बीकानेर. अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस के अवसर पर (International day for girl child 2022) मंगलवार को जिले भर में आयोजित कार्यक्रमों के दौरान 60 हजार बेटियों को सहजन फली के पौधे वितरित किए (Drumstick saplings distributed to girls in Bikaner) गए. मुख्य कार्यक्रम श्रीडूंगरगढ़ में आयोजित हुआ. जहां ‘एक पौधा सुपोषित बेटी के नाम’ और पारिवारिक वानिकी कार्यक्रम के तहत जिला कलक्टर भगवती प्रसाद कलाल की मौजूदगी में 4 हजार बेटियों को सहजन फली के पौधे दिए गए.
इस अवसर पर जिला कलेक्टर ने कहा कि गत दिनों जिले की 2 लाख 52 हजार बेटियों के हीमोग्लोबीन की जांच के दौरान लगभग 40 प्रतिशत बेटियां एनिमिक पाई गईं. इन बेटियों को पोषण एवं स्वास्थ्य के प्रति जागरुक करने एवं एनीमिया मुक्त बीकानेर की संकल्पना को साकार करने के उद्देश्य से ‘एक पौधा सुपोषित बेटी’ के नाम अभियान चल रहा है. इसी श्रृंखला में अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस के अवसर पर सहजन फली के पौधे वितरित किए गए हैं.
उन्होंने कहा कि सहजन फली का पौधा ‘सुपर फूड’ है. इसका जड़, तना, पत्ती, फल व फली आदि कैल्शियम, प्रोटीन, विटामिन एवं अन्य पोषक तत्वों से भरपूर होते हैं. आयरन की कमी को दूर करने के लिए यह पौधा बेहद उपयोगी है. उन्होंने कहा कि प्रत्येक बच्ची अपने घर में यह पौधा जरूर लगाए. अध्यक्षता करते हुए श्रीडूंगरगढ़ के पूर्व विधायक मंगलाराम गोदारा ने कहा कि प्रशासन द्वारा चलाए जा रहे अभियान के दूरगामी परिणाम सामने आएंगे.
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उन्होंने कहा कि बेटियों को पोषण और स्वास्थ्य के प्रति जागरुक करना बेहद जरूरी है, जिससे उनका भविष्य सुरक्षित हो सके. पारिवारिक वानिकी के प्रणेता डॉ. श्याम सुंदर ज्याणी ने कहा कि पर्यावरण की देखभाल की जिम्मेदारी सरकार एवं प्रशासन से पहले प्रत्येक नागरिक और परिवार की है. बिगड़ते जलवायु के दौर में इसका महत्व और अधिक बढ़ जाता है. उन्होंने कहा कि पौधों को परिवार के सदस्य के रूप में मानकर इनका ध्यान रखें.
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महिला अधिकारिता विभाग की उपनिदेशक मेघारतन ने शक्ति एवं पुकार अभियान और एक पौधा सुपोषित बेटी के नाम कार्यक्रम की जानकारी दी. अध्यापिका वंदना ने महावारी स्वच्छता प्रबंधन के बारे में बताया. इससे पहले जिला कलक्टर सहित अन्य अतिथियों ने अवनी चौधरी, वंदना चौधरी तथा ममता को सांकेतिक रूप से सहजन फली के पौधे प्रदान किए. बालिकाओं ने ‘मंगळ गावां, मौज मनावां, रूंख लगावां रै’ राजस्थानी गीत पर नृत्य की प्रस्तुति दी.
वितरित किए 60 हजार पौधे: अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस के अवसर पर बीकानेर पंचायत समिति में 8 हजार, नोखा, कोलायत व लूणकरणसर में 7-7 हजार, पांचू व खाजूवाला में 5-5 हजार, श्रीडूंगरगढ़ में 7500, पूगल में 6 हजार, बज्जू खालसा में 4 हजार तथा बीकानेर शहर में 3500 पौधे वितरित किए गए. यह पौधे लूणकरणसर स्थित डाबला तालाब में देव जसनाथ जन पौधशाला में विकसित किए गए हैं.