जोधपुर. याचिकाकर्ताओं की ओर से अधिवक्ता वीएलएस राजपुरोहित ने पैरवी करते हुए कहा कि तृतीय श्रेणी अध्यापक भर्ती 2018 में लेवल प्रथम के सामान्य शिक्षको के रिक्त पदों को भरने के आदेश पूर्व में ही दिये जा चुके हैं, लेकिन उसी भर्ती प्रक्रिया में विशेष अध्यापको के रिक्त पदों को भरने का आदेश नहीं दिया गया है. राजपुरोहित ने उच्च न्यायालय को बताया कि सरकार द्वारा जारी किये गये रिसफल परिणाम के समय सामान्य अध्यापक और विशेष अध्यापक दोनों के पदों पर आदेश जारी किये गये थे.
लेकिन सरकार द्वारा रिक्त रहे पदो पर सिर्फ चयनित सामान्य अध्यापक की लिस्ट दिनांक 29 दिसंबर 2020 को जारी की गई, जिसमें विशेष अध्यापक के अभ्यर्थियों का चयन नहीं किया गया. उच्च न्यायालय द्वारा याचिकाकर्ता के अधिवक्ता एवं सरकार की तरफ से पैरवी अतिरिक्त महाधिवक्ता मनीष व्यास के सहयोगी कैलाश चौधरी की बहस सुनने के पश्चात सरकार को 8 सप्ताह के अन्दर विशेष अध्यापक वर्ग में रिक्त रहे पदों को तुरंत प्रभाव से भरने के आदेश प्रदान किये.