जयपुर. राज्य सरकार की बजट घोषणा 2019 में राजस्थान विधानसभा में एक आधुनिक डिजिटल म्यूजियम बनाने के लिए घोषणा की गई थी. कोविड-19 के कारण डिजिटल म्यूजियम के निर्माण कार्यों में देरी हो रही थी. लेकिन लॉकडाउन खत्म होने के बाद अब कार्य को दोबारा गति दी गई है. जयपुर स्मार्ट सिटी लिमिटेड के की ओर से बनाए जाने वाले म्यूजियम के कार्यों को दिशा, गति, पर्यवेक्षण और प्रमाणीकरण के साथ-साथ इसके उद्देश्यों की पूर्ति और प्रगति के लिए एक अंतर्विभागीय अनुसंधान कमेटी का गठन किया गया है.
ये पढ़ें:Exclusive: NIMS के चेयरमैन डॉ. बीएस तोमर से सुनिए किस तरह किया गया 'कोरोनिल' का क्लिनिकल ट्रायल
बता दें कि, इस कमेटी में मुख्य रुप से पुरातत्व एवं संग्रहालय विभाग निदेशक अध्यक्ष होंगे. इसके अलावा सदस्य के रूप में जनसंपर्क एवं सूचना विभाग के अतिरिक्त निदेशक प्रशासन, आमेर महल और अल्बर्ट हॉल के अधीक्षक, विभिन्न विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों के प्रोफेसर और जयपुर स्मार्ट लिमिटेड के अधीक्षण अभियंता सदस्य सचिव होंगे. विधानसभा में बनाए जाने वाले डिजिटल म्यूजियम में डिजिटल माध्यम से राज्य के वर्तमान और पूर्व मुख्यमंत्रियों के कार्यालयों के महत्वपूर्ण योगदान, राजस्थान राज्य के निर्माण में भागीदार रहे निर्माताओं के योगदान, प्रदेश का राजनीतिक आख्यान, लोकतंत्र और संविधान, आधुनिक राजस्थान और उसकी संरचना, विधानसभा की कार्यप्रणाली, स्पीकर और विधानसभा के सदस्यगण की महत्वपूर्ण भूमिका, राजस्थान के निर्वाचन क्षेत्र, मंत्रिमंडल की भूमिका, विधायकगण की जानकारी और बजट प्रक्रिया का सजीव चित्रण किया जाएगा. डिजिटल निर्माण राजस्थान विधानसभा अध्यक्ष डॉ सीपी जोशी की परिकल्पना निर्देशन के अनुरूप किया जा रहा है.
ये पढ़ें: जांच रिपोर्ट आने के बाद NIMS यूनिवर्सिटी पर होगी कार्रवाई: चिकित्सा मंत्री
अंतर्विभागीय अनुसंधान कमेटी का मुख्य कार्य डिजिटल म्यूजियम में प्रदर्शित किए जाने वाले विवरण का प्रभावी तरीके से समायोजन करवाना, प्रदर्शित विवरण को आमजन और आगंतुकों के लिए अधिक प्रासंगिक बनाना, डिजिटल म्यूजियम के विकास की अवधारणा के सुनियोजित प्रदर्शन को सुनिश्चित करना और सभी अनुबंध की शर्तों के अनुरूप कार्यों को संपादित कराना होगा. कमेटी प्रदर्शित विवरण की जांच और प्रमाणीकरण का कार्य भी करेगी.