जयपुर. राजस्थान यूनिवर्सिटी में एबीवीपी के महासचिव पद के प्रत्याशी अरविंद जाजड़ा ने संगठन के पट्टे से खुद का गला घोंटने की कोशिश की है. वहीं, एबीवीपी ने सामूहिक आत्महत्या की चेतावनी दी है. महासचिव और उपाध्यक्ष पद पर प्रत्याशियों के नामांकन रद्द करने का आरोप लगाते हुए एबीवीपी ने डीएसडब्ल्यू कार्यालय में हंगामा कर दिया था.
दरअसल, राजस्थान विश्वविद्यालय छात्र संघ चुनाव 2022 में मंगलवार को नाम वापसी और फाइनल कैंडिडेट लिस्ट से जारी होने के दिन जमकर (Ruckus in RU) हंगामा बरपा. यहां अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने आरोप लगाया कि डीएसडब्ल्यू कार्यालय में अंदर से ताला लगाकर एबीवीपी कैंडिडेट के फॉर्म रिजेक्ट करने की प्लानिंग की जा रही है. अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने धांधली का आरोप लगाते हुए कार्यालय में प्रवेश से रोकने पर जमकर हंगामा किया.
उन्होंने कहा कि स्क्रूटनी कमेटी एबीवीपी के प्रत्याशियों के नामांकन खारिज करने में जुटी हुई है. इस पर एबीवीपी के कार्यकर्ता पहले चुनाव अधिकारी पर हावी हुए, जिसे पुलिस प्रशासन की ओर से रोका गया और फिर उन्होंने हाथ जोड़कर चुनाव अधिकारी क्षमा मांगते हुए सही फैसला लेने का निवेदन किया. इस दौरान डीएसडब्ल्यू सरीना कालिया ने खुद को कमरे में बंद कर लिया और छात्र नेताओं का हंगामा बढ़ते देख डीएसडब्ल्यू कार्यालय छावनी में तब्दील हो गया.
वहीं, एनएसयूआई से प्रत्याशी रोहिताश मीणा का नॉमिनेशन रद्द होने के बाद एनएसयूआई से बागी हुए (Student Union Election 2022) संजय चौधरी को अपना महासचिव पद का प्रत्याशी घोषित किया. इसी तरह संयुक्त सचिव पद पर जोड़-तोड़ की राजनीति करते हुए एसएफआई की उम्मीदवार धारा कुमावत को अपने पाले में किया. जबकि उपाध्यक्ष पद पर निकिता फामरा को अपना कैंडिडेट घोषित किया.
उधर, निहारिका समर्थक और पूर्व महासचिव नरेश मीणा ने सीएम अशोक गहलोत के इशारे पर जातिगत राजनीति का आरोप लगाया. साथ ही चुनावी मैदान में उतरे अध्यक्ष पद के प्रत्याशी प्रताप भानु मीणा का गिरेबान पकड़ते हुए उस पर नाम वापसी का दबाव बनाया. इस दौरान निहारिका भी प्रताप भानु के पैरों में गिर कर रिक्वेस्ट करती दिखी. वहीं, बाद में नरेश मीणा ने कहा कि छात्र संघ चुनावों में सीएम अशोक गहलोत अपनी जातिगत राजनीति करने पर आमादा हैं और प्रताप भानु को जानबूझकर चुनाव लड़वाया जा रहा है, ताकि जातिगत समीकरण बैठाए जा सकें. इस दौरान उन्होंने प्रताप भानु को कैंपस में वोट नहीं मांग सकने की चेतावनी भी दी.
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वहीं, नाम वापसी का समय दोपहर 2:00 बजे तक का निर्धारित (Nomination for Student Union Election) किया गया था, लेकिन 2:15 बजे महासचिव पद पर नामांकन भरने वाले आलोक शर्मा को एनएसयूआई के छात्र नेता डीएसडब्ल्यू कार्यालय लेकर पहुंचे और नाम वापसी की एप्लीकेशन दिलवाई गई. जिस पर अन्य छात्र नेताओं ने सवाल भी खड़े किए.
ABVP का आरोप : महासचिव और उपाध्यक्ष पद पर प्रत्याशियों के नामांकन रद्द करने का आरोप लगाते हुए एबीवीपी ने एक बार फिर डीएसडब्ल्यू कार्यालय में हंगामा कर दिया. इस दौरान डीएसडब्ल्यू पर जातिगत टिप्पणी का आरोप भी लगाया गया है.
फर्जी आईडी के साथ 9 युवक गिरफ्तारः राजस्थान विश्वविद्यालय में नामांकन प्रक्रिया के दौरान अनाधिकृत रूप से प्रवेश करने वाले फर्जी आईडी के साथ 9 युवक गिरफ्तार किए गए हैं. आरोपियों ने अनाधिकृत रूप से विश्वविद्यालय में प्रवेश करने का प्रयास किया था. इस दौरान गांधीनगर थाना पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया. डीसीपी ईस्ट राजीव पचार के मुताबिक 26 अगस्त को राजस्थान विश्वविद्यालय और संगठन कॉलेजों में होने वाले छात्र संघ चुनाव को देखते हुए कानून व्यवस्था बनाए रखने और चुनाव शांतिपूर्ण संपन्न करवाने के लिए पुलिस जाप्ता तैनात किया गया है. चेकिंग के दौरान फर्जी आईकार्ड से अनाधिकृत रूप से प्रवेश करने के मामले में 9 युवकों को गिरफ्तार किया गया है. पुलिस ने आरोपी महेश मीणा, सुनील निठारवाल, प्रदीप कुमार, अशोक चौधरी, देवेश यादव, मनोज सैनी, पंकज पारीक, मुकेश चौधरी, रोहिताश को धारा 151 सीआरपीसी के तहत गिरफ्तार किया है.