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स्पेशल रिपोर्ट: मुख्यमंत्री ने जिस स्पेशल गिरदावरी की घोषणा की है, उसके आदेश में जालोर के 5 पटवार सर्कल के नाम, जबकि 5 उपखण्ड के गांवों में नुकसान

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Published : Dec 31, 2019, 8:32 PM IST

टिड्डी प्रभावित किसानों से मिलने और खेतों का जायजा लेने के लिए सोमवार को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत खुद जालोर के सांचोर आए. इस दौरान उन्होंने किसानों को हर संभव मदद का भरोसा दिया. टिड्डी प्रभावित क्षेत्र में स्पेशल गिरदावरी करवाने की घोषणा की, लेकिन राज्य सरकार ने जो आदेश निकाला है उसके जालोर जिले की मात्र 4 पटवार सर्कल के ही नाम है, जबकि नुकसान 5 उपखंड के गांवों में हुआ है. देखिए जालोर से स्पेशल रिपोर्ट..

Special Girdawari, grasshopper damage
स्पेशल गिरदावरी की घोषणा

जालोर. प्रदेश में मुखिया मुख्यमंत्री अशोक गहलोत सोमवार को जालोर जिले के सांचोर में एक दिवसीय दौरे पर आए. इस दौरान उन्होंने टिड्डी प्रभावित किसानों से रूबरू हुए और राज्य सरकार की तरफ से मदद का भरोसा दिलाया. जिसमें किसानों को राहत देने के लिए स्पेशल पैकेज की कोई घोषणा नहीं की, लेकिन स्पेशल गिरदावरी करवाने की जरूर घोषणा की. मुख्यमंत्री ने कहा कि अमूमन गिरदावरी मार्च-अप्रेल में होती है, लेकिन इस बार टिड्डी प्रभावित किसानों के लिए राहत देने की कोशिश करते हुए स्पेशल गिरदावरी की जाएगी, ताकि किसानों को राहत दी जा सके. मुख्यमंत्री की इस घोषणा के बाद किसानों को थोड़ी उम्मीद जगी की टिड्डी द्वारा फसल बर्बाद करने के बाद सरकार स्पेशल गिरदावरी करवायेगी तो जरूर बीमा क्लेम की राशि मिल जाएगी.

मुख्यमंत्री की ओर से स्पेशल गिरदावरी की घोषणा

उसके लिए किसानों ने लाइन में लग कर बैंकों व ई-मित्रों से अपनी फसलों का बीमा करवाया, लेकिन जब राज्य सरकार ने स्पेशल गिरदावरी करने का आदेश निकाला तो जिले के किसानों के पांव के नीचे से जमीन निकल गई. आदेश क्रमांक संख्या प.13 (14) राज-1/2019 में बाड़मेर, जैसलमेर व जालोर कलेक्टर को निर्देशित करते हुए कहा गया है कि टिड्डी प्रभावित क्षेत्र में स्पेशल गिरदावरी की जाए. जिसमें जालोर जिले के तहसील सांचोर के पटवार मंडल अचलपुर, सांचोर, गोलासन व कोड में भू राजस्व (भू-अभिलेख) नियम 1957 के नियम -58 के उप नियम 2(क) अंतर्गत स्पेशल गिरदावरी की जाए.

Special Girdawari, grasshopper damage
स्पेशल गिरदावरी की घोषणा

पढ़ें- टिड्डी Attack मामला: जब मजाकिया अंदाज में सीएम गहलोत ने खंगाला किसानों का जेब...

ऐसे में सवाल खड़ा हो रहा है कि टिड्डी ने शुरुआत ही जिले के बेड़िया व भींचरो की ढाणी से की थी. उसके बाद लगातार आगे के गांवों में बढ़ती बढ़ती जिले के चितलवाना, सांचोर, रानीवाड़ा, भीनमाल, बागोड़ा व सायला उपखण्ड क्षेत्र तक पहुंच गई. जिसमें इन पांच उपखण्ड के गांवों में लाखों हेक्टेयर में बोई रबी की पूरी तरह बर्बाद कर दिया, लेकिन स्पेशल गिरदावरी करवाने के आदेश में 5 उपखण्ड के गांवों की जगह मात्र 4पटवार हलको का ही नाम क्यों है.

सरकार की किसानों के प्रति सकारात्मक सोच नहीं: भाजपा
स्पेशल गिरदावरी के आदेश में जिले के 4 गांवों का नाम है, जबकि नुकसान जिले के 5 उपखण्ड क्षेत्र के सैंकड़ों गांवों में हुआ है. इस मामले में भाजपा के सांसद देवजी पटेल का आरोप है कि प्रदेश में कांग्रेस सरकार की किसानों के प्रति सोच सकारात्मक नहीं है. जिसके कारण ऐसे खानापूर्ति के लिए आदेश निकाल रही है. पटेल ने यह भी आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की अंतिम तिथि को आगे बढ़ाने के लिए राज्य सरकार ने केंद्र को पत्र लिखा है. जिसमें भी उल्लेख कर दिया कि सिर्फ ऋणी किसानों के लिए बीमा करवाने का अंतिम तिथि बढ़ाई जाए. जिसके बाद अब वापस राज्य सरकार के अधिकारियों से सम्पर्क करके रिवाइज लेटर भिजवाने की कोशिश की जा रही है. जिसमें सभी प्रकार के किसानों के लिए बीमा करवाने की अंतिम तिथि बढ़ाने को कहा गया है.

पढ़ें- प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने टिड्डी नियंत्रण करने में हमारी मदद नहीं की: केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी

जिले के 5 उपखण्ड में टिड्डी प्रकोप, सर्वे सिर्फ 4 गांवों में
जिले में टिड्डी चितलवाना उपखण्ड के बेड़िया से जालोर जिले में प्रवेश हुई थी. उसके बाद चितलवाना, सांचोर, रानीवाड़ा, भीनमाल, बागोड़ा व सायला क्षेत्र के गांवों में भयंकर नुकसान पहुंचाया. इन उपखंड के गांवों में आज भी टिड्डी मौजूद है और रबी की फसल को बर्बाद कर रही है, जबकि स्पेशल गिरदावरी में सिर्फ सांचोर के 4 पटवार सर्कल को शामिल किया गया है.

जालोर. प्रदेश में मुखिया मुख्यमंत्री अशोक गहलोत सोमवार को जालोर जिले के सांचोर में एक दिवसीय दौरे पर आए. इस दौरान उन्होंने टिड्डी प्रभावित किसानों से रूबरू हुए और राज्य सरकार की तरफ से मदद का भरोसा दिलाया. जिसमें किसानों को राहत देने के लिए स्पेशल पैकेज की कोई घोषणा नहीं की, लेकिन स्पेशल गिरदावरी करवाने की जरूर घोषणा की. मुख्यमंत्री ने कहा कि अमूमन गिरदावरी मार्च-अप्रेल में होती है, लेकिन इस बार टिड्डी प्रभावित किसानों के लिए राहत देने की कोशिश करते हुए स्पेशल गिरदावरी की जाएगी, ताकि किसानों को राहत दी जा सके. मुख्यमंत्री की इस घोषणा के बाद किसानों को थोड़ी उम्मीद जगी की टिड्डी द्वारा फसल बर्बाद करने के बाद सरकार स्पेशल गिरदावरी करवायेगी तो जरूर बीमा क्लेम की राशि मिल जाएगी.

मुख्यमंत्री की ओर से स्पेशल गिरदावरी की घोषणा

उसके लिए किसानों ने लाइन में लग कर बैंकों व ई-मित्रों से अपनी फसलों का बीमा करवाया, लेकिन जब राज्य सरकार ने स्पेशल गिरदावरी करने का आदेश निकाला तो जिले के किसानों के पांव के नीचे से जमीन निकल गई. आदेश क्रमांक संख्या प.13 (14) राज-1/2019 में बाड़मेर, जैसलमेर व जालोर कलेक्टर को निर्देशित करते हुए कहा गया है कि टिड्डी प्रभावित क्षेत्र में स्पेशल गिरदावरी की जाए. जिसमें जालोर जिले के तहसील सांचोर के पटवार मंडल अचलपुर, सांचोर, गोलासन व कोड में भू राजस्व (भू-अभिलेख) नियम 1957 के नियम -58 के उप नियम 2(क) अंतर्गत स्पेशल गिरदावरी की जाए.

Special Girdawari, grasshopper damage
स्पेशल गिरदावरी की घोषणा

पढ़ें- टिड्डी Attack मामला: जब मजाकिया अंदाज में सीएम गहलोत ने खंगाला किसानों का जेब...

ऐसे में सवाल खड़ा हो रहा है कि टिड्डी ने शुरुआत ही जिले के बेड़िया व भींचरो की ढाणी से की थी. उसके बाद लगातार आगे के गांवों में बढ़ती बढ़ती जिले के चितलवाना, सांचोर, रानीवाड़ा, भीनमाल, बागोड़ा व सायला उपखण्ड क्षेत्र तक पहुंच गई. जिसमें इन पांच उपखण्ड के गांवों में लाखों हेक्टेयर में बोई रबी की पूरी तरह बर्बाद कर दिया, लेकिन स्पेशल गिरदावरी करवाने के आदेश में 5 उपखण्ड के गांवों की जगह मात्र 4पटवार हलको का ही नाम क्यों है.

सरकार की किसानों के प्रति सकारात्मक सोच नहीं: भाजपा
स्पेशल गिरदावरी के आदेश में जिले के 4 गांवों का नाम है, जबकि नुकसान जिले के 5 उपखण्ड क्षेत्र के सैंकड़ों गांवों में हुआ है. इस मामले में भाजपा के सांसद देवजी पटेल का आरोप है कि प्रदेश में कांग्रेस सरकार की किसानों के प्रति सोच सकारात्मक नहीं है. जिसके कारण ऐसे खानापूर्ति के लिए आदेश निकाल रही है. पटेल ने यह भी आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की अंतिम तिथि को आगे बढ़ाने के लिए राज्य सरकार ने केंद्र को पत्र लिखा है. जिसमें भी उल्लेख कर दिया कि सिर्फ ऋणी किसानों के लिए बीमा करवाने का अंतिम तिथि बढ़ाई जाए. जिसके बाद अब वापस राज्य सरकार के अधिकारियों से सम्पर्क करके रिवाइज लेटर भिजवाने की कोशिश की जा रही है. जिसमें सभी प्रकार के किसानों के लिए बीमा करवाने की अंतिम तिथि बढ़ाने को कहा गया है.

पढ़ें- प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने टिड्डी नियंत्रण करने में हमारी मदद नहीं की: केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी

जिले के 5 उपखण्ड में टिड्डी प्रकोप, सर्वे सिर्फ 4 गांवों में
जिले में टिड्डी चितलवाना उपखण्ड के बेड़िया से जालोर जिले में प्रवेश हुई थी. उसके बाद चितलवाना, सांचोर, रानीवाड़ा, भीनमाल, बागोड़ा व सायला क्षेत्र के गांवों में भयंकर नुकसान पहुंचाया. इन उपखंड के गांवों में आज भी टिड्डी मौजूद है और रबी की फसल को बर्बाद कर रही है, जबकि स्पेशल गिरदावरी में सिर्फ सांचोर के 4 पटवार सर्कल को शामिल किया गया है.

Intro:जिले में टिड्डी प्रभावित किसानों से रूबरू होने व खेतों के जायजा लेने के लिए सोमवार को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत खुद जालोर के सांचोर आये और किसानों को हर संभव मदद का भरोसा दिया। टिड्डी प्रभावित क्षेत्र में स्पेशल गिरदावरी करवाने की घोषणा की, लेकिन राज्य सरकार ने जो आदेश निकाला है उसके जालोर जिले की मात्र 4 पटवार सर्कल के ही नाम है, जबकि नुकसान 5 उपखंड के गांवों में हुआ है।


Body:मुख्यमंत्री ने जिस स्पेशल गिरदावरी की घोषणा की है, उसके आदेश में जालोर के चार पटवार सर्कल के नाम, जबकि नुकसान 5 उपखण्ड के गांवों में हो रहा है
जालोर
प्रदेश में मुखिया मुख्यमंत्री अशोक गहलोत सोमवार को जालोर जिले के सांचोर में एक दिवसीय दौरे ओर आये। उस दौरान उन्होंने टिड्डी प्रभावित किसानों से रूबरू हुए और राज्य सरकार की तरफ से मदद का भरोसा दिलाया। जिसमें किसानों को राहत देने के लिए स्पेशल पैकेज की कोई घोषणा नहीं की, लेकिन स्पेशल गिरदावरी करवाने की जरूर घोषणा की। मुख्यमंत्री ने कहा कि अमूमन गिरदावरी मार्च अप्रेल में होती है, लेकिन इस बार टिड्डी प्रभावित किसानों के लिए राहत देने की कोशिश करते हुए स्पेशल गिरदावरी की जाएगी, ताकि किसानों को राहत दी जा सके। मुख्यमंत्री की इस घोषणा के बाद किसानों को थोड़ी उम्मीद जगी की टिड्डी द्वारा फसल बर्बाद करने के बाद सरकार स्पेशल गिरदावरी करवायेगी तो जरूर बीमा क्लेम की राशि मिल जाएगी। उसके लिए किसानों ने लाइन में लग कर बैंकों व ईमित्रों से अपनी फसलों का बीमा करवाया, लेकिन जब राज्य सरकार ने स्पेशल गिरदावरी करने का आदेश निकाला तो जिले के किसानों के पांव के नीचे से जमीन निकल गई। आदेश क्रमांक संख्या प.13 (14) राज-1/2019 में बाड़मेर, जैसलमेर व जालोर कलेक्टर को निर्देशित करते हुए कहा गया है टिड्डी प्रभावित क्षेत्र में स्पेशल गिरदावरी की जाए। जिसमें जालोर जिले के तहसील सांचोर के पटवार मंडल अचलपुर, सांचोर, गोलासन व कोड में भू राजस्व (भू-अभिलेख) नियम 1957 के नियम -58 के उप नियम 2(क) अंतर्गत स्पेशल गिरदावरी की जाए। ऐसे में सवाल खड़ा हो रहा है कि टिड्डी ने शुरुआत ही जिले के बेड़िया व भींचरो की ढाणी से की थी। उसके बाद लगातार आगे के गांवों में बढ़ती बढ़ती जिले के चितलवाना, सांचोर, रानीवाड़ा, भीनमाल, बागोड़ा व सायला उपखण्ड क्षेत्र तक पहुंच गई। जिसमें इन पांच उपखण्ड के गांवों में लाखों हेक्टेयर में बोई रबी की पूरी तरह बर्बाद कर दिया, लेकिन स्पेशल गिरदावरी करवाने के आदेश में 5 उपखण्ड के गांवों की जगह मात्र 4पटवार हलको का ही नाम क्यों है।
सरकार की किसानों के प्रति सकारात्मक सोच नहीं - भाजपा
स्पेशल गिरदावरी के आदेश में जिले के 4 गांवों का नाम है, जबकि नुकसान जिले के 5उपखण्ड क्षेत्र के सैंकड़ों गांवों में हुआ है। इस मामले में भाजपा के सांसद देवजी पटेल का आरोप है कि प्रदेश में कांग्रेस सरकार की किसानों के प्रति सोच सकारात्मक नहीं है। जिसके कारण ऐसे खानापूर्ति के लिए आदेश निकाल रही है। पटेल ने यह भी आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की अंतिम तिथि को आगे बढ़ाने के लिए राज्य सरकार ने केंद्र को पत्र लिखा है जिसमें भी उल्लेख कर दिया कि सिर्फ ऋणी किसानों के लिए बीमा करवाने का अंतिम तिथि बढ़ाई जाए। जिसके बाद अब वापस राज्य सरकार के अधिकारियों से सम्पर्क करके रिवाइज लेटर भिजवाने की कोशिश की जा रही है। जिसमें सभी प्रकार के किसानों के लिए बीमा करवाने की अंतिम तिथि बढ़ाने को कहा गया है।
जिले के 5 उपखण्ड में टिड्डी प्रकोप, सर्वे सिर्फ 4 गांवों में
जिले में टिड्डी चितलवाना उपखण्ड के बेड़िया से जालोर जिले में प्रवेश हुई थी। उसके बाद चितलवाना, सांचोर, रानीवाड़ा, भीनमाल, बागोड़ा व सायला क्षेत्र के गांवों में भयंकर नुकसान पहुंचाया। इन उपखंड के गांवों में आज भी टिड्डी मौजूद है और रबी की फसल को बर्बाद कर रही है, जबकि स्पेशल गिरदावरी में सिर्फ सांचोर के 4 पटवार सर्कल को शामिल किया गया है।

वीओ - अशोक गहलोत, मुख्यमंत्री
बाईट- देवजी पटेल, सांसद जालोर सिरोही



Conclusion:इस खबर को स्पेशल में करवाये।
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