जयपुर. राजस्थान में कोरोना संक्रमण (corona infection in rajasthan) का ग्राफ गिर गया है. कोरोना केस लगभग खत्म हो गये हैं. लेकिन कोरोना संक्रमण के घाव भरने में शायद वक्त लगे. क्योंकि कोरोना के साइड इफेक्ट के मामले राज्य में लगातार बढ़ रहे हैं. कई मरीज सामने आ रहे हैं जिन्हें कोरोना हुआ था, वे अब पोस्ट कोविड रोगों से जूझ रहे हैं.
इस मामले को लेकर आरयूएचएस अस्पताल (RUHS Hospital) के अधीक्षक डॉ. अजीत सिंह का कहना है कि राजस्थान में धीरे-धीरे कोविड-19 संक्रमण के मामले कम हो रहे हैं. लेकिन हाल ही में पोस्ट कोविड-19 इफेक्ट (post covid-19 effect ) से पीड़ित मरीज सामने आने लगे हैं. जिनमें लंग्स फाइब्रोसिस (Lungs Fibrosis) और ब्लैक फंगस से पीड़ित मरीज अधिक हैं. डॉ. सिंह (Dr. Ajit Singh) का कहना है कि लंग्स फाइब्रोसिस के चलते मरीजों के फेफड़े खराब होने लगे हैं.
ऐसे में कुछ मरीजों को तो आईसीयू (ICU) और वेंटीलेटर पर भर्ती करना पड़ रहा है. इन मरीजों में अभी भी ऑक्सीजन सैचुरेशन की कमी देखने को मिल रही है. तकरीबन 4 से 5 लीटर ऑक्सीजन पर इन मरीजों को रखा जा रहा है. सरकार की ओर से अभी भी आरयूएचएस अस्पताल में कोरोना और इससे होने वाले साइड इफेक्ट से जुड़े मरीजों के इलाज करने के निर्देश जारी हैं. इसके बाद ओपीडी में लगातार इन मरीजों की संख्या बढ़ती जा रही है. तकरीबन 8 से 10 मरीज हर दिन इस तरह की बीमारी से पीड़ित सामने आ रहे हैं.
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पोस्ट ब्लैक फंगस के मामले
डॉ. अजीत सिंह का यह भी कहना है कि कोविड-19 संक्रमण के बाद हाल ही में म्युकर माइकोसिस (mucormycosis) यानी ब्लैक फंगस के मरीज सबसे अधिक सामने आए थे. तकरीबन 500 से अधिक मरीजों में यह संक्रमण देखने को मिला था. ऐसे में एक चौंकाने वाला मामला भी सामने आया है, जहां ऐसे मरीज जिनका ब्लैक फंगस का ऑपरेशन (Post Operated Black Fungus) हो चुका है, उनमें पलट कर यह संक्रमण वापस आ रहा है.
आरयूएचएस की ओपीडी में हर दिन 3 से 4 मरीज इस तरह के देखने को मिल रहे हैं. ऐसे में अस्पताल में पोस्ट कोविड मरीजों के लिए अलग से आईसीयू और वार्ड तैयार किया गया है, जहां तकरीबन 20 से अधिक मरीजों का इलाज चल रहा है.