जयपुर. राजधानी में स्मृति वन के पास एमएनआईटी परिसर में बुधवार रात को पैंथर देखा गया था. जिसके बाद से अब तक लोगों में पैंथर का खौफ बना हुआ है. आसपास में पैंथर के पैरों के निशान भी मिले हैं. वन विभाग की टीम 5 दिन से लगातार पैंथर को रेस्क्यू करने का प्रयास कर रही है लेकिन अभी तक सफलता नहीं मिली.
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पैंथर के पैरों के निशान से अंदाजा लगाया जा रहा है कि पैंथर आसपास के इलाके में ही छुपा हुआ है. पैंथर की दहशत के चलते स्मृति वन को आमजन के लिए नहीं खोला गया. लोगों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए वन विभाग ने स्मृति वन में आवाजाही पर प्रतिबंध लगा रखा है.
वन विभाग ने पैंथर को पकड़ने के लिए स्मृति वन में पिंजरा और ट्रैप कैमरे भी लगाए गए हैं. वन विभाग की टीमें लगातार पैंथर की तलाश में जुटी हुई है. वहीं वन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि पैंथर का रेस्क्यू होने या जंगल में चले जाने के बाद ही स्मृति वन को खोना जाएगा. ताकि किसी भी तरह से लोगों की जान को खतरा नहीं हो.
राजधानी जयपुर का जेएलएन मार्ग सबसे व्यस्ततम मार्ग माना जाता है. इस मार्ग पर बने कुलिश स्मृति वन में हजारों की संख्या में शहरवासी घूमने के लिए आते हैं. रोज सुबह मॉर्निंग वॉक से लेकर व्यायाम के लिए लोग स्मृति वन पहुंचते हैं. पैंथर की दहशत के कारण स्मृति वन को बंद करने के बाद अब लोगों को वापस खुलने का इंतजार है. ताकि फिर से लोग मॉर्निंग वॉक और व्यायाम कर सके.
इससे पहले वर्ष 2017 में भी इसी तरह पैंथर को जेएलएन मार्ग पर देखा गया था. जिसके बाद काफी दिन तक आसपास के इलाके में पैंथर की दहशत बनी रही. जिसके चलते स्मृति वन में आमजन की आवाजाही को पूरी तरह से बंद कर विभाग ने पैंथर को पकड़ने के प्रयास किए. काफी दिनों बाद पैंथर के जंगल में वापस जाने की संतुष्टि मिलने पर वन विभाग ने स्मृति वन को आमजन के लिए खोला था.