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जयपुर: हेरिटेज नगर निगम में बीवीजी कंपनी हड़ताल पर, सफाई व्यवस्था चरमराई

हेरिटेज नगर निगम में बीवीजी कंपनी के हड़ताल पर होने के चलते सफाई व्यवस्था एक बार फिर चरमरा गई है. जोन स्तर पर सफाई कर्मचारी और होमगार्ड तैनात कर रोडसाइड कचरा डिपो खत्म करने की कोशिश जरूर की जा रही है. लेकिन डोर टू डोर कचरा संग्रहण नहीं होने से ये व्यवस्था भी फेल साबित हो गई है. वहीं अब बीजेपी ने सफाई व्यवस्था पटरी पर नहीं आने की स्थिति में आंदोलन की चेतावनी दी है.

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Published : Jan 31, 2021, 7:20 PM IST

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हेरिटेज नगर निगम में बीवीजी कंपनी हड़ताल पर, सफाई व्यवस्था चरमराई

जयपुर. स्वच्छ सर्वेक्षण 2021 सिर पर है. इस बार जयपुर शहर के दोनों नगर निगम अलग-अलग तैयारी कर रहे हैं. लेकिन हेरिटेज नगर निगम की बात करें तो यहां बीवीजी कंपनी के हड़ताल पर होने के चलते सफाई व्यवस्था एक बार फिर चरमरा गई है. जोन स्तर पर सफाई कर्मचारी और होमगार्ड तैनात कर रोडसाइड कचरा डिपो खत्म करने की कोशिश जरूर की जा रही है. लेकिन डोर टू डोर कचरा संग्रहण नहीं होने से ये व्यवस्था भी फेल साबित हो गई है. वहीं अब बीजेपी ने सफाई व्यवस्था पटरी पर नहीं आने की स्थिति में आंदोलन की चेतावनी दी है.

जयपुर में सफाई व्यवस्था चरमराई

कुछ दिन पहले राजधानी के परकोटा क्षेत्र से कुछ सुखद तस्वीरें सामने आई. जिसमें रोडसाइड कचरा डिपो साफ और यहां दोबारा कचरा ना डालें. इसके लिए सफाई कर्मचारी और गार्ड की तैनाती भी देखने को मिली. हवामहल जोन डीसी सुरेंद्र यादव की माने तो रोडसाइड कचरा डिपो खत्म करने के प्रयास किए जा रहे हैं. क्षेत्रीय लोग और दुकानदारों से समझाइश की जा रही है. डोर टू डोर कचरा कलेक्शन करने वाले हूपर को भी हर घर तक पहुंचने के लिए ताकीद किया गया है. वहीं जगह-जगह सफाई कर्मचारी या होमगार्ड को तैनात किए गए हैं. ताकि कोई भी व्यक्ति रोड पर कचरा ना फेंके.

पढे़ं: निकाय चुनाव परिणाम पर अजय माकन ने जताया संतोष...मुख्यमंत्री और पीसीसी चीफ को दी बधाई

हालांकि इन तस्वीरों पर मानो किसी की नजर लग गई हो बीते 4 दिन से बीवीजी कंपनी हड़ताल पर है. क्षेत्र में डोर टू डोर कचरा संग्रहण हो नहीं रहा. जिसकी वजह से एक बार फिर ओपन कचरा डिपो नजर जाने लगे हैं. और इस बार हालात पहले से भी गंभीर है. इस पर हेरिटेज नगर निगम आयुक्त लोक बंधु ने बताया कि बीवीजी के लोडर, डंपर और हूपर किन्हीं कारणों से नहीं आ रहे. ऐसे में निगम ने अपने संसाधन लगाकर रोड पर पड़े कचरे को उठाया है.

बीवीजी को शहरी सफाई व्यवस्था बनाए रखने के लिए नोटिस दिया है. साथ ही नियमानुसार पेनल्टी भी लगाई जा रही है. वहीं निगम ने अपने संसाधनों को इस्तेमाल करने के लिए एक कमेटी भी बनाई है जो कार्य योजना बनाकर सक्षम स्तर पर निर्धारण करेगी. इस संबंध में बोर्ड बैठक में एजेंडा भी रखा जाएगा. उन्होंने कहा कि स्वच्छ सर्वेक्षण के तहत 100% डोर टू डोर कचरा कलेक्शन के लिए प्रतिबद्धता है. लेकिन कुछ लोग रोड साइड कचरा डंप करते हैं. ऐसे में जोन उपायुक्तों को निर्देश दिए हैं, कि कचरा कलेक्शन का जो समय है उसके अलावा यदि कोई कचरा डालता है, तो उनके खिलाफ जुर्माना वसूलने की कार्रवाई भी की जाए.

उधर, क्षेत्र में बिगड़ी सफाई व्यवस्था पर अब बीजेपी पार्षद आक्रोशित नजर आ रहे हैं. पार्षद रजत विश्नोई ने बताया कि इस संबंध में बार-बार महापौर और आयुक्त को ज्ञापन दिया है कि बीवीजी हड़ताल कर रही है. हूपर भी कम भेज रहे हैं. ऐसे में लोग मजबूरी में बाहर कचरा डाल रहे हैं. उन्होंने कहा कि बीवीजी कंपनी की इस हड़ताल को जनहित में जल्द से जल्द खत्म कराया जाए. चारदीवारी वैसे ही कन्जेस्टेड एरिया है. जहां कचरे के ढेर बढ़ते जा रहे हैं. वर्ल्ड स्मार्ट सिटी होने के नाते ये साफ-सुथरी होनी चाहिए. लेकिन दिनों-दिन उसके हालात बदतर होते जा रहे हैं और यदि व्यवस्था बेहतर नहीं होती, तो जल्द एक उग्र आंदोलन किया जाएगा.

बहरहाल, ग्रेटर नगर निगम शहर की सफाई व्यवस्था के लिए नासूर बन चुकी बीवीजी को हटाने की तैयारियों में जुटा हुआ है. संभव है कि 1 फरवरी को बैठक कर इस पर अंतिम फैसला लिया जाए. इस बीच हेरिटेज नगर निगम में भी बीवीजी के खिलाफ विरोध के स्वर तेज हो गए हैं.

जयपुर. स्वच्छ सर्वेक्षण 2021 सिर पर है. इस बार जयपुर शहर के दोनों नगर निगम अलग-अलग तैयारी कर रहे हैं. लेकिन हेरिटेज नगर निगम की बात करें तो यहां बीवीजी कंपनी के हड़ताल पर होने के चलते सफाई व्यवस्था एक बार फिर चरमरा गई है. जोन स्तर पर सफाई कर्मचारी और होमगार्ड तैनात कर रोडसाइड कचरा डिपो खत्म करने की कोशिश जरूर की जा रही है. लेकिन डोर टू डोर कचरा संग्रहण नहीं होने से ये व्यवस्था भी फेल साबित हो गई है. वहीं अब बीजेपी ने सफाई व्यवस्था पटरी पर नहीं आने की स्थिति में आंदोलन की चेतावनी दी है.

जयपुर में सफाई व्यवस्था चरमराई

कुछ दिन पहले राजधानी के परकोटा क्षेत्र से कुछ सुखद तस्वीरें सामने आई. जिसमें रोडसाइड कचरा डिपो साफ और यहां दोबारा कचरा ना डालें. इसके लिए सफाई कर्मचारी और गार्ड की तैनाती भी देखने को मिली. हवामहल जोन डीसी सुरेंद्र यादव की माने तो रोडसाइड कचरा डिपो खत्म करने के प्रयास किए जा रहे हैं. क्षेत्रीय लोग और दुकानदारों से समझाइश की जा रही है. डोर टू डोर कचरा कलेक्शन करने वाले हूपर को भी हर घर तक पहुंचने के लिए ताकीद किया गया है. वहीं जगह-जगह सफाई कर्मचारी या होमगार्ड को तैनात किए गए हैं. ताकि कोई भी व्यक्ति रोड पर कचरा ना फेंके.

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हालांकि इन तस्वीरों पर मानो किसी की नजर लग गई हो बीते 4 दिन से बीवीजी कंपनी हड़ताल पर है. क्षेत्र में डोर टू डोर कचरा संग्रहण हो नहीं रहा. जिसकी वजह से एक बार फिर ओपन कचरा डिपो नजर जाने लगे हैं. और इस बार हालात पहले से भी गंभीर है. इस पर हेरिटेज नगर निगम आयुक्त लोक बंधु ने बताया कि बीवीजी के लोडर, डंपर और हूपर किन्हीं कारणों से नहीं आ रहे. ऐसे में निगम ने अपने संसाधन लगाकर रोड पर पड़े कचरे को उठाया है.

बीवीजी को शहरी सफाई व्यवस्था बनाए रखने के लिए नोटिस दिया है. साथ ही नियमानुसार पेनल्टी भी लगाई जा रही है. वहीं निगम ने अपने संसाधनों को इस्तेमाल करने के लिए एक कमेटी भी बनाई है जो कार्य योजना बनाकर सक्षम स्तर पर निर्धारण करेगी. इस संबंध में बोर्ड बैठक में एजेंडा भी रखा जाएगा. उन्होंने कहा कि स्वच्छ सर्वेक्षण के तहत 100% डोर टू डोर कचरा कलेक्शन के लिए प्रतिबद्धता है. लेकिन कुछ लोग रोड साइड कचरा डंप करते हैं. ऐसे में जोन उपायुक्तों को निर्देश दिए हैं, कि कचरा कलेक्शन का जो समय है उसके अलावा यदि कोई कचरा डालता है, तो उनके खिलाफ जुर्माना वसूलने की कार्रवाई भी की जाए.

उधर, क्षेत्र में बिगड़ी सफाई व्यवस्था पर अब बीजेपी पार्षद आक्रोशित नजर आ रहे हैं. पार्षद रजत विश्नोई ने बताया कि इस संबंध में बार-बार महापौर और आयुक्त को ज्ञापन दिया है कि बीवीजी हड़ताल कर रही है. हूपर भी कम भेज रहे हैं. ऐसे में लोग मजबूरी में बाहर कचरा डाल रहे हैं. उन्होंने कहा कि बीवीजी कंपनी की इस हड़ताल को जनहित में जल्द से जल्द खत्म कराया जाए. चारदीवारी वैसे ही कन्जेस्टेड एरिया है. जहां कचरे के ढेर बढ़ते जा रहे हैं. वर्ल्ड स्मार्ट सिटी होने के नाते ये साफ-सुथरी होनी चाहिए. लेकिन दिनों-दिन उसके हालात बदतर होते जा रहे हैं और यदि व्यवस्था बेहतर नहीं होती, तो जल्द एक उग्र आंदोलन किया जाएगा.

बहरहाल, ग्रेटर नगर निगम शहर की सफाई व्यवस्था के लिए नासूर बन चुकी बीवीजी को हटाने की तैयारियों में जुटा हुआ है. संभव है कि 1 फरवरी को बैठक कर इस पर अंतिम फैसला लिया जाए. इस बीच हेरिटेज नगर निगम में भी बीवीजी के खिलाफ विरोध के स्वर तेज हो गए हैं.

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