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जयपुरः कुलिश स्मृति वन में अभी भी पैंथर का खौफ बरकरार

राजधानी के कुलिश स्मृति वन में अभी भी पैंथर का खौफ बरकरार है. वन में बीते 4 नवंबर को पैंथर का मूवमेंट देखा गया था. जिसके बाद से इस वन में ताला लगा दिया गया था. बता दें कि अब तक वन विभाग की टीम इस पैंथर का रेस्क्यू नहीं कर पाई है. इससे सुबह-सुबह मॉर्निंग वॉक करने वाले लोगों को खासा दिक्कत हो रही है.

Jaipur news, जयपुर की खबर
कुलिश स्मृति वन पर ढाई माह से वन विभाग ने जड़ रखा है ताला
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Published : Jan 23, 2020, 10:18 PM IST

जयपुर. राजधानी के स्मृति वन में अभी भी पैंथर का खौफ बना हुआ है. वन विभाग ने स्मृति वन में लोगों की आवाजाही पर भी प्रतिबंध लगा रखा है. बीते 4 नवंबर 2019 को स्मृति वन में पैंथर का मूवमेंट देखा गया था. साथ ही आसपास में पैंथर के पग चिन्ह भी मिले थे, जिसके बाद वन विभाग ने स्मृति वन के गेट पर ताला लगा दिया, लेकिन ढाई माह बाद भी वन विभाग पैंथर को नहीं पकड़ पाया.

कुलिश स्मृति वन पर ढाई माह से वन विभाग ने जड़ रखा है ताला

ऐसा लगता है कि वन विभाग स्मृति वन पर ताला लगाकर ही भूल गया हो. वन विभाग की टीम ढाई माह से लगातार पैंथर को रेस्क्यू करने का प्रयास कर रही है. लेकिन अभी तक विभाग को सफलता हाथ नहीं लगी. कपूर चंद्र कुलिश स्मृति वन में आमजन की आवाजाही पर रोक लगाने के बाद लोगों को सुबह-सुबह घूमने के लिए भी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

पढ़ें- पोलो सीजन में गुरुवार को एक ही टीम में नजर आई पिता-पुत्र की जोड़ी

बता दें कि शहर के बीच बने स्मृति वन में रोजाना हजारों की संख्या में शहरवासी मॉर्निंग वॉक के लिए आते हैं. जहां पर ताला लगने के बाद भी लोगों का भ्रमण करना भी बंद हो गया है. साथ ही पैंथर का सुराग लगने तक स्मृति वन में लोगों की आवाजाही बंद रहेगी. ताकि किसी भी तरह से लोगों की जान को खतरा नहीं हो.

वन विभाग की टीमें लगातार पैंथर की तलाश में जुटी हुई है. अब लोगों के मन में भी सवाल उठने लगे है कि आखिर कब तक स्मृति वन बंद रहेगा. वहीं वन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि पैंथर का रेस्क्यू होने या जंगल में चले जाने के बाद ही स्मृति वन को खोला जाएगा. वहीं वन विभाग ने पैंथर को पकड़ने के लिए स्मृति वन में पिंजरा लगा रखा है.

इसके साथ ही पैंथर पर नजर रखने के लिए ट्रैप कैमरे भी लगाए गए हैं. इन ट्रैप कैमरों में भी पैंथर की तस्वीरें कैद हुई है. लेकिन वन विभाग पैंथर को अभी तक नहीं पकड़ पाया है. वन विभाग के एक्सपर्ट्स पैंथर के पगमार्क के आधार पर पैंथर की तलाश कर रहे हैं. पैंथर के पगमार्क से अंदाजा लगाया जा रहा है कि पैंथर आसपास के इलाके में ही छुपा हुआ है. पैंथर के आने से इलाके के लोगो में दहशत का माहौल बना हुआ है. पैंथर की दहशत के चलते स्मृति वन को आमजन के लिए नहीं खोला गया है.

इससे पहले भी बीते 14 सितंबर को स्मृति वन के पास ललित कला अकादमी में पैंथर को देखा गया था, जिसके बाद स्मृति वन को आमजन के लिए बंद कर दिया गया था. राजधानी का जेएलएन मार्ग सबसे व्यस्ततम मार्ग माना जाता है. इस मार्ग पर बने कुलिश स्मृति वन में हजारों की संख्या में शहरवासी घूमने के लिए आते हैं. हर रोज सुबह मॉर्निंग वॉक से लेकर व्यायाम के लिए लोग स्मृति वन पहुंचते हैं. लेकिन इस समय पैंथर की दहशत के कारण स्मृति वन को बंद करने के बाद अब लोगों को वापस खुलने का इंतजार है. ताकि फिर से लोग मॉर्निंग वॉक और व्यायाम कर सकें.

पढ़ें- रेल सेवा का विस्तारः अब कोटा और हिसार के लिए मिलेगी सीधी ट्रेन....

वहीं, साल 2017 में भी इसी तरह पैंथर को जेएलएन मार्ग पर देखा गया था. जिसके बाद काफी दिन तक आसपास के इलाके में पैंथर की दहशत बनी रही. जिसके चलते स्मृति वन में आमजन की आवाजाही को पूरी तरह से बंद कर दिया गया था और विभाग ने पैंथर को पकड़ने के प्रयास किए. काफी दिनों बाद पैंथर के जंगल में वापस जाने की संतुष्टि मिलने पर वन विभाग ने स्मृति वन को आमजन के लिए खोला गया था.

जयपुर. राजधानी के स्मृति वन में अभी भी पैंथर का खौफ बना हुआ है. वन विभाग ने स्मृति वन में लोगों की आवाजाही पर भी प्रतिबंध लगा रखा है. बीते 4 नवंबर 2019 को स्मृति वन में पैंथर का मूवमेंट देखा गया था. साथ ही आसपास में पैंथर के पग चिन्ह भी मिले थे, जिसके बाद वन विभाग ने स्मृति वन के गेट पर ताला लगा दिया, लेकिन ढाई माह बाद भी वन विभाग पैंथर को नहीं पकड़ पाया.

कुलिश स्मृति वन पर ढाई माह से वन विभाग ने जड़ रखा है ताला

ऐसा लगता है कि वन विभाग स्मृति वन पर ताला लगाकर ही भूल गया हो. वन विभाग की टीम ढाई माह से लगातार पैंथर को रेस्क्यू करने का प्रयास कर रही है. लेकिन अभी तक विभाग को सफलता हाथ नहीं लगी. कपूर चंद्र कुलिश स्मृति वन में आमजन की आवाजाही पर रोक लगाने के बाद लोगों को सुबह-सुबह घूमने के लिए भी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

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बता दें कि शहर के बीच बने स्मृति वन में रोजाना हजारों की संख्या में शहरवासी मॉर्निंग वॉक के लिए आते हैं. जहां पर ताला लगने के बाद भी लोगों का भ्रमण करना भी बंद हो गया है. साथ ही पैंथर का सुराग लगने तक स्मृति वन में लोगों की आवाजाही बंद रहेगी. ताकि किसी भी तरह से लोगों की जान को खतरा नहीं हो.

वन विभाग की टीमें लगातार पैंथर की तलाश में जुटी हुई है. अब लोगों के मन में भी सवाल उठने लगे है कि आखिर कब तक स्मृति वन बंद रहेगा. वहीं वन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि पैंथर का रेस्क्यू होने या जंगल में चले जाने के बाद ही स्मृति वन को खोला जाएगा. वहीं वन विभाग ने पैंथर को पकड़ने के लिए स्मृति वन में पिंजरा लगा रखा है.

इसके साथ ही पैंथर पर नजर रखने के लिए ट्रैप कैमरे भी लगाए गए हैं. इन ट्रैप कैमरों में भी पैंथर की तस्वीरें कैद हुई है. लेकिन वन विभाग पैंथर को अभी तक नहीं पकड़ पाया है. वन विभाग के एक्सपर्ट्स पैंथर के पगमार्क के आधार पर पैंथर की तलाश कर रहे हैं. पैंथर के पगमार्क से अंदाजा लगाया जा रहा है कि पैंथर आसपास के इलाके में ही छुपा हुआ है. पैंथर के आने से इलाके के लोगो में दहशत का माहौल बना हुआ है. पैंथर की दहशत के चलते स्मृति वन को आमजन के लिए नहीं खोला गया है.

इससे पहले भी बीते 14 सितंबर को स्मृति वन के पास ललित कला अकादमी में पैंथर को देखा गया था, जिसके बाद स्मृति वन को आमजन के लिए बंद कर दिया गया था. राजधानी का जेएलएन मार्ग सबसे व्यस्ततम मार्ग माना जाता है. इस मार्ग पर बने कुलिश स्मृति वन में हजारों की संख्या में शहरवासी घूमने के लिए आते हैं. हर रोज सुबह मॉर्निंग वॉक से लेकर व्यायाम के लिए लोग स्मृति वन पहुंचते हैं. लेकिन इस समय पैंथर की दहशत के कारण स्मृति वन को बंद करने के बाद अब लोगों को वापस खुलने का इंतजार है. ताकि फिर से लोग मॉर्निंग वॉक और व्यायाम कर सकें.

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वहीं, साल 2017 में भी इसी तरह पैंथर को जेएलएन मार्ग पर देखा गया था. जिसके बाद काफी दिन तक आसपास के इलाके में पैंथर की दहशत बनी रही. जिसके चलते स्मृति वन में आमजन की आवाजाही को पूरी तरह से बंद कर दिया गया था और विभाग ने पैंथर को पकड़ने के प्रयास किए. काफी दिनों बाद पैंथर के जंगल में वापस जाने की संतुष्टि मिलने पर वन विभाग ने स्मृति वन को आमजन के लिए खोला गया था.

Intro:जयपुर
एंकर- राजधानी जयपुर के स्मृति वन में अभी भी पैंथर का खौफ बना हुआ है। वन विभाग ने स्मृति वन में लोगों की आवाजाही पर भी प्रतिबंध लगा रखा है। 4 नवंबर 2019 को स्मृति वन में पैंथर का मूवमेंट देखा गया था। आसपास में पैंथर के पग मार्ग भी मिले। जिसके बाद वन विभाग ने स्मृति वन के गेट पर ताला लगा दिया। लेकिन ढाई माह बाद भी वन विभाग पैंथर को नहीं पकड़ पाया। ऐसा लगता है कि वन विभाग स्मृति वन के ताला लगाकर ही भूल गया हो।


Body:वन विभाग की टीम ढाई माह से लगातार पैंथर को रेस्क्यू करने का प्रयास कर रही है। लेकिन अभी तक विभाग को सफलता हाथ नहीं लगी। कपूर चंद्र कुलिश स्मृति वन में आमजन की आवाजाही पर रोक लगाने के बाद लोगों को सुबह सुबह घूमने के लिए भी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। बता दे कि जयपुर शहर के बीच बने स्मृति वन में रोजाना हजारो की संख्या में शहरवासी मॉर्निंग वॉक के लिए आते हैं जहां पर ताला लगने के बाद लोगों का भ्रमण करना भी बंद हो गया। पैंथर का सुराग लगने तक स्मृति वन में लोगों की आवाजाही बंद रहेगी। ताकि किसी भी तरह से लोगों की जान को खतरा नहीं हो। वन विभाग की टीमें लगातार पैंथर की तलाश में जुटी हुई है। अब लोगों के मन में भी सवाल उठने लगे हैं कि आखिर कब तक स्मृति वन बंद रहेगा। वहीं वन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि पैंथर का रेस्क्यू होने या जंगल में चले जाने के बाद ही स्मृति वन को खोना जाएगा।

वन विभाग ने पैंथर को पकड़ने के लिए स्मृति वन में पिंजरा लगा रखा है। इसके साथ ही पैंथर पर नजर रखने के लिए ट्रेप कैमरे भी लगाए गए हैं। ट्रैप कैमरों में भी पैंथर की तस्वीरें कैद हुई है। लेकिन वन विभाग पैंथर को अभी तक नहीं पकड़ पाया। वन विभाग के एक्सपर्ट्स पैंथर के पगमार्क के आधार पर पैंथर की तलाश कर रहे हैं। कुलिश स्मृति वन में पैंथर नजर तो आता है लेकिन पिंजरे की तरफ नहीं गया। पैंथर के पगमार्क से अंदाजा लगाया जा रहा है कि पैंथर आसपास के इलाके में ही छुपा हुआ है। पैंथर के आने से इलाके के लोगो में दहशत का माहौल बना हुआ है। पैंथर की दहशत के चलते स्मृति वन को आमजन के लिए नहीं खोला गया। लोगों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हैं वन विभाग ने स्मृति वन में आवाजाही पर प्रतिबंध लगा रखा है।

बता दे की इससे पहले भी 14 सितंबर को स्मृति वन के पास ललित कला अकादमी में पैंथर को देखा गया था जिसके बाद स्मृति वन को आमजन के लिए बंद कर दिया गया। राजधानी जयपुर का जेएलएन मार्ग सबसे व्यस्ततम मार्ग माना जाता है। इस मार्ग पर बने कुलिश स्मृति वन में हजारों की संख्या में शहरवासी घूमने के लिए आते हैं। रोज सुबह मॉर्निंग वॉक से लेकर व्यायाम के लिए लोग स्मृति वन पहुंचते हैं। पैंथर की दहशत के कारण स्मृति वन को बंद करने के बाद अब लोगों को वापस खुलने का इंतजार है। ताकि फिर से लोग मॉर्निंग वॉक और व्यायाम कर सके।






Conclusion:इससे पहले वर्ष 2017 में भी इसी तरह पैंथर को जेएलएन मार्ग पर देखा गया था। जिसके बाद काफी दिन तक आसपास के इलाके में पैंथर की दहशत बनी रही। जिसके चलते स्मृति वन में आमजन की आवाजाही को पूरी तरह से बंद कर दिया गया था और विभाग ने पैंथर को पकड़ने के प्रयास किए। काफी दिनों बाद पैंथर के जंगल में वापस जाने की संतुष्टि मिलने पर वन विभाग ने स्मृति वन को आमजन के लिए खोला था।

बाईट- केसी मीणा, मुख्य वन संरक्षक, वन्यजीव, जयपुर


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