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मौसमी प्रकोप से किसानों को हुए नुकसान के मुआवजे के मामले में सदन में नोक-झोंक, कटारिया और मेघवाल यूं उलझे

राजस्थान विधानसभा में सोमवार को मंत्री भंवरलाल मेघवाल और नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया के बीच तीखी नोक-झोंक देखने को मिली. दरअसल, प्रश्नकाल के दौरान मौसमी प्रकोप से हुए किसानों के नुकसान और गिरदावरी की रिपोर्ट में भिन्नता से जुड़ा सवाल विधायक धर्म नारायण जोशी ने पूछा था, जिसके बाद ये तीखी नोक-झोंक देखने को मिली.

मौसमी प्रकोप से किसानों को नुकसान का मामला,  Case of loss to farmers due to seasonal outbreak
कटारिया और मंत्री मेघवाल में तीखी नोक-झोंक
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Published : Mar 2, 2020, 3:26 PM IST

जयपुर. राजस्थान विधानसभा में सोमवार को उदयपुर जिले में मौसमी प्रकोप से किसानों को हुए नुकसान और सरकार की ओर से दिए गए मुआवजे के मामले में मंत्री मास्टर भंवरलाल मेघवाल और नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया के बीच तीखी नोक-झोंक हुई.

दरअसल, प्रश्नकाल में यह सवाल भाजपा विधायक धर्म नारायण जोशी ने लगाया था साथी यह भी कहा था कि उनके क्षेत्र मावली और वल्लभनगर पास-पास है. लेकिन दिसंबर 2018 से जनवरी 2020 तक मौसमी प्रकोप से जो नुकसान हुआ उसके गिरदावरी में काफी भिन्नता है. विधायक का यह भी कहना था कि यहां तहसीलदार एक है लेकिन गिरदावरी की रिपोर्ट में भिन्नता है.

कटारिया और मंत्री मेघवाल में तीखी नोक-झोंक

ऐसे में क्या सरकार नए सिरे से यहां का गिरदावरी कराने का विचार रखती है. जिस पर मंत्री ने साफ तौर पर इंकार कर दिया. हालांकि इस बीच मंत्री में जो प्रभावित किसान और जिन किसानों को मुआवजा दिया गया. उनके आंकड़े सदन में रखे उस पर नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने पूरक सवाल पूछ लिया.

पढ़ें- खाटूश्यामजी लक्खी मेले में भंडारा शुल्क बढ़ने से बीजेपी नेता लामबंद, सरकार को बताया हिंदू विरोधी

कटारिया ने कहा क्या आपने 169000 किसानों में से सिर्फ 902 किसानों का ही चयन कर मुआवजा दिया. इसका मतलब यह हुआ सरकार ने किसानों को राहत देने के नाम पर कुछ नहीं किया. ऐसे में सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री मास्टर भंवरलाल ने पलटवार करते हुए कहा कि मैंने पिछले 5 साल का रिकॉर्ड देखा है. कभी भी खरीफ का मुआवजा और भुगतान मई-जून से पहले किसानों को नहीं दिया गया.

जबकि, हमारी सरकार ने फरवरी में ही भुगतान करना शुरू कर दिया और 31 मार्च तक सभी प्रभावित काश्तकारों को राशि दे दी जाएगी. वहीं, नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि मंत्री जी आप पिछले कुछ सालों का रिकॉर्ड जिसमें भुगतान का समय हो वह सदन में उपलब्ध करा दें. जिससे आप जो आरोप लगा रहे हैं हमें भी पता चले कि वो कितने सही हैं.

जयपुर. राजस्थान विधानसभा में सोमवार को उदयपुर जिले में मौसमी प्रकोप से किसानों को हुए नुकसान और सरकार की ओर से दिए गए मुआवजे के मामले में मंत्री मास्टर भंवरलाल मेघवाल और नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया के बीच तीखी नोक-झोंक हुई.

दरअसल, प्रश्नकाल में यह सवाल भाजपा विधायक धर्म नारायण जोशी ने लगाया था साथी यह भी कहा था कि उनके क्षेत्र मावली और वल्लभनगर पास-पास है. लेकिन दिसंबर 2018 से जनवरी 2020 तक मौसमी प्रकोप से जो नुकसान हुआ उसके गिरदावरी में काफी भिन्नता है. विधायक का यह भी कहना था कि यहां तहसीलदार एक है लेकिन गिरदावरी की रिपोर्ट में भिन्नता है.

कटारिया और मंत्री मेघवाल में तीखी नोक-झोंक

ऐसे में क्या सरकार नए सिरे से यहां का गिरदावरी कराने का विचार रखती है. जिस पर मंत्री ने साफ तौर पर इंकार कर दिया. हालांकि इस बीच मंत्री में जो प्रभावित किसान और जिन किसानों को मुआवजा दिया गया. उनके आंकड़े सदन में रखे उस पर नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने पूरक सवाल पूछ लिया.

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कटारिया ने कहा क्या आपने 169000 किसानों में से सिर्फ 902 किसानों का ही चयन कर मुआवजा दिया. इसका मतलब यह हुआ सरकार ने किसानों को राहत देने के नाम पर कुछ नहीं किया. ऐसे में सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्री मास्टर भंवरलाल ने पलटवार करते हुए कहा कि मैंने पिछले 5 साल का रिकॉर्ड देखा है. कभी भी खरीफ का मुआवजा और भुगतान मई-जून से पहले किसानों को नहीं दिया गया.

जबकि, हमारी सरकार ने फरवरी में ही भुगतान करना शुरू कर दिया और 31 मार्च तक सभी प्रभावित काश्तकारों को राशि दे दी जाएगी. वहीं, नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि मंत्री जी आप पिछले कुछ सालों का रिकॉर्ड जिसमें भुगतान का समय हो वह सदन में उपलब्ध करा दें. जिससे आप जो आरोप लगा रहे हैं हमें भी पता चले कि वो कितने सही हैं.

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