जयपुर. राजस्थान में अब सेना के रिटायर्ड जवान हेडमास्टर (प्रधानाध्यापक) बनकर माध्यमिक स्कूलों की कमान संभालेंगे. अब तक पूर्व सैनिक शिक्षक तो बन सकते थे, लेकिन प्रधानाध्यापक नहीं. लेकिन कोर्ट में अटके मामले में फैसला आने के बाद रिटायर्ड सैनिकों का प्रधानाध्यापक बनने का रास्ता साफ हो गया है. अब पहली बार पूर्व सैनिकों को माध्यमिक (10वीं) तक की स्कूल में प्रधानाध्यापक बनाया जाएगा. फिलहाल प्रदेश के 60 पूर्व सैनिकों को यह अवसर मिलेगा.
जानकारी के अनुसार, राजस्थान में पूर्व सैनिकों को ए और बी श्रेणी की सभी राज्य सेवाओं में पांच फीसदी आरक्षण मिलने के बाद 2018 में 1200 पदों के लिए प्रधानाध्यापक (माध्यमिक शिक्षा) भर्ती निकाली थी, जिसमें 60 पद पूर्व सैनिकों के लिए आरक्षित थे. लेकिन आरक्षण को लेकर कोर्ट स्टे के कारण उनका परिणाम रोक लिया गया था. अब कोर्ट स्टे हटने के कारण उनका परिणाम जारी होने का रास्ता साफ हो गया है. आरक्षण से पहले पूर्व सैनिक द्वितीय श्रेणी अध्यापक ही बन पाते थे, लेकिन अब उन्हें 5400 ग्रेड पे मिलेगा.
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बता दें कि जिन पूर्व सैनिकों का मूल सूची में संशोधित कट ऑफ मार्क्स 238.77 और जन्मतिथि 16 जून 1976 तथा आरक्षित सूची में कट ऑफ मार्क्स 212.76 और जन्मतिथि 3 जुलाई 1967 है, उनका परिणाम जारी किया गया है. यह सभी चयनित अभ्यर्थी अब प्रधानाध्यापक पद पर जॉइन करेंगे. इस पर पूर्व सैनिकों ने खुशी जाहिर की है.