बहरोड़ (अलवर). बहरोड़ कस्बे के नारनोल मार्ग पर नया सवेरा नशा मुक्ति केंद्र संचालक पवन की पीट-पीटकर हत्या मामले में खुलासा करते हुए तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है. बहरोड़ थाना प्रभारी विनोद सांखला ने बताया, बृहस्पतिवार की रात को नारनौल बहरोड़ मार्ग पर नया सवेरा नशा मुक्ति केंद्र के संचालक पवन पर मरीजों के द्वारा रसोई के अंदर रखे तवा सहित अन्य सामान से जानलेवा हमला कर दिया था, जिसको इलाज के लिए जयपुर के निजी अस्पताल में भर्ती करवाया गया था.
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इलाज के दौरान पवन की मौत हो गई थी. परिजनों के द्वारा आधा दर्जन से अधिक लोगों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज करवाया गया. मामले की गंभीरता को देखते हुए टीम गठित कर आरोपियों की तलाश में दबिश दी गई. मामले में शनिवार को तीन आरोपी दयाराम पुत्र रामजीलाल गुर्जर निवासी बखापुर कसौला जिला रिवाड़ी, जयप्रकाश पुत्र भेरू सिंह यादव निवासी ककराला थाना कनीना महेंद्रगढ़ और यशवीर पुत्र ओमवीर यादव निवासी मंधाना नारनोल हरियाणा को गिरफ्तार किया है.
थाना प्रभारी ने बताया, घटना की पहली रात को नशा मुक्ति केंद्र पर पहले इलाज कराकर गए मरीजों के दोबारा से केंद्र में आना नागवार गुजरा. साथ ही पहले केंद्र संचालक के साथ कहासुनी हुई थी. इस पर पुरानी रंजिश के चलते भी यह हमला किया गया. साथ ही बाकी आरोपी भी जल्द पुलिस गिरफ्त में होंगे.
नाबालिग से दुष्कर्म का आरोपी गिरफ्तार
भरतपुर के डीग थाना इलाके में विगत दिनों हुए एक 15 साल की नाबालिग के साथ दुष्कर्म के मामले में पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है. आरोपी नाबालिग से दुष्कर्म करने के बाद सीकरी चला गया था, जिसके बाद पुलिस ने उसके मोबाइल की लोकेशन के आधार पर सीकरी में दबिश दी और आरोपी को गिरफ्तार कर लिया. फिलहाल, पुलिस आरोपी से पूछताछ कर रही है कि आरोपी नाबालिग को कैसे जानता था और उसने नाबालिग के साथ दुष्कर्म की वारदात को कैसे अंजाम दिया.
थानाधिकारी रघुवीर ने बताया, उन्हें सुबह सुचना मिली थी कि एक लड़की अचेत अवस्था में श्मशान में पड़ी हुई है, जिसके बाद वह मौके पर पहुंचे और लड़की को अस्पताल में भर्ती करवाया. जब नाबालिग को होश आया तो उसने बताया कि एक युवक उसे उसके घर से करीब 12 बजे बहला-फुसला कर ले गया था और श्मशान में ले जाकर उसके साथ दुष्कर्म किया. उसे अचेत अवस्था में छोड़कर फरार हो गया. उसके बाद पुलिस ने मामला दर्ज करते हुए आरोपी की तलाश शुरू की और मोबाइल लोकेशन के आधार आरोपी को सीकरी थाना इलाके से गिरफ्तार कर लिया.
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रामगढ़ थाने में दर्ज हुआ हत्या का मामला, 3 महीने पहले हुई थी विवाहिता की मौत
अलवर के रामगढ़ थाने में तीन महीने पहले हुई विवाहिता की मौत के बाद पिता ने दहेज हत्या और सबूत नष्ट करने का मामला दर्ज करवाया. इस पर कार्रवाई करते हुए रामगढ पुलिस द्वारा जिला कलेक्टर के आदेश पर डीएसपी ओमप्रकाश मीणा और एसडीएम कैलाश शर्मा की मौजूदगी में मेडिकल जूरिस्ट से मौके पर ही मृतका का शव निकलवाकर पोस्टमार्टम करवाया गया.
दरअसल, मामला यह था कि मिसकीनी (22) पुत्री अली मोहम्मद निवासी कोट थाना मंडावर जिला दौसा की 21 मार्च 2021 को मौत हुई थी. मृतका के पिता ने बेटी को जहर देकर मारने के आरोप लगाते हुए रामगढ़ थाना में मामला दर्ज करवाया था. मृतका की शादी 15 जून 2019 को साबिर पुत्र महबूबा निवासी मांदला कला के साथ हुई थी. मृतका की एक लड़की पैदा हुई है, जो कि पिता के घर पर है. मृतका के भाई मुनावर ने बताया, मेरी बहन के ससुराल वाले बार-बार दहेज की मांग करते थे और मेरी बहन को परेशान और मारपीट करते रहते थे. कोर्ट इस्तगासा पर कार्रवाई करते हुए पुलिस ने मेडिकल जूरिस्ट से पोस्टमार्टम करवाया गया.
आवां में दिव्यांग की मौत के बाद एक घंटा बाजार में पड़ा रहा शव
टोंक के देवली उपखंड क्षेत्र स्थित आवां कस्बे में लोगों के जहन में कोरोना का डर इस कदर बैठा है कि कोई अचानक मर जाता है तो कोई भी उसके अंतिम संस्कार के लिए आगे नहीं आता. शनिवार को आवां में दिव्यांग की मौत के बाद ऐसा ही हुआ. वहां दोपहर को दिव्यांग बाबूलाल माली की बस स्टैंड पर ट्राई साइकिल पर ही मौत हो गई. इसका आभास पास खड़ी उसकी बेटी को हुआ तो वह जोर से चिल्लाने लगी. कुछ राहगीर और आसपास के लोग आए, लेकिन कोई भी उसके शव को अंतिम संस्कार करने के लिए ले जाना तो दूर की बात रही, उसे हाथ तक नहीं लगाया. सब लोग तमाशबीन बने रहे.
इसकी सूचना जब सरपंच दिव्यांशु एम भारद्वाज को दी गई तो वे मौके पर पहुंचे. उन्होंने आवां अस्पताल की डॉक्टर निधि साहू को बुलाकर बाबू लाल का चेकअप करवाया. उसके बाद डॉक्टर निधि साहू ने उसे मृत घोषित कर दिया. बाद सरपंच भारद्वाज ने तहसीलदार से कहकर पीपीई किट मंगवाए और कोरोना गाइड लाइन के अनुसार उसका अंतिम संस्कार पंचायत प्रशासन की ओर से करवा दिया.
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मृतक बाबूलाल की बेटी वैजयंती ने बताया, कुछ दिनों से उसके पिता की तबीयत खराब थी. शनिवार दोपहर करीब 1 बजे बाजार में दवाई लेने के लिए पिता को ट्राई साइकिल पर लेकर गई थी, वह बस स्टैंड पहुंची ही थी कि उसकी अचानक मौत हो गई. मृतक के बीमारी के चलते करीब दस साल पहले दोनों टांगे इलाज के दौरान घुटने से काट दी गई थी. बाबूलाल का कोई सगा भाई नहीं है और न बेटा है. अभी एक बेटी है, वह भी मानसिक रूप से बीमार है.