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सावधान! यहां हर मोड़ पर धोखा है...कहीं टेंडर के नाम पर तो कहीं इन्वेस्टमेंट के नाम पर करोड़ों ठगे...केंद्रीय मंत्री के नाम का भी किया इस्तेमाल

राजस्थान की राजधानी जयपुर में ठगी के बढ़ते मामलों ने पुलिस के चिंता बढ़ा दी है. राजधानी में ठगी के तीन मामले सामने आए हैं. कहीं टेंडर दिलाने के बहाने तो कहीं मोटा मुनाफा कमाने का लालच देकर करोड़ों रुपए ठग लिए.

राजस्थान में ऑनलाइन फ्रॉड, online fraud in rajasthan
करोड़ों रुपए का फ्रॉड
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Published : Sep 4, 2021, 3:45 PM IST

Updated : Sep 4, 2021, 4:28 PM IST

जयपुर. प्रदेश की राजधानी में इन दिनों ऐसे कई बड़े शातिर ठग सक्रिय हैं जो लोगों को विभिन्न तरह के प्रलोभन देकर अपने जाल में फंसाते हैं और फिर करोड़ों रुपए के घोटालों को अंजाम देकर फरार हो जाते हैं. लोगों को विभिन्न तरह के इन्वेस्टमेंट कर मोटा मुनाफा कमाने का झांसा दिया जाता है, तो कहीं टेंडर दिलाने के नाम पर ठगी की जाती है.

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राजधानी जयपुर में इसी प्रकार की ठगी के 3 नए प्रकरण सामने आए हैं. जिसमें करोड़ों रुपए का घोटाला करके आरोपी शहर छोड़कर फरार हो गए हैं. ठगी के यह प्रकरण राजधानी के जालूपुरा, भांकरोटा और वैशाली नगर थाने में दर्ज किए गए हैं. ताज्जुब की बात यह है कि तीनों ही प्रकरणों में जब पीड़ित पुलिस के पास शिकायत लेकर पहुंचे तो पुलिस ने मामला दर्ज करने से मना कर दिया. अंत में पीड़ितों को कोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ा और कोर्ट की दखलंदाजी के बाद पुलिस ने मामला दर्ज किया.

राजस्थान में ऑनलाइन फ्रॉड, online fraud in rajasthan
केंद्रीय मंत्री के नाम का भी किया जा रहा इस्तेमाल

ठगी का पहला मामला वैशाली नगर थाने में दर्ज किया गया है. जहां पीड़ित को अजमेर और चाकसू में आईओसीएल की साइट पर रंग पेंट, फॉल सीलिंग और सिविल वर्क करवाने का टेंडर दिलाने के नाम पर 15.40 लाखों रुपए की ठगी की गई है. इस संबंध में मनीष कुमार जिंदल ने योगेश सिंह नरूका और नरपत सिंह के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई है. शिकायत में इस बात का जिक्र किया गया है कि आरोपियों ने पीड़ित को आईओसीएल की साइट पर काम करने का टेंडर दिलाने का झांसा दिया. साथ ही 26 लाख रुपए के टेंडर में 20 प्रतिशत हिस्सा बतौर कमीशन की मांग की.

आरोपियों ने पीड़ित को यह कहा कि 20 फीसदी कमीशन में से 10 फिसदी हिस्सा सांसद गजेंद्र सिंह शेखावत को देना पड़ेगा. वहीं 5 फिसदी हिस्सा आईओसीएल के अधिकारी और शेष 5 फिसदी हिस्सा वह स्वयं रखेंगे. इस प्रकार से आरोपियों ने पीड़ित को अपने जाल में फंसाकर उससे आइओसीएल की साइट पर 26.50 लाख रुपए का काम करवा लिया. जब पीड़ित ने पेमेंट की मांग की तो आरोपियों ने दो टुकड़ों में पीड़ित को 11.25 लाख रुपए का भुगतान कर दिया.

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इस पर जब पीड़ित ने शेष बकाया राशि 15.40 लाख रुपए की मांग की तो आरोपियों ने यह कहते हुए राशि देने से इनकार कर दिया की शेष राशि सांसद गजेंद्र सिंह शेखावत और आईओसीएल के अधिकारियों को भेज दी है. इस प्रकार से ठगी का शिकार होने के बाद पीड़ित ने वैशाली नगर थाने में मामला दर्ज करवाया।

ठगी का दूसरा मामला जालूपुरा थाने में दर्ज हुआ है. ठगी के संबंध में मुरलीधर सैनी ने शिकायत दर्ज करवाई है. शिकायत में बताया है कि संसार चंद्र रोड पर पुष्पेंद्र सिंह बघेला ने साईं प्रकाश प्रॉपर्टीज डेवलपमेंट लिमिटेड कॉरपोरेशन के नाम पर एक कार्यालय खोला. इसके बाद लोगों को फर्म में इन्वेस्ट करने और मोटा मुनाफा कमा कर देने का झांसा देकर करोड़ों रुपए की राशि इन्वेस्ट करवाई.

आरोपी ने अपने अन्य साथियों के साथ मिलकर छत्तीसगढ़, उत्तर प्रदेश, मध्यप्रदेश और झारखंड में कंपनी के कार्यालय खोले. जहां पर लोगों को कंपनी में इन्वेस्ट करके 4 गुना मुनाफा कमा कर देने का झांसा दिया गया. साथ ही कंपनी के की ओर से अलग-अलग क्षेत्रों में इन्वेस्ट करने व अलग-अलग कार्य करने का झांसा देकर जिला स्तर पर लोगों को कंपनी का प्रतिनिधि नियुक्त किया गया. इस प्रकार देश के विभिन्न शहरों में कंपनी ने अपने कार्यालय खोले और करोड़ों रुपए की राशि बटोर कर फरवरी 2021 में तमाम कार्यालयों पर ताला लगा कर फरार हो गए. कंपनी का हेड ऑफिस जयपुर में होने के चलते पीड़ित लोगों ने जयपुर के जालूपुरा थाने में मामला दर्ज करवाया है.

वहीं, ठगी का तीसरा मामला भांकरोटा थाने में दर्ज हुआ है. ठगी के संबंध में आदित्य अग्रवाल ने रक्षित खंडेलवाल के खिलाफ शेयर मार्केट में इन्वेस्ट करने का झांसा देकर 1 करोड़ 2 लाख रुपए की ठगी करने की शिकायत दर्ज करवाई है. शिकायत में इस बात का जिक्र किया है कि आरोपी रक्षित खंडेलवाल ने अपने वैशाली नगर स्थित दफ्तर में बुलाकर शेयर मार्केट और यूएस के मार्केट में रुपए लगाकर 20 फिसदी मुनाफा कमाने का लालच दिया. जिस पर पीड़ित ने अपने एक परिचित के साथ मिलकर आरोपी को विदेशी मार्केट में इन्वेस्ट करने के लिए 1 करोड़ 2 लाख रुपए की राशि दी.

पढ़ेंः पंचायत चुनाव 2021 : जयपुर पंचायत समिति चुनाव में कांग्रेस का पलड़ा भारी...22 में से 10 पर कांग्रेस, 8 पर बीजेपी, 3 पर निर्दलीय, 1 पर RLP का बोलबाला

राशि देने के काफी समय बाद तक भी आरोपी ने इन्वेस्टमेंट से संबंधित किसी भी तरह के कोई दस्तावेज नहीं दिए. शक होने पर जब पीड़ित ने आरोपी से उसकी राशि वापस लौटाने के लिए कहा तो पहले तो आरोपी राशि वापस करने का आश्वासन देकर टालमटोल करता रहा. बाद में आरोपी ने राशि वापस लौटाने से साफ इनकार कर दिया. इसके बाद पीड़ित ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई.

जयपुर. प्रदेश की राजधानी में इन दिनों ऐसे कई बड़े शातिर ठग सक्रिय हैं जो लोगों को विभिन्न तरह के प्रलोभन देकर अपने जाल में फंसाते हैं और फिर करोड़ों रुपए के घोटालों को अंजाम देकर फरार हो जाते हैं. लोगों को विभिन्न तरह के इन्वेस्टमेंट कर मोटा मुनाफा कमाने का झांसा दिया जाता है, तो कहीं टेंडर दिलाने के नाम पर ठगी की जाती है.

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राजधानी जयपुर में इसी प्रकार की ठगी के 3 नए प्रकरण सामने आए हैं. जिसमें करोड़ों रुपए का घोटाला करके आरोपी शहर छोड़कर फरार हो गए हैं. ठगी के यह प्रकरण राजधानी के जालूपुरा, भांकरोटा और वैशाली नगर थाने में दर्ज किए गए हैं. ताज्जुब की बात यह है कि तीनों ही प्रकरणों में जब पीड़ित पुलिस के पास शिकायत लेकर पहुंचे तो पुलिस ने मामला दर्ज करने से मना कर दिया. अंत में पीड़ितों को कोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ा और कोर्ट की दखलंदाजी के बाद पुलिस ने मामला दर्ज किया.

राजस्थान में ऑनलाइन फ्रॉड, online fraud in rajasthan
केंद्रीय मंत्री के नाम का भी किया जा रहा इस्तेमाल

ठगी का पहला मामला वैशाली नगर थाने में दर्ज किया गया है. जहां पीड़ित को अजमेर और चाकसू में आईओसीएल की साइट पर रंग पेंट, फॉल सीलिंग और सिविल वर्क करवाने का टेंडर दिलाने के नाम पर 15.40 लाखों रुपए की ठगी की गई है. इस संबंध में मनीष कुमार जिंदल ने योगेश सिंह नरूका और नरपत सिंह के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई है. शिकायत में इस बात का जिक्र किया गया है कि आरोपियों ने पीड़ित को आईओसीएल की साइट पर काम करने का टेंडर दिलाने का झांसा दिया. साथ ही 26 लाख रुपए के टेंडर में 20 प्रतिशत हिस्सा बतौर कमीशन की मांग की.

आरोपियों ने पीड़ित को यह कहा कि 20 फीसदी कमीशन में से 10 फिसदी हिस्सा सांसद गजेंद्र सिंह शेखावत को देना पड़ेगा. वहीं 5 फिसदी हिस्सा आईओसीएल के अधिकारी और शेष 5 फिसदी हिस्सा वह स्वयं रखेंगे. इस प्रकार से आरोपियों ने पीड़ित को अपने जाल में फंसाकर उससे आइओसीएल की साइट पर 26.50 लाख रुपए का काम करवा लिया. जब पीड़ित ने पेमेंट की मांग की तो आरोपियों ने दो टुकड़ों में पीड़ित को 11.25 लाख रुपए का भुगतान कर दिया.

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इस पर जब पीड़ित ने शेष बकाया राशि 15.40 लाख रुपए की मांग की तो आरोपियों ने यह कहते हुए राशि देने से इनकार कर दिया की शेष राशि सांसद गजेंद्र सिंह शेखावत और आईओसीएल के अधिकारियों को भेज दी है. इस प्रकार से ठगी का शिकार होने के बाद पीड़ित ने वैशाली नगर थाने में मामला दर्ज करवाया।

ठगी का दूसरा मामला जालूपुरा थाने में दर्ज हुआ है. ठगी के संबंध में मुरलीधर सैनी ने शिकायत दर्ज करवाई है. शिकायत में बताया है कि संसार चंद्र रोड पर पुष्पेंद्र सिंह बघेला ने साईं प्रकाश प्रॉपर्टीज डेवलपमेंट लिमिटेड कॉरपोरेशन के नाम पर एक कार्यालय खोला. इसके बाद लोगों को फर्म में इन्वेस्ट करने और मोटा मुनाफा कमा कर देने का झांसा देकर करोड़ों रुपए की राशि इन्वेस्ट करवाई.

आरोपी ने अपने अन्य साथियों के साथ मिलकर छत्तीसगढ़, उत्तर प्रदेश, मध्यप्रदेश और झारखंड में कंपनी के कार्यालय खोले. जहां पर लोगों को कंपनी में इन्वेस्ट करके 4 गुना मुनाफा कमा कर देने का झांसा दिया गया. साथ ही कंपनी के की ओर से अलग-अलग क्षेत्रों में इन्वेस्ट करने व अलग-अलग कार्य करने का झांसा देकर जिला स्तर पर लोगों को कंपनी का प्रतिनिधि नियुक्त किया गया. इस प्रकार देश के विभिन्न शहरों में कंपनी ने अपने कार्यालय खोले और करोड़ों रुपए की राशि बटोर कर फरवरी 2021 में तमाम कार्यालयों पर ताला लगा कर फरार हो गए. कंपनी का हेड ऑफिस जयपुर में होने के चलते पीड़ित लोगों ने जयपुर के जालूपुरा थाने में मामला दर्ज करवाया है.

वहीं, ठगी का तीसरा मामला भांकरोटा थाने में दर्ज हुआ है. ठगी के संबंध में आदित्य अग्रवाल ने रक्षित खंडेलवाल के खिलाफ शेयर मार्केट में इन्वेस्ट करने का झांसा देकर 1 करोड़ 2 लाख रुपए की ठगी करने की शिकायत दर्ज करवाई है. शिकायत में इस बात का जिक्र किया है कि आरोपी रक्षित खंडेलवाल ने अपने वैशाली नगर स्थित दफ्तर में बुलाकर शेयर मार्केट और यूएस के मार्केट में रुपए लगाकर 20 फिसदी मुनाफा कमाने का लालच दिया. जिस पर पीड़ित ने अपने एक परिचित के साथ मिलकर आरोपी को विदेशी मार्केट में इन्वेस्ट करने के लिए 1 करोड़ 2 लाख रुपए की राशि दी.

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राशि देने के काफी समय बाद तक भी आरोपी ने इन्वेस्टमेंट से संबंधित किसी भी तरह के कोई दस्तावेज नहीं दिए. शक होने पर जब पीड़ित ने आरोपी से उसकी राशि वापस लौटाने के लिए कहा तो पहले तो आरोपी राशि वापस करने का आश्वासन देकर टालमटोल करता रहा. बाद में आरोपी ने राशि वापस लौटाने से साफ इनकार कर दिया. इसके बाद पीड़ित ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई.

Last Updated : Sep 4, 2021, 4:28 PM IST
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