जयपुर. विधानसभा में आज प्रश्नकाल में विभिन्न विभागों से जुड़े सवाल लगे. इनमें मिलावटी पदार्थो की जांच के लिए लैब की स्थापना से जुड़े राजेंद्र राठौड़ के सवाल पर मंत्री परसादी लाल मीणा ने कहा कि इसके लिए अलग से प्राधिकरण के गठन की घोषणा की गई है. अलग से बजट की आवश्यकता नहीं है और मिलावट रोकने के लिए अलग से फास्ट ट्रैक कोर्ट (Fast track courts for food adulteration cases) बनाने की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है.
जनवरी 2019 से जनवरी 2022 तक 22763 नमूने लिए गए हैं. इन सभी की जांच की जा चुकी है. मीना ने कहा कि इस वर्ष तक सभी जिलों में लैब की स्थापना कर दी जाएगी. इसपर नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने पूछा, जो सैम्पल्स का टेस्ट हुआ, उसमें नेगेटिव कितने और पॉजिटिव कितने थे? इस पर मंत्री परसादी लाल मीणा ने दिया बताया कि विभिन्न न्यायालयों ने एक करोड़ से ज्यादा की पेनल्टी लगाई है.
एक महीने में सभी किसानों को दिलवा दिया जाएगा बीमा क्लेम: झाडोल विधानसभा क्षेत्र में फसल बीमा के लाभार्थी से जुड़े सवाल के जवाब में लालचंद कटारिया ने स्वीकार किया कि 7 जिलों में फसल बीमा क्लेम कंपनी की ओर से नहीं दिए गए. कटारिया ने कहा 13555 पॉलिसी सृजित हुई. 571 पॉलिसी धारक बीमा क्लेम के योग्य पाए गए. कंपनी ने सात जिलों का काम ले रखा था. यह कंपनी सहयोग नहीं कर रही है. इसे लेकर लगातार भारत सरकार के संपर्क में हूं. कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी से भी इस संबंध में बात की है और उन्होंने सात दिन का समय दिया है, लेकिन जितने भी बीमा क्लेम हैं, उन्हें 1 महीने में निस्तारित कर दिया जाएगा.
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क्षमता से अधिक बंदियों के सवाल के जवाब में मंत्री टीकाराम जूली ने जवाब देते हुए कहा कि 443 बंदी असाध्य और संक्रामक रोगों से पीड़ित हैं जिनमें से 290 बंदी मानसिक रोगों से पीड़ित हैं. 2 साल में कोरोना से 13 कैदियों की मृत्यु हुई. 60 साल से ज्यादा उम्र और असाध्य रोगों से पीड़ित कैदियों के लिए सरकार हर साल एलान करती है. उसके अनुसार कार्यवाही की जाती है, लेकिन ऐसा कोई कानून नहीं है कि सभी को राहत दी जाएगी. वहीं मंत्री प्रमोद जैन भाया ने बताया की अवैध खनन के खिलाफ कार्रवाई सतत प्रक्रिया है. विधायक की चिंता जायज है, विशेष विजिलेंस टीम भिजवा कर कार्रवाई करवाएंगे.
आशा सहयोगनियों और होमगार्ड्स के वेतन व्रद्धि का कोई प्रस्ताव सरकार के पास पेंडिंग नहीं: विधानसभा में प्रश्नकाल में आज आशा सहयोगिनी एवं आशा कार्यकर्ताओं को आवंटित कार्य से जुड़े सवाल पर मंत्री ममता भूपेश ने कहा कि इन्हें 2970 रुपए प्रतिमाह मानदेय राज्य अंश से दिया जा रहा मानदेय. इंसेंटिव भारत सरकार और राज्य सरकार की सामूहिक योजना है. भारत सरकार पहल करेगी तो परफारमेंस बेस्ड इंसेंटिव स्कीम पर कार्य करेंगे. इसके साथ ही इनके नियमितीकरण पर ममता भूपेश ने साफ कह दिया कि यह मानदेय कर्मचारी हैं. इनको नियमित करने का अभी कोई प्रस्ताव नहीं है. वहीं होमगार्ड को लेकर मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने साफ किया कि इन्हें नियमितीकरण का कोई प्रस्ताव सरकार के पास नहीं है और इनकी वेतन वृद्धि को लेकर भी सरकार के पास कोई प्रस्ताव पेंडिंग नहीं है.
प्रदेश के गौशालाओं को देय सहायता राशि में बढ़ोतरी से जुड़े सवाल के जवाब में गोपालन मंत्री प्रमोद जैन भाया ने जवाब देते हुए कहा कि प्रदेश में 3222 पंजीकृत गौशाला हैं. इनमें करीब 10.61 लाख गोवंश हैं. इनमें 2121 गौशाला अनुदान के लिए पात्र हैं. हमारी सरकार बनने के बाद छोटे गोवंश को 16 की जगह 20 रुपए और बड़े गोवंश को 32 की जगह 40 रुपए दिए जा रहे हैं. अनुदान को 180 दिन की जगह 365 दिन करने की मांग कई संगठनों की ओर से आई है. इस पर अभी विचार चल रहा है.