जयपुर. शहर में सालों के इंतजार के बाद अब जयपुर जंक्शन पर दिल्ली-मुंबई की तरह बिजली से संचालित होने वाली ट्रेनें दौड़ती नजर आ रही हैं. यहां 125 साल बाद जयपुर से पहली बार विद्युतीकरण ट्रेन की शुरुआत की गई है. आज इलाहाबाद मंडल द्वारा जयपुर-इलाहाबाद सुपरफास्ट एक्सप्रेस ट्रेन को बिजली के इंजन से संचालित की गई जो जयपुर पहुंची. इसके बाद यह ट्रेन आज जयपुर से बिजली के इंजन द्वारा इलाहाबाद के लिए रवाना हुई है.
बता दें कि जयपुर डीआरएम मंजूषा जैन ने इस ट्रेन को हरी झंडी दिखाकर जयपुर जंक्शन से रवाना किया गया. बीते दिनों जयपुर मंडल में विद्युतीकरण का कार्य पूरा हो गया था. जिसके बाद सीआरएस इंस्पेक्शन भी किया गया था. रेल मंत्री पीयूष गोयल के द्वारा भी अलवर के अंतर्गत इसका उद्घाटन किया गया था, लेकिन जयपुर मंडल के द्वारा इलेक्ट्रिक ट्रेन चलाने को लेकर रुचि नहीं दिखाई गई थी. इसके बाद इलाहाबाद मंडल ने इलेक्ट्रिक इंजन के साथ इलाहाबाद-जयपुर सुपरफास्ट एक्सप्रेस ट्रेन का संचालन किया और आज यह ट्रेन जयपुर से इलाहाबाद के लिए इलेक्ट्रिक इंजन से संचालित भी की गई. जिसको जयपुर डीआरएम ने हरी झंडी दिखाई.
जयपुर डीआरएम ने ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए कहा कि यह जयपुर डिवीजन की पहली इलेक्ट्रिक ट्रेन है, जो आज रवाना हुई है. यह जयपुर के लिए एक बहुत बड़ी उपलब्धि भी है. वहीं डीआरएम मंजूषा जैन ने कहा कि अभी आने वाले दिनों में जम्मू तवी अजमेर सुपरफास्ट एक्सप्रेस आश्रम सहित कुछ और ट्रेन को भी इलेक्ट्रिक के जरिए ही चलाए जाने के प्रयास किए जा रहे हैं, लेकिन इस दौरान जयपुर डिवीजन की एक बड़ी कमी भी देखने को मिली.
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इस ट्रेन के अंतर्गत आगरा के लोको पायलट और असिस्टेंट लोको पायलट जाते हैं, लेकिन जयपुर डिवीजन ने इस ट्रेन के अंतर्गत अनऑफिशियल तरीके से बांदीकुई तक जयपुर डिवीजन के लोको पायलट को ट्रेन चलाने की मंजूरी दी, जो कि एक बड़ा हादसे का कारण भी बन सकता है. क्योंकि अभी तक किसी भी जयपुर डिवीजन के लोको पायलट को ट्रेन चलाने को लेकर तैयार नही किया गया है. ऐसे में आज जयपुर डीआरएम द्वारा अनऑफिशियल तरीके से जयपुर को ट्रेन चलाने की मंजूरी दी गई.