भरतपुर. नगर निगम की पहली बैठक में कुर्सी के लिए जमकर हंगामा हुआ. बैठक में उपमहापौर की कुर्सी पार्षदों के पास लगाई गई थी. बैठक में मौजूद पार्षदों ने जमकर हंगामा काटा और करीब 03 घंटे चली बैठक में बार-बार कुर्सी को लेकर हंगामा होता रहा. बैठक के एजेंडे में 33 प्वाइंट थे, जिसमें से केवल 01 मुद्दे पर चर्चा हो पाई. बाकी का समय हंगामे में बीत गया.
बैठक में मंत्री और भरतपुर के विधायक सुभाष गर्ग भी मौजूद रहे. मंत्री सुभाष गर्ग के सामने भी उपमहापौर की कुर्सी के लिए काफी बहस हुई, लेकिन कुछ देर बाद मंत्री जी बैठक से चले गए. जिसके बाद उपमहापौर को डाइस पर बैठाने के लिए पार्षदों ने जमकर हंगामा कर दिया. लेकिन महापौर बार-बार उनको डाइस पर बैठाने को लेकर नियमों का हवाला देते रहे. लेकिन हंगामे के बाद महापौर ने सभी पार्षदों की सहमति के बाद डाइस पर बैठा दिया.
बैठक में उपमहापौर ने महापौर से भरतपुर के विकास को लेकर सवाल पूछे तो मंत्री सुभाष गर्ग जबाब देने लगे. जिस पर उपमहापौर गिरीश चौधरी और मंत्री सुभाष गर्ग में जोरदार झड़प हो गई.
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इसके अलावा एजेंडे के 33 प्वाइंट में से सिर्फ एक प्वाइंट पर चर्चा हुई. महापौर अभिजीत बार-बार एजेंडे के पहले प्वाइंट से चर्चा करने को लेकर कहते रहे, लेकिन पार्षदों ने सिर्फ 33 नंबर के एजेंडे पर चर्चा की. जिसमें आवारा पशुओं से निजात को लेकर प्वाइंट था. जिसमें निगम आयुक्त ने बताया कि रुंध, इकरन में गायों के लिए एक गोशाला बनवाई जा रही है. जिसके बाद आवारा गोवंशों को पकड़ कर गोशाला में भेजा जाएगा.
वहीं सभी पार्षदों ने एजेंडे को भी हंगामा किया. पार्षदों के कहना था कि महापौर ने एजेंडा बनाने से पहले किसी पार्षद या उपमहापौर से चर्चा नहीं की. साथ ही नोह कचरा प्लांट का भी मुद्दा उठाया गया. जिसमें एक पार्षद ने सभा में कहा कि अगर जल्द ही कचरा प्लांट का निस्तारण नहीं किया गया तो वे जनता को लेकर कचरा प्लांट में कचरा नहीं डालने देंगे.