जोधपुर. राजस्थान हाईकोर्ट के समक्ष जनहित याचिका में राज्य सरकार और राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से बताया गया कि स्थाई लोक अदालत के राज्य में रिक्त अध्यक्ष और सदस्यों की भर्ती प्रक्रिया एक सप्ताह में पूर्ण हो (PIL in vacant posts in Permanent Lok Adalat) जाएगी. वरिष्ठ न्यायाधीश संदीप मेहता और न्यायाधीश कुलदीप माथुर ने विधिक सेवा प्राधिकरण अधिनियम में कुछ प्रावधानों को शामिल किए जाने की मांग पर केन्द्र सरकार को जवाब का एक अवसर देते हुए आगामी तारीख 16 नवंबर तय की.
एडवोकेट वासुदेव दाधीच ने अधिवक्ता अनिल भंडारी के माध्यम से दायर जनहित याचिका में कहा कि जोधपुर महानगर सहित अधिकांश जगह पर स्थाई लोक अदालत में अध्यक्ष और सदस्यों के पद रिक्त होने से लंबित मामलों की संख्या में लगातार वृद्धि हो रही है. जोधपुर महानगर में कोरम के अभाव में न्यायिक कार्रवाई नहीं होने से लगभग 1000 मामले लंबित हो गए हैं.
याचिका में कहा गया है कि अधिनियम में जवाब और प्रकरण के निस्तारण की कोई समय सीमा तय नहीं है और स्थाई लोक अदालत को अपने ही आदेश की पालना कर निष्पादन करने का अधिकार नहीं दिए गए हैं. इन्हें अधिनियम में जोड़े जाने की कार्रवाई की जाए और स्थाई लोक अदालत में पर्याप्त स्टाफ प्रदान किया जाए. राज्य सरकार और रालसा की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता अतिरिक्त महाधिवक्ता संदीप शाह ने कहा कि राज्य की स्थाई लोक अदालतों में रिक्त अध्यक्ष और सदस्यों की भर्ती प्रक्रिया एक सप्ताह में पूर्ण हो जाएगी. केन्द्र सरकार की ओर से डिप्टी सॉलिसिटर जनरल मुकेश राजपुरोहित ने समय दिए जाने का अनुरोध किया. कोर्ट ने समय देते हुए आगामी 16 नवम्बर को अगली सुनवाई मुकर्रर की है.