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निलंबित SP 'आस मोहम्मद' को मिली जमानत, भ्रष्टाचार का था मामला - जयपुर में भ्रष्टाचार

जयपुर के झोटावाड़ा थाने के एसीपी आस मोहम्मद को भ्रष्टाचार के मामले में हाईकोर्ट ने जमानत जमानत पर रिहाई के आदेश दिए हैं. आस मोहम्मद की दूसरी जमानत अर्जी स्वीकारते हुए कोर्ट ने ये आदेश दिए हैं.

High Court News, जयपुर न्यूज
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Published : Oct 24, 2019, 9:25 PM IST

जयपुर. राजस्थान हाइकोर्ट ने भ्रष्टाचार मामले में झोटवाड़ा थाने के निलंबित एसीपी आस मोहम्मद को जमानत पर रिहा करने के आदेश दिए हैं. न्यायाधीश इंद्रजीत सिंह की एकलपीठ ने यह आदेश आरोपी आस मोहम्मद की द्वितीय जमानत अर्जी को स्वीकार करते हुए दिए.

जमानत अर्जी में कहा गया कि एसीबी ने याचिकाकर्ता के विरुद्ध आरोप पत्र पेश कर दिया है. ऐसे में अब उसके विरुद्ध कोई जांच शेष नहीं है. वहीं मुकदमे की ट्रायल पूरी होने में समय लगेगा. इसलिए उसे जमानत पर रिहा किया जाए. वहीं राज्य सरकार की ओर से जमानत अर्जी का विरोध किया गया. दोनों पक्षों को सुनने के बाद अदालत ने याचिकाकर्ता को जमानत पर रिहा करने के आदेश दिए हैं.

पढ़ें- जयपुर में पुलिस का ऑपरेशन 'क्लीन स्वीप', 48 घंटे में 93 तस्करों को दबोचा

गौरतलब है कि एक आपराधिक प्रकरण में कुछ धाराएं हटाने के संबंध में राजवीर सिंह की शिकायत पर एसीबी ने थाने के रीडर बत्तू खां और दलाल सुमंत को एक लाख रुपए के साथ ट्रेप किया था. वहीं बत्तू खां से बरामद हुई पर्चियों के चलते एसीबी ने मामले में एसीपी आस मोहम्मद, थानाधिकारी प्रदीप चारण और एसआई रामलाल की भूमिका मानी थी. आस मोहम्मद ने गत 23 अगस्त को एसीबी के समक्ष सरेंडर किया था.

जयपुर. राजस्थान हाइकोर्ट ने भ्रष्टाचार मामले में झोटवाड़ा थाने के निलंबित एसीपी आस मोहम्मद को जमानत पर रिहा करने के आदेश दिए हैं. न्यायाधीश इंद्रजीत सिंह की एकलपीठ ने यह आदेश आरोपी आस मोहम्मद की द्वितीय जमानत अर्जी को स्वीकार करते हुए दिए.

जमानत अर्जी में कहा गया कि एसीबी ने याचिकाकर्ता के विरुद्ध आरोप पत्र पेश कर दिया है. ऐसे में अब उसके विरुद्ध कोई जांच शेष नहीं है. वहीं मुकदमे की ट्रायल पूरी होने में समय लगेगा. इसलिए उसे जमानत पर रिहा किया जाए. वहीं राज्य सरकार की ओर से जमानत अर्जी का विरोध किया गया. दोनों पक्षों को सुनने के बाद अदालत ने याचिकाकर्ता को जमानत पर रिहा करने के आदेश दिए हैं.

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गौरतलब है कि एक आपराधिक प्रकरण में कुछ धाराएं हटाने के संबंध में राजवीर सिंह की शिकायत पर एसीबी ने थाने के रीडर बत्तू खां और दलाल सुमंत को एक लाख रुपए के साथ ट्रेप किया था. वहीं बत्तू खां से बरामद हुई पर्चियों के चलते एसीबी ने मामले में एसीपी आस मोहम्मद, थानाधिकारी प्रदीप चारण और एसआई रामलाल की भूमिका मानी थी. आस मोहम्मद ने गत 23 अगस्त को एसीबी के समक्ष सरेंडर किया था.

Intro:जयपुर। राजस्थान हाइकोर्ट ने भ्रष्टाचार मामले में झोटवाडा थाने के निलंबित एसीपी आस मोहम्मद को जमानत पर रिहा करने के आदेश दिए हैं। न्यायाधीश इंद्रजीत सिंह की एकलपीठ ने यह आदेश आरोपी आस मोहम्मद की द्वितीय जमानत अर्जी को स्वीकार करते हुए दिए।
Body:जमानत अर्जी में कहा गया कि एसीबी ने याचिकाकर्ता के विरुद्ध आरोप पत्र पेश कर दिया है। ऐसे में अब उसके विरुद्ध कोई जांच शेष नहीं है। वहीं मुकदमे की ट्रायल पूरी होने में समय लगेगा। इसलिए उसे जमानत पर रिहा किया जाए। वहीं राज्य सरकार की ओर से जमानत अर्जी का विरोध किया गया। दोनों पक्षों को सुनने के बाद अदालत ने याचिकाकर्ता को जमानत पर रिहा करने के आदेश दिए हैं।
गौरतलब है कि एक आपराधिक प्रकरण में कुछ धाराएं हटाने के संबंध में राजवीर सिंह की शिकायत पर एसीबी ने थाने के रीडर बत्तू खां और दलाल सुमंत को एक लाख रुपए के साथ ट्रेप किया था। वहीं बत्तू खां से बरामद हुई पर्चियों के चलते एसीबी ने मामले में एसीपी आस मोहम्मद, थानाधिकारी प्रदीप चारण और एसआई रामलाल की भूमिका मानी थी। आस मोहम्मद ने गत 23 अगस्त को एसीबी के समक्ष सरेंडर किया था।
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