जयपुर. प्रदेश में न्यूनतम समर्थन मूल्य पर बाजरे की खरीद नहीं होने के कारण किसानों में आक्रोश व्याप्त है. इसी के चलते शुक्रवार को राज्यसभा सांसद किरोड़ी लाल मीणा के नेतृत्व में किसान ऊंट गाड़ियों पर सवार होकर सिविल लाइंस फाटक पहुंचे और सरकार के खिलाफ आक्रोश जताया.
सिविल लाइंस फाटक पर किसानों ने ऊंट गाड़ियों पर ही चढ़कर गहलोत सरकार के खिलाफ नारेबाजी की और गहलोत सरकार से बाजरे के लिए एमएसपी लागू करने की मांग की.
मीडिया से बात करते हुए राज्यसभा सांसद किरोड़ी लाल मीणा ने कहा कि बाजरा प्रदेश की एक महत्वपूर्ण फसल है और केंद्र सरकार ने इसका न्यूनतम समर्थन मूल्य 2250 रुपए तय किया है, लेकिन एमएसपी पर राजस्थान में बाजरे की खरीद नहीं हो रही है. किसान औने-पौने दाम पर अपनी फसल बेचने को मजबूर हैं जिससे उन्हें आर्थिक नुकसान हो रहा है.
मीणा ने कहा कि किसानों के पास पैसा नहीं है और बिचौलिए इसका फायदा उठाकर किसानों की फसल कम भाव में खरीद रहे हैं. हरियाणा में बाजरे की एमएसपी पर खरीद शुरू हुए एक महीना हो चुका है. उन्होंने कहा कि खरीद का सारा पैसा केंद्र देता है. इसके बावजूद गहलोत को क्या दिक्कत है, समझ नहीं आ रहा है.
कृषि कानूनों को लेकर किसानों को गुमराह करने के लिए वे उनके साथ खड़े हो जाते हैं, लेकिन एमएसपी को लेकर सरकार कुछ नहीं कर रही. एमएसपी पर बाजरे की फसल खरीद के लिये सरकार को बस स्थाई केंद्र खोलने हैं. मुख्यमंत्री ने अभी तक केंद्र सरकार को बाजरे की एमएसपी पर खरीद के लिए पत्र भी नहीं लिखा है. उन्होंने मांग की कि प्रदेश में बाजरे की खरीद को लेकर किसानों के साथ हो रही लूट बंद होनी चाहिए. गहलोत सरकार के खिलाफ आक्रोश जताने के बाद किसान मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपकर धरना समाप्त कर चले गए.