जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से पूछा है कि सुपर स्पेशलिटी कोर्स की स्टेट कोटे की सीटों में सेवारत चिकित्सकों को आरक्षण का लाभ क्यों नहीं दिया जा रहा है. न्यायाधीश अशोक कुमार गौड़ ने यह आदेश डॉ. कुलदीप पूनिया की याचिका पर दिए.
याचिका में अधिवक्ता तनवीर अहमद ने अदालत को बताया कि वर्ष 2016 तक प्रदेश में सेवारत चिकित्सकों को सुपर स्पेशलिटी कोर्स में प्रवेश के लिए 30 फीसदी आरक्षण दिया जाता था. अगस्त 2016 में सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद इस आरक्षण को बंद कर दिया गया.
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वहीं, सुप्रीम कोर्ट की 5 न्यायाधीशों की वृहदपीठ ने गत 31 अगस्त को तय कर दिया कि पीजी मेडिकल शिक्षा नियम चिकित्सकों के आरक्षण में किसी तरह की रोक नहीं लगाते. यह नियम सिर्फ प्रवेश के लिए न्यूनतम मापदंड तय करते हैं. ऐसे में नीट क्वॉलीफाई सेवारत चिकित्सक आरक्षण के हकदार हैं. याचिका में कहा गया कि याचिकाकर्ता तय मापदंड पूरी करता है, ऐसे में उसे सेवारत वर्ग में 30 फीसदी आरक्षण का लाभ दिया जाए. इस पर सुनवाई करते हुए एकलपीठ ने राज्य सरकार से जवाब तलब किया है.