

नागौर. केंद्रीय कृषि कानूनों को लेकर किसान आंदोलन को आज 98 दिन हो चुके हैं. वहीं किसान नेता राकेश टिकैत किसान महापंचायत के माध्यम से इस अंदोलन को तेज करने में जुटे हुए हैं. वहीं बुधवार को नागौर के पशु प्रदर्शनी स्थल पर संयुक्त किसान महापंचायत का आयोजन किया गया.

किसान नेता राकेश टिकैत का संबोधन

इस महापंचायत को किसान नेता राकेश टिकैत और भीम आर्मी के संस्थापक चन्द्रशेखर आजाद सहित कई किसान नेताओं ने संबोधित किया. इस मौके पर किसान नेता राकेश टिकैत का विभिन्न संगठनों की ओर से लोक देवता तेजा जी की मूर्ति और हल देकर गर्भजोशी के साथ स्वागत किया गया. वहीं किसान नेता राकेश टिकैत ने कृषि कानूनों को लेकर केंद्र सरकार को आड़े हाथों लिया. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने मनमाने तौर पर किसानों पर तीन काले कृषि कानूनों को धोपा है. यही वजह है कि देश का किसान सड़कों पर आंदोलन को मजबूर हैं.

भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर आजाद का संबोधन

उन्होंने कहा कि सरकार ने किसानों की मंड़ियों को बंदकर दिया. ऐसे में किसानों की अगली मंडी संसद होगी. उन्होंने कहा कि सरकार अगर कृषि कानूनों को वापस नहीं लेती है तो किसान अपनी उपज लेकर संसद की ओर से बढ़ेंगे. टिकैत ने कहा कि सरकार ने नया बिजनेस शुरू किया है, वो रोटी का बिजनेस है. कुछ पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाने के लिए ये बिल लाए गए हैं. तीनों कृषि कानून वापस लेने और न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) तय नहीं होने तक आंदोलन जारी रखने की भी चेतावनी दी है.

यह भी पढ़ें: मोदी सरकार पर जमकर बरसे राकेश टिकैत, कहा- किसानों की नई मंडी संसद होगी

इस मौके पर भीम आर्मी चीफ चन्द्रशेखर आजाद रावण ने महापंचायत को संबोधित किया. इस दौरान उन्होंने केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोलते हुए कहा कि केंद्र सरकार आजाद देश को फिर से गुलाम बनाने में जुटी हुई है. किसान की रोटी को छीनने का प्रयास किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि पहले ईस्ट इंडिया कंपनी ने हम पर राज किया. अब सरकार के कुछ पूंजीपति रिश्तेदार और चहेते देश पर कब्जा करना चाहते हैं.

संयुक्त किसान मोर्चा के नेता युद्धवीर सिंह का संबोधन

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आजाद ने कहा कि किसान देश की रीड की हड्डी हैं. उसके रीड की हड्डी को तोड़ने का प्रयास किया जा रहा है, जो कि सहन नहीं होगा. आजाद ने कहा कि कृषि काननू के खिलाफ चल रहे आंदोलन में भीम आर्मी किसानों के साथ है. मिलकर यह लड़ाई लड़ी जाएगी और जीती भी जाएगी. इस मौके पर जाट महासभा के अध्यक्ष राजाराम मील, किसान सभा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष कॉमरेड अमराराम, किसान यूनियन के महासचिव युद्धवीर सिंह, किसान संघर्ष समिति के संयोजक हिम्मत सिंह गुर्जर, जमीअत उलेमा-ए-हिंद के प्रदेश उपाध्यक्ष हाफिज मंजूर, अर्जुनराम लोमरोड़ सहित हजारों किसान मौजूद रहे.

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