जयपुर. प्रदेश को ड्रग्स फ्री बनाने के लिए जयपुर पुलिस की ओर से चलाए जा रहे ऑपरेशन क्लीन स्वीप के दौरान अनेक चौकाने वाले खुलासे हो रहे हैं. ऑपरेशन क्लीन स्वीप के दौरान नशे की जद में आए हुए जिन युवाओं को चिन्हित किया गया है, उनकी 70 से 75 प्रतिशत आबादी ड्राई ड्रग्स की शिकार पाई गई है. वहीं 15 से 20 प्रतिशत आबादी हेरोइन और स्मैक की शिकार पाई गई है. इसके साथ ही यह भी पाया गया है कि ड्रग्स पेडलर विभिन्न नामों से ड्रग्स की सप्लाई करने में लगे हुए हैं.
जयपुर पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव ने बताया कि ऑपरेशन क्लीन स्वीप के दौरान की जा रही कार्रवाई में इस बात का खुलासा हुआ है कि विभिन्न राज्यों से अलग-अलग तरह की ड्रग्स तस्करी कर जयपुर में लाई जा रही है. हिमाचल प्रदेश, उड़ीसा, बंगाल, बिहार और यहां तक कि नेपाल से ड्राई ड्रग तस्करी कर जयपुर लाई जा रही है. राजधानी में नशे की गिरफ्त में आए युवाओं की 70 से 75 प्रतिशत आबादी गांजा, चरस, वीड और मेरूवाना का सेवन करते हुए पाई गई है.
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वहीं 15 से 20 प्रतिशत युवा हेरोइन और स्मैक का सेवन कर रहे हैं, जो कि प्रतापगढ़ और चित्तौड़गढ़ से तस्करी कर लाई जा रही है. इसके साथ ही ड्रग पेडलर्स राजधानी में विभिन्न नामों जैसे कि पॉट, जॉइंट, फ्लेवर तंबाकू और मेडिकल ड्रग्स मिलाकर भी युवाओं को नशे का आदी बना रहे हैं. पुलिस इनके खिलाफ कार्रवाई कर जल्द गिरफ्तार करेगी.