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कांग्रेस सरकार, भाजपा की आवाज को दबाना चाहती हैः सतीश पूनिया

बीजेरी प्रदेश अध्यक्ष पूनिया ने कहा, कि कोरोना संक्रमित क्षेत्रों में लॉकडाउन का पालन करवाने में सरकार विफल है. जनता की आवाज उठाने वाले विपक्ष के जनप्रतिनिधियों और कार्यकर्ताओं पर बदले की कार्रवाई कर रही है. पूनिया ने कहा, कि सारा देश जानता है की तबलिगी जमात के कारण भारत में कोरोना का संक्रमण तेजी से फैला है. राजस्थान में जो मामले सामने आ रहे है उनमें ज्यादातर जमात से जुड़े या उनके सम्पर्क में आए लोग है.

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Published : Apr 18, 2020, 7:41 PM IST

जयपुर न्यूज. सतीश पूनिया, jaipur news, satish poonia
भाजपा की आवाज को दबाना चाहती है कांग्रेस सरकार- सतीश पूनिया

जयपुर. भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष डा. सतीश पूनिया ने भाजपा के विधायकों और कार्यकर्ताओं पर दर्ज हुए मुकदमों पर नाराजगी जताई है. पूनिया ने कहा सरकार विपक्ष की आवाज को दबाना चाहती है पर सरकार के डराने से भाजपा के नेता और कार्यकर्ता डरेंगे नहीं.

भाजपा की आवाज को दबाना चाहती है कांग्रेस सरकार- सतीश पूनिया

बता दें, कि पूनिया ने कहा, कि कोरोना संक्रमित क्षेत्रों में लॉकडाउन का पालन करवाने में सरकार विफल है. जनता की आवाज उठाने वाले विपक्ष के जनप्रतिनिधियों और कार्यकर्ताओं पर बदले की कार्रवाई कर रही है. पूनिया ने कहा, कि सारा देश जानता है की तबलिगी जमात के कारण भारत में कोरोना का संक्रमण तेजी से फैला है. राजस्थान में जो मामले सामने आ रहे है उनमें ज्यादातर जमात से जुड़े या उनके सम्पर्क में आए लोग है. सतीश पूनिया ने अपने तमाम विधायकों का उदाहरण देते हुए कहा, कि विधायक मदन दिलावर ने जमातियों के सच को उजागर किया तो उनके ऊपर मुकदमा दर्ज कर लिया गया और विधायक अशोक लाहोटी ने एक समुदाय विशेष के संक्रमित लोगों को मिल रहे वीआईपी ट्रीटमेंट के बारे में कहा तो उन पर भी मुकदमा दर्ज हो गया.

पढ़ेंः पाक विस्थापित परिवारों की मदद करे गहलोत सरकार, यही युगधर्म हैः पूनिया

वहीं, उन्होंने कहा, कि विधायक सुरेश रावत ने अपने विधायक कोष से स्वीकृत राहत सामग्री का वितरण किया तो उनके ऊपर लॉकडाउन के उल्लंघन का आरोप लगाकर नोटिस दे दिया. जबकि चित्तौड़गढ़ में 4 दिन पहले सत्तारूढ़ पार्टी के एक विधायक को लॉकडाउन का उल्लंघन करने पर रोकने वाली महिला अधिकारी का सरकार ने तबादला कर दिया. इसी तरह से झालावाड़ में लोकसभा चुनाव में कांग्रेस प्रत्याशी रहे प्रमोद शर्मा अस्पताल में घुसकर डाक्टर को धमकाते रहे पर उन पर कोई कार्रवाई नहीं हुई, जो कि सरकार के दोहरे चरित्र का ये सबसे बड़ा उदाहरण है.

पढ़ेंः डिस्कॉम ऑफरः कहां मिलेगी छूट और किसे भरनी होगी पेनल्टी...पढ़े पूरी रिपोर्ट

उन्होंने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा, कि कांग्रेसी विधायकों और मंत्रियों के इशारों पर अजमेर, दौसा, उदयपुर, कोटा, गंगानगर, बाड़मेर और जोधपुर में सरकार के भेदभाव और तबलिगी जमात के खिलाफ बोलने पर भाजपा कार्यकर्ताओं पर मुकदमे दर्ज किए गए है. कुछ जगह तो कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार भी किया गया है. भीलवाड़ा की झूठी वाहवाही लूटने वाली सरकार कोटा, भरतपुर, टोंक और रामगंज के बाद जोधपुर में वोट बैंक के चक्कर में कट्टरपंथियों के सामने घुटने टेकते हुए नजर आ रही है.

रामगंज और कोटा की तर्ज पर छुपा रही आंकड़े...

जोधपुर में कलेक्टर 12 अप्रैल को BSF और CRPF की मांग करता है और सरकार अपनी नाकामी छुपाने के लिए कलेक्टर पर दबाब डालकर पत्र वापस करवा लेती है. हालात का अंदाज इसी बात से लगाया जा सकता है, कि मुख्यमंत्री के खुद के विधानसभा क्षेत्र के तीन तीन थाना क्षेत्रों में कर्फ्यू लगा हुआ है. एक संभावना जताई जा रही है कि यदि सही आंकड़ें उजागर किये जांए तो अकेले सरदारपुरा में भी 100 से ज्यादा संक्रमित मिलेंगे, लेकिन सरकार रामगंज और कोटा की तर्ज पर यहां भी आंकड़े छुपा रही है. क्योंकि सर्वाधिक लॉकडाउन का उल्लंघन भी यहीं हो रहा है.

पूनिया ने कहा, कि भाजपा विपक्ष की अपनी जिम्मेदारी को बखूबी निभा रही है. पूरे प्रदेश में भाजपा के नेता और कार्यकर्ता बिना किसी की जाती धर्म देखे सेवा और राहत के कामों में लगें है. पर सरकार, जनता का धर्म देखकर राशन, भोजन बांट रही है. स्वास्थ्यकर्मी और पुलिसकर्मीं जो की अपनी जिंदगी दांव पर लगा कर इस खतरनाक वायरस से हमें बचा रहे है, उनके ऊपर हमले होते है और आकंठ तक तुष्टिकरण में डुबी सरकार ऐसे अपराधियों पर कार्रवाई नहीं करती है.

जयपुर. भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष डा. सतीश पूनिया ने भाजपा के विधायकों और कार्यकर्ताओं पर दर्ज हुए मुकदमों पर नाराजगी जताई है. पूनिया ने कहा सरकार विपक्ष की आवाज को दबाना चाहती है पर सरकार के डराने से भाजपा के नेता और कार्यकर्ता डरेंगे नहीं.

भाजपा की आवाज को दबाना चाहती है कांग्रेस सरकार- सतीश पूनिया

बता दें, कि पूनिया ने कहा, कि कोरोना संक्रमित क्षेत्रों में लॉकडाउन का पालन करवाने में सरकार विफल है. जनता की आवाज उठाने वाले विपक्ष के जनप्रतिनिधियों और कार्यकर्ताओं पर बदले की कार्रवाई कर रही है. पूनिया ने कहा, कि सारा देश जानता है की तबलिगी जमात के कारण भारत में कोरोना का संक्रमण तेजी से फैला है. राजस्थान में जो मामले सामने आ रहे है उनमें ज्यादातर जमात से जुड़े या उनके सम्पर्क में आए लोग है. सतीश पूनिया ने अपने तमाम विधायकों का उदाहरण देते हुए कहा, कि विधायक मदन दिलावर ने जमातियों के सच को उजागर किया तो उनके ऊपर मुकदमा दर्ज कर लिया गया और विधायक अशोक लाहोटी ने एक समुदाय विशेष के संक्रमित लोगों को मिल रहे वीआईपी ट्रीटमेंट के बारे में कहा तो उन पर भी मुकदमा दर्ज हो गया.

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वहीं, उन्होंने कहा, कि विधायक सुरेश रावत ने अपने विधायक कोष से स्वीकृत राहत सामग्री का वितरण किया तो उनके ऊपर लॉकडाउन के उल्लंघन का आरोप लगाकर नोटिस दे दिया. जबकि चित्तौड़गढ़ में 4 दिन पहले सत्तारूढ़ पार्टी के एक विधायक को लॉकडाउन का उल्लंघन करने पर रोकने वाली महिला अधिकारी का सरकार ने तबादला कर दिया. इसी तरह से झालावाड़ में लोकसभा चुनाव में कांग्रेस प्रत्याशी रहे प्रमोद शर्मा अस्पताल में घुसकर डाक्टर को धमकाते रहे पर उन पर कोई कार्रवाई नहीं हुई, जो कि सरकार के दोहरे चरित्र का ये सबसे बड़ा उदाहरण है.

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उन्होंने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा, कि कांग्रेसी विधायकों और मंत्रियों के इशारों पर अजमेर, दौसा, उदयपुर, कोटा, गंगानगर, बाड़मेर और जोधपुर में सरकार के भेदभाव और तबलिगी जमात के खिलाफ बोलने पर भाजपा कार्यकर्ताओं पर मुकदमे दर्ज किए गए है. कुछ जगह तो कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार भी किया गया है. भीलवाड़ा की झूठी वाहवाही लूटने वाली सरकार कोटा, भरतपुर, टोंक और रामगंज के बाद जोधपुर में वोट बैंक के चक्कर में कट्टरपंथियों के सामने घुटने टेकते हुए नजर आ रही है.

रामगंज और कोटा की तर्ज पर छुपा रही आंकड़े...

जोधपुर में कलेक्टर 12 अप्रैल को BSF और CRPF की मांग करता है और सरकार अपनी नाकामी छुपाने के लिए कलेक्टर पर दबाब डालकर पत्र वापस करवा लेती है. हालात का अंदाज इसी बात से लगाया जा सकता है, कि मुख्यमंत्री के खुद के विधानसभा क्षेत्र के तीन तीन थाना क्षेत्रों में कर्फ्यू लगा हुआ है. एक संभावना जताई जा रही है कि यदि सही आंकड़ें उजागर किये जांए तो अकेले सरदारपुरा में भी 100 से ज्यादा संक्रमित मिलेंगे, लेकिन सरकार रामगंज और कोटा की तर्ज पर यहां भी आंकड़े छुपा रही है. क्योंकि सर्वाधिक लॉकडाउन का उल्लंघन भी यहीं हो रहा है.

पूनिया ने कहा, कि भाजपा विपक्ष की अपनी जिम्मेदारी को बखूबी निभा रही है. पूरे प्रदेश में भाजपा के नेता और कार्यकर्ता बिना किसी की जाती धर्म देखे सेवा और राहत के कामों में लगें है. पर सरकार, जनता का धर्म देखकर राशन, भोजन बांट रही है. स्वास्थ्यकर्मी और पुलिसकर्मीं जो की अपनी जिंदगी दांव पर लगा कर इस खतरनाक वायरस से हमें बचा रहे है, उनके ऊपर हमले होते है और आकंठ तक तुष्टिकरण में डुबी सरकार ऐसे अपराधियों पर कार्रवाई नहीं करती है.

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