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किसानों को जल्द मिलेगा 'राज किसान साथी' पोर्टल का लाभ, जल्द काम पूरा करने के निर्देश

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Published : Sep 6, 2020, 8:40 PM IST

प्रदेश के किसानों को जल्द ही 'राज किसान साथी' पोर्टल का लाभ मिलेगा. कृषि विभाग के प्रमुख शासन सचिव कुंजीलाल मीणा ने रविवार को पंत कृषि भवन में अधिकारियों के साथ पोर्टल के प्रगति की समीक्षा की.

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किसानों को जल्द मिलेगा 'राज किसान साथी' पोर्टल का लाभ

जयपुर. प्रदेश के किसानों को जल्द ही सभी योजनाओं का लाभ एक ही स्थान पर ऑनलाइन मिलने लगेगा. किसानों को सभी योजनाओं का लाभ एक ही स्थान पर ऑनलाइन मिले, इसके लिए 'राज किसान साथी' पोर्टल बनाया जा रहा है. यह किसान और पशुपालकों के लिए लाभदायक सिद्ध होगा.

किसानों को जल्द मिलेगा 'राज किसान साथी' पोर्टल का लाभ

पोर्टल के जरिए आवेदन, किसान के खाते में अनुदान और भुगतान की प्रक्रिया पूर्ण रूप से ऑनलाइन होगी. कृषि विभाग के प्रमुख शासन सचिव कुंजीलाल मीणा ने रविवार को पंत कृषि भवन में अधिकारियों के साथ पोर्टल के प्रगति की समीक्षा की.

पढ़ें- 'विजयी भव' योजना का शुभारंभ, प्रशासनिक अधिकारी साक्षात्कार के लिए RAS अभ्यर्थियों का करेंगे मार्गदर्शन

कृषि विभाग के प्रमुख शासन सचिव मीणा ने कहा कि यह एकीकृत पोर्टल किसान और पशुपालक के लिए बहुत लाभदायक है. उन्होंने एप निर्माण में उच्च गुणवत्ता का समावेश करने के निर्देश दिए ताकि किसानों को इसके उपयोग में आसानी हो और पारदर्शिता बढ़ाई जा सके. उन्होंने इस पोर्टल के महत्व को भी बताया. उन्होंने कहा कि प्रत्येक एप का कार्य तय तारीख पर पूर्ण करें और प्राथमिकता के आधार पर जो एप ज्यादा जरूरी है, वह पहले बनाएं. मीणा ने कहा कि वे खुद हर एप के निर्माण की तारीख तय कर प्रत्येक महीने समीक्षा करेंगे.

कृषि आयुक्त ओमप्रकाश ने बताया कि इस पोर्टल पर 150 एप विकसित किए जाने हैं. इनमें से 20 से अधिक एप का कार्य पूर्ण हो चुका है. ओम प्रकाश ने बताया कि इस पोर्टल के जरिए किसानों को कृषि एवं संबद्ध विभागों की योजनाओं की सब्सिडी के आवेदन और खेती की संपूर्ण जानकारी एक ही स्थान पर ऑनलाइन उपलब्ध होगी. साथ ही अनुदान योजना में आवेदन प्रक्रिया का सरलीकरण किया जा रहा है.

ओम प्रकाश ने बताया कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बजट भाषण में किसानों की सुविधा के लिए 'इज ऑफ डूइंग फॉर्मिंग' की घोषणा की थी. उसी के तहत राज किसान साथी पोर्टल विकसित किया जा रहा है. इसके लिए पंत कृषि भवन में प्रोजेक्ट मैनेजमेंट यूनिट की स्थापना की गई है. एकीकृत पोर्टल में कृषि उद्यान, कृषि विपणन सहकारिता, पशुपालन, मत्स्य पालन विभाग, बीज निगम में जैविक प्रमाणीकरण संस्था को शामिल किया गया है.

जयपुर. प्रदेश के किसानों को जल्द ही सभी योजनाओं का लाभ एक ही स्थान पर ऑनलाइन मिलने लगेगा. किसानों को सभी योजनाओं का लाभ एक ही स्थान पर ऑनलाइन मिले, इसके लिए 'राज किसान साथी' पोर्टल बनाया जा रहा है. यह किसान और पशुपालकों के लिए लाभदायक सिद्ध होगा.

किसानों को जल्द मिलेगा 'राज किसान साथी' पोर्टल का लाभ

पोर्टल के जरिए आवेदन, किसान के खाते में अनुदान और भुगतान की प्रक्रिया पूर्ण रूप से ऑनलाइन होगी. कृषि विभाग के प्रमुख शासन सचिव कुंजीलाल मीणा ने रविवार को पंत कृषि भवन में अधिकारियों के साथ पोर्टल के प्रगति की समीक्षा की.

पढ़ें- 'विजयी भव' योजना का शुभारंभ, प्रशासनिक अधिकारी साक्षात्कार के लिए RAS अभ्यर्थियों का करेंगे मार्गदर्शन

कृषि विभाग के प्रमुख शासन सचिव मीणा ने कहा कि यह एकीकृत पोर्टल किसान और पशुपालक के लिए बहुत लाभदायक है. उन्होंने एप निर्माण में उच्च गुणवत्ता का समावेश करने के निर्देश दिए ताकि किसानों को इसके उपयोग में आसानी हो और पारदर्शिता बढ़ाई जा सके. उन्होंने इस पोर्टल के महत्व को भी बताया. उन्होंने कहा कि प्रत्येक एप का कार्य तय तारीख पर पूर्ण करें और प्राथमिकता के आधार पर जो एप ज्यादा जरूरी है, वह पहले बनाएं. मीणा ने कहा कि वे खुद हर एप के निर्माण की तारीख तय कर प्रत्येक महीने समीक्षा करेंगे.

कृषि आयुक्त ओमप्रकाश ने बताया कि इस पोर्टल पर 150 एप विकसित किए जाने हैं. इनमें से 20 से अधिक एप का कार्य पूर्ण हो चुका है. ओम प्रकाश ने बताया कि इस पोर्टल के जरिए किसानों को कृषि एवं संबद्ध विभागों की योजनाओं की सब्सिडी के आवेदन और खेती की संपूर्ण जानकारी एक ही स्थान पर ऑनलाइन उपलब्ध होगी. साथ ही अनुदान योजना में आवेदन प्रक्रिया का सरलीकरण किया जा रहा है.

ओम प्रकाश ने बताया कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बजट भाषण में किसानों की सुविधा के लिए 'इज ऑफ डूइंग फॉर्मिंग' की घोषणा की थी. उसी के तहत राज किसान साथी पोर्टल विकसित किया जा रहा है. इसके लिए पंत कृषि भवन में प्रोजेक्ट मैनेजमेंट यूनिट की स्थापना की गई है. एकीकृत पोर्टल में कृषि उद्यान, कृषि विपणन सहकारिता, पशुपालन, मत्स्य पालन विभाग, बीज निगम में जैविक प्रमाणीकरण संस्था को शामिल किया गया है.

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