जोधपुर. राजस्थान उच्च न्यायालय ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के भाई अग्रसेन गहलोत को अंतरिम राहत देते हुए ईडी को कहा कि उन्हे गिरफ्तार नहीं करे. गहलोत भी अनुसंधान में सहयोग करेंगे.
न्यायाधीश डॉ. पुष्पेन्द्र सिंह भाटी की अदालत में याचिकाकर्ता अग्रसेन गहलोत की ओर से अधिवक्ता विकास बालिया ने याचिका पेश करते हुए कहा कि ईडी की ओर से याचिकाकर्ता गहलोत को परेशान करते हुए उनके घर और प्रतिष्ठानों पर मनी लांड्रिंग के तहत 22 जुलाई 2020 में छापेमारी की गई और बाद में उनके तरफ से मांगे जाने के बावजूद ईसीआईआर की सूचना नहीं दी गई. बाद में उनको समन जारी कर दिया गया. जबकि याचिकाकर्ता बेदाग रूप से अपना व्यवसाय कर रहे थे, लेकिन उनके खिलाफ षडयंत्र करते हुए बदनाम किया जा रहा है.
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केन्द्र सरकार की ओर से एडीशनल सोलीसीटर जनरल एसवी राजू, ईडी के विशिष्ठ अधिवक्ता जोहेब हुसैन और एएसजी भानुप्रकाश बोहरा ने पक्ष रखा और पूरी कार्रवाई को विधि समत बताया. न्यायाधीश डॉ. भाटी ने याचिकाकर्ता गहलोत को अंतरिम राहत देते हुए ईडी को उन्हे गिरफ्तार नही करने के निर्देश दिये है वही उनको अनुसंधान में सहयोग करने का भी निर्देश दिया.