जयपुर. परिवहन मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने कहा कि उन्होंने 8 महीने पहले घोषणा की थी कि राष्ट्रीयकृत मार्गों से राष्ट्रीयकृत किए गए मार्गों को उनका पूर्व स्टेटस पुनः प्रदान किया जाएगा. पिछली सरकार द्वारा इनका डिनोटिफिकेशन कर लोक परिवहन सेवा को परमिट दिए गए थे, लेकिन उन्होंने आते ही नए परमिट पर रोक लगा दी ताकि रोडवेज को खड़ा किया जा सके.
हालांकि, 476 मैसेज इन 225 डीनेशनलाइज्ड मार्गों पर लोक परिवहन सेवा जारी है. उन पर परमिट अवधि तक उनका संचालन बना रहेगा और शेष 225 मार्गों पर अब निजी बसों के परमिट जारी नहीं किए जाएंगे. खाचरियावास ने कहा कि रोडवेज के पास नई बसें आने से एवं ग्रामीण परिवहन सेवा प्रारंभ होने से जहां लोगों को सस्ते और विश्वसनीय परिवहन सुविधा मिल सकेगी वहीं रोडवेज की स्थिति में सुधार होगा. परिवहन मंत्री ने कहा कि लोक कल्याणकारी सरकार के हिसाब से जन सुविधाओं में हमेशा फायदा ही नहीं देखा जाता.
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सरकार कई काम आर्थिक रूप से घाटे में होने के बावजूद संचालित करती है, क्योंकि वह सीधे जनता की सुविधाओं से जुड़े हैं. रोडवेज के मामले में भी ऐसा ही है. सरकार रोडवेज में शून्य करप्शन अधिकतम प्रोत्साहन की नीति पर काम कर रही है, जो जल्द ही नई बसों की खरीद के बाद नजर आने लगेगी. उन्होंने कहा कि प्रदेश की सड़कों पर जल्दी साढ़े 11 सौ नई रोडवेज बसें दौड़ती दिखेंगी. इसके लिए सरकार ने पूरी तैयारी कर ली है.
मंत्री ने यह भी कहा कि जल्दी प्रदेश की सड़कों पर इलेक्ट्रिक बसें भी दौड़ती नजर आएंगी, खासतौर से दिल्ली-जयपुर मार्ग पर. खाचरियावास ने यह भी कहा कि बहरोड़ स्थित मिडवे को प्रारंभ करने के लिए आरटीडीसी तैयार है. उसे भी जल्द प्रारंभ किया जाएगा, जहां रोडवेज बसें पूर्व की भांति ठहर सकेंगी.