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कोरोना काल में लेटर पॉलिटिक्स हावी, पूनिया ने सीएम गहलोत को पत्र लिखकर रखी ये मांग

राजस्थान में इस समय पत्र पॉलिटिक्स अपने चरम पर है. हर नेता पत्र के माध्यम से सवाल उठा रहा है और उसका निराकरण करने की मांग कर रहा है. इस बीच बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया ने भी सीएम गहलोत को दो पत्र लिखे हैं, जिसमें बेसहारा बच्चों, बुजुर्गों को आर्थिक मदद पहुंचाने की मांग की है साथ ही हाथी पालकों को भी सहायता पहुंचाने की बात कही है.

सतीश पूनिया ने सीएम गहलोत को लिखा पत्र, Rajasthan Politics
कोरोना काल में लेटर पॉलिटिक्स हावी
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Published : May 20, 2021, 3:55 PM IST

जयपुर. प्रदेश में कोरोना के बढ़ते संक्रमण के बीच लेटर पॉलिटिक्स काफी फल-फूल रही है. भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉक्टर सतीश पूनिया ने गुरुवार को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को दो अलग-अलग मामलों में पत्र लिखकर महामारी के दौरान उत्पन्न हुई स्थितियों की ओर ध्यान अवगत कराया और साथ ही समस्या के समाधान और महामारी के दौरान बेसहारा हुए बच्चों और बुजुर्गों को आर्थिक मदद का आग्रह किया.

सतीश पूनिया ने सीएम गहलोत को लिखा पत्र, Rajasthan Politics
सतीश पूनिया ने सीएम गहलोत को लिखा पत्र

बता दें, पहले पत्र में सतीश पूनिया ने मुख्यमंत्री गहलोत को पत्र लिखकर अनुरोध किया कि कोरोना वायरस का घातक संक्रमण देश-प्रदेश में कई परिवारों पर कहर बनकर टूटा है. प्रदेश में कई परिवारों के एकमात्र कमाने वालों की मौत हुई है, वहीं कई बालक-बालिकाओं ने भी बीते दिनों अपने माता-पिता को खो दिया है, जिसके कारण उनके समक्ष जीवनयापन का विकट संकट खड़ा हो गया है. कई बुजुर्गों ने जवान बच्चों को खो दिया है, अब उनका घर चलाने वाला कोई नहीं है, इस घातक संक्रमण ने कई बुजुर्ग लोगों के बुढ़ापे के सहारे को छीन लिया है.

सतीश पूनिया ने सीएम गहलोत को लिखा पत्र, Rajasthan Politics
सतीश पूनिया ने सीएम गहलोत को लिखा पत्र

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डॉ. पूनियां ने गहलोत से आग्रह किया कि राज्य के ऐसे दुखी परिवारों, अपने माता-पिता को खोने वाले बालक-बालिकाओं, बुजुर्ग लोगों को बेसहारा नहीं छोड़ना चाहिये, उनका सहारा प्रदेश की सरकार को बनना चाहिये. मेरा मुख्यमंत्री से अनुरोध है कि ऐसे परिवारों, बच्चों और बुजुर्गों को चिन्हित करवाकर उन्हें और उनके परिवार को तत्काल मुफ्त राशन, शिक्षा, चिकित्सा सुविधा और आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई जाये, जिससे इस कठिन समय में इनको राहत पहुंचाई जा सके.

दूसरे पत्र में हाथी पालकों की समस्या की ओर ध्यान आकर्षित किया

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने गुरुवार को ही मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को दूसरा पत्र लिखा, जिसमें कोरोना महामारी से बचाव और रोकथाम के लिए प्रदेश में लागू की गई पाबंदी के चलते आमेर महल और अन्य स्थानों पर बंद हुई हाथी सवारी के कारण इस पर निर्भर हाथी पालकों को हो रही आर्थिक परेशानी की ओर ध्यान आकर्षित किया. पूनिया ने लिखा की हाथी सवारी बंद होने से इस रोजगार में लगे कई परिवारों पर आजीविका का संकट खड़ा हो गया है. हाथी के खानपान दवाइयों और रखरखाव के साथ ही हाथी पालकों के गुजर-बसर के लिए प्रति मादा हाथी पर प्रतिदिन 3000 का खर्च आता है और तकरीबन 13 माह से हाथी सवारी भी बंद है जिससे इन परिवारों की आर्थिक स्थिति बेहद खराब हो चुकी है.

यह भी पढ़ेंः पूर्व सीएम जगन्नाथ पहाड़िया के निधन पर राज्यपाल, विधानसभा अध्यक्ष सहित इन भाजपा नेताओं ने जताया शोक

सतीश पूनिया ने आग्रह किया कि प्रदेश सरकार जयपुर के हाथी पालकों और हथनियों के लिए आर्थिक सहायता मुहैया कराए और इस वैश्विक महामारी की वर्तमान परिस्थितियों में इन्हें भी राहत पहुंचाई जाए. पूनिया ने अपने पत्र के साथ हाथी गांव विकास समिति के अध्यक्ष शरीफ खान की ओर से दिए गए ज्ञापन को भी संलग्न किया.

जयपुर. प्रदेश में कोरोना के बढ़ते संक्रमण के बीच लेटर पॉलिटिक्स काफी फल-फूल रही है. भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉक्टर सतीश पूनिया ने गुरुवार को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को दो अलग-अलग मामलों में पत्र लिखकर महामारी के दौरान उत्पन्न हुई स्थितियों की ओर ध्यान अवगत कराया और साथ ही समस्या के समाधान और महामारी के दौरान बेसहारा हुए बच्चों और बुजुर्गों को आर्थिक मदद का आग्रह किया.

सतीश पूनिया ने सीएम गहलोत को लिखा पत्र, Rajasthan Politics
सतीश पूनिया ने सीएम गहलोत को लिखा पत्र

बता दें, पहले पत्र में सतीश पूनिया ने मुख्यमंत्री गहलोत को पत्र लिखकर अनुरोध किया कि कोरोना वायरस का घातक संक्रमण देश-प्रदेश में कई परिवारों पर कहर बनकर टूटा है. प्रदेश में कई परिवारों के एकमात्र कमाने वालों की मौत हुई है, वहीं कई बालक-बालिकाओं ने भी बीते दिनों अपने माता-पिता को खो दिया है, जिसके कारण उनके समक्ष जीवनयापन का विकट संकट खड़ा हो गया है. कई बुजुर्गों ने जवान बच्चों को खो दिया है, अब उनका घर चलाने वाला कोई नहीं है, इस घातक संक्रमण ने कई बुजुर्ग लोगों के बुढ़ापे के सहारे को छीन लिया है.

सतीश पूनिया ने सीएम गहलोत को लिखा पत्र, Rajasthan Politics
सतीश पूनिया ने सीएम गहलोत को लिखा पत्र

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डॉ. पूनियां ने गहलोत से आग्रह किया कि राज्य के ऐसे दुखी परिवारों, अपने माता-पिता को खोने वाले बालक-बालिकाओं, बुजुर्ग लोगों को बेसहारा नहीं छोड़ना चाहिये, उनका सहारा प्रदेश की सरकार को बनना चाहिये. मेरा मुख्यमंत्री से अनुरोध है कि ऐसे परिवारों, बच्चों और बुजुर्गों को चिन्हित करवाकर उन्हें और उनके परिवार को तत्काल मुफ्त राशन, शिक्षा, चिकित्सा सुविधा और आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई जाये, जिससे इस कठिन समय में इनको राहत पहुंचाई जा सके.

दूसरे पत्र में हाथी पालकों की समस्या की ओर ध्यान आकर्षित किया

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने गुरुवार को ही मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को दूसरा पत्र लिखा, जिसमें कोरोना महामारी से बचाव और रोकथाम के लिए प्रदेश में लागू की गई पाबंदी के चलते आमेर महल और अन्य स्थानों पर बंद हुई हाथी सवारी के कारण इस पर निर्भर हाथी पालकों को हो रही आर्थिक परेशानी की ओर ध्यान आकर्षित किया. पूनिया ने लिखा की हाथी सवारी बंद होने से इस रोजगार में लगे कई परिवारों पर आजीविका का संकट खड़ा हो गया है. हाथी के खानपान दवाइयों और रखरखाव के साथ ही हाथी पालकों के गुजर-बसर के लिए प्रति मादा हाथी पर प्रतिदिन 3000 का खर्च आता है और तकरीबन 13 माह से हाथी सवारी भी बंद है जिससे इन परिवारों की आर्थिक स्थिति बेहद खराब हो चुकी है.

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सतीश पूनिया ने आग्रह किया कि प्रदेश सरकार जयपुर के हाथी पालकों और हथनियों के लिए आर्थिक सहायता मुहैया कराए और इस वैश्विक महामारी की वर्तमान परिस्थितियों में इन्हें भी राहत पहुंचाई जाए. पूनिया ने अपने पत्र के साथ हाथी गांव विकास समिति के अध्यक्ष शरीफ खान की ओर से दिए गए ज्ञापन को भी संलग्न किया.

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