जयपुर. धातु मिश्रित और प्लास्टिक से बने मांझे के उपयोग पर पाबंदी लगाई गई है. प्लास्टिक से बने पक्के धागे या सिंथेटिक पाउडर, लोहे पाउडर, कांच पाउडर और विषैले पदार्थ से बने मांझे के उपयोग से आमजन और पक्षियों को हानि पहुंचती है.
मांझे के उपयोग से बिजली के तारों को छू जाने से करंट के कारण जनहानि होने की भी संभावना रहती है. पशु पक्षियों और आमजन की जान माल की सुरक्षा के लिए धातु मिश्रित और प्लास्टिक से बने मांझी के उपयोग पर रोक लगाई गई है. एडिशनल पुलिस कमिश्नर लॉ एंड ऑर्डर राहुल प्रकाश ने आदेश जारी किए हैं. आदेश के मुताबिक 31 जनवरी तक पुलिस कमिश्नरेट की सीमा में कोई भी पतंग उड़ाने के लिए धातु मिश्रित मांझे का उपयोग नहीं कर सकेगा.
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इस तरह का मांझा खरीदने और बेचने पर भी प्रतिबंध लगाया गया है. वहीं, आदेश की अवहेलना करने पर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी. मकर सक्रांति के पर्व पर हर साल मांझे के उपयोग से कई वाहन चालक और पशु पक्षी घायल हो जाते हैं. इसको देखते हुए धातु मिश्रित मांझे के उपयोग पर प्रतिबंध लगाया गया है. नए साल पर पुलिस की ओर से विशेष निगरानी रखी जाएगी.
कोरोना गाइडलाइन की पालना करवाने के लिए पुलिस ने विशेष तैयारियां की है. सभी थाना अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि नए साल पर कोई भी जश्न का आयोजन नहीं होने दिया जाए. रात 8 बजे बाद कर्फ्यू की पालना सुनिश्चित की जाए. होटल, रेस्टोरेंट और व्यवसायिक संस्थानों पर भी नजर रखी जाएगी. गाइडलाइन का उल्लंघन और कर्फ्यू का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.
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जयपुर शहर के विभिन्न स्थानों पर नाकाबंदी की जा रही है. पुलिस अधिकारी भी मॉनिटरिंग कर रहे हैं. ताकि किसी भी तरह से कोरोना प्रोटोकॉल का उल्लंघन नहीं हो सके. जयपुर शहर में 24 घंटे में करीब 355 कार्रवाई भी की गई है और 3.5 लाख रुपए से ज्यादा का जुर्माना वसूल किया गया है. नए साल पर पुलिस की सख्त नजर रहेगी.