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अलवरः निलंबित चिकित्सा कर्मियों की बहाली को लेकर शनिवार को भी प्रदर्शन जारी

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Published : Jan 4, 2020, 6:30 PM IST

अलवर के गीतानंद शिशु चिकित्सालय के डॉक्टर, नर्सिंग कर्मियों और इलेक्ट्रीशियन सहित 7 कर्मचारियों को निलंबित कर दिया था. जिसके विरोध में डॉक्टर और नर्सिंग कर्मियों ने कार्य बहिष्कार करते हुए विरोध प्रदर्शन किया. इसके साथ ही निलंबित कर्मचारियों की बहाली नहीं होने पर आंदोलन तेज करने की चेतावनी भी दी है

चिकित्सा कर्मियों का विरोध प्रदर्शन,  Medical workers protestm,  अलवर में विरोध प्रदर्शन,  protest in alwar
चिकित्सा कर्मियों का विरोध प्रदर्शन

अलवर. जिले के राजकीय गीतानंद शिशु चिकित्सालय में एफबीएनसी वार्ड में आग लगने से एक बच्ची की मौत हो गई थी. जिसके बाद राज्य सरकार ने गीतानंद शिशु चिकित्सालय के डॉक्टर, नर्सिंग कर्मियों और इलेक्ट्रीशियन सहित 7 कर्मचारियों को निलंबित कर दिया था. इसके विरोध में शनिवार को भी डॉक्टर और नर्सिंग कर्मियों का कार्य बहिष्कार जारी है. अलवर जिले में सभी सरकारी अस्पतालों में डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मचारियों ने 9 बजे से 11 बजे तक कार्य बहिष्कार कर विरोध जताया.

चिकित्सा कर्मियों का विरोध प्रदर्शन
इसके साथ ही डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मियों ने निलंबित कर्मचारियों के निलंबन के आदेश की कॉपी जलाकर विरोध जताया. प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों ने निलंबित कर्मचारियों की बहाली नहीं होने पर आंदोलन तेज करने की चेतावनी दी है. इसके साथ ही जल्द ही प्रदेश भर में हड़ताल के लिए रणनीति बनाए जाने की चेतावनी दी है.

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जिला मुख्यालय पर राजीव गांधी अस्पताल के आईएमए हॉल में बैठक आयोजित कर सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है. हॉस्पिटल में 2 घंटे कार्य बहिष्कार के दौरान इमरजेंसी सेवाएं चालू रही. वहीं ओपीडी में दिखाने आए मरीजों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा. मरीजों की लंबी कतारें लगी रही. राजकीय सेवा संघ राजस्थान नर्सिंग एसोसिएशन की बैठक में सस्पेंड किए गए चिकित्सा कर्मचारी और नर्सिंग कर्मियों को सरकार से बहाल करने की मांग की जा रही है.

पढ़ेंः अलवर पुलिस एक बार फिर सवालों के घेरे में, युवक से मारपीट का वीडियो आया सामने

उधर राजस्थान नर्सेज एसोसिएशन जिला अध्यक्ष पुष्पराज शर्मा ने बताया कि हॉस्पिटल में 2 घंटे का कार्य बहिष्कार किया जा रहा है. जिसमें सभी हॉस्पिटल चिकित्सक और नर्सिंग कर्मी मौजूद हैं. 2 घंटे कार्य बहिष्कार के बाद डॉक्टरों ने हॉस्पिटल में काली पट्टी बांधकर विरोध भी किया. प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों ने कहा कि इस मामले में डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मियों का कोई कसूर नहीं है. यह सरकार की हठधर्मिता है. इस मामले में हॉस्पिटल प्रशासन के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए. सरकार को जल्द ही डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मियों को बहाल करना चाहिए.

अलवर. जिले के राजकीय गीतानंद शिशु चिकित्सालय में एफबीएनसी वार्ड में आग लगने से एक बच्ची की मौत हो गई थी. जिसके बाद राज्य सरकार ने गीतानंद शिशु चिकित्सालय के डॉक्टर, नर्सिंग कर्मियों और इलेक्ट्रीशियन सहित 7 कर्मचारियों को निलंबित कर दिया था. इसके विरोध में शनिवार को भी डॉक्टर और नर्सिंग कर्मियों का कार्य बहिष्कार जारी है. अलवर जिले में सभी सरकारी अस्पतालों में डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मचारियों ने 9 बजे से 11 बजे तक कार्य बहिष्कार कर विरोध जताया.

चिकित्सा कर्मियों का विरोध प्रदर्शन
इसके साथ ही डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मियों ने निलंबित कर्मचारियों के निलंबन के आदेश की कॉपी जलाकर विरोध जताया. प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों ने निलंबित कर्मचारियों की बहाली नहीं होने पर आंदोलन तेज करने की चेतावनी दी है. इसके साथ ही जल्द ही प्रदेश भर में हड़ताल के लिए रणनीति बनाए जाने की चेतावनी दी है.

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जिला मुख्यालय पर राजीव गांधी अस्पताल के आईएमए हॉल में बैठक आयोजित कर सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है. हॉस्पिटल में 2 घंटे कार्य बहिष्कार के दौरान इमरजेंसी सेवाएं चालू रही. वहीं ओपीडी में दिखाने आए मरीजों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा. मरीजों की लंबी कतारें लगी रही. राजकीय सेवा संघ राजस्थान नर्सिंग एसोसिएशन की बैठक में सस्पेंड किए गए चिकित्सा कर्मचारी और नर्सिंग कर्मियों को सरकार से बहाल करने की मांग की जा रही है.

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उधर राजस्थान नर्सेज एसोसिएशन जिला अध्यक्ष पुष्पराज शर्मा ने बताया कि हॉस्पिटल में 2 घंटे का कार्य बहिष्कार किया जा रहा है. जिसमें सभी हॉस्पिटल चिकित्सक और नर्सिंग कर्मी मौजूद हैं. 2 घंटे कार्य बहिष्कार के बाद डॉक्टरों ने हॉस्पिटल में काली पट्टी बांधकर विरोध भी किया. प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों ने कहा कि इस मामले में डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मियों का कोई कसूर नहीं है. यह सरकार की हठधर्मिता है. इस मामले में हॉस्पिटल प्रशासन के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए. सरकार को जल्द ही डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मियों को बहाल करना चाहिए.

Intro:अलवर के राजकीय गीतानंद शिशु चिकित्सालय में एफबीएनसी वार्ड में आग लगने से बच्चे की मौत के बाद राज्य सरकार ने शिशु चिकित्सालय के डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मियों और इलेक्ट्रीशियन सहित 7 कर्मचारियों को निलंबित कर दिया। इसके विरोध में आज दूसरे दिन डॉक्टर और नर्सिंग कर्मियों का बहिष्कार जारी है।अलवर जिले में सभी सरकारी अस्पतालों में डॉक्टरों व नर्सिंग कर्मचारियों ने 9 से 11 दो घंटे कार्य बहिष्कार कर विरोध जताया।


Body: डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मियों के 7 कर्मचारियों के निलंबन आदेश की कॉपी जलाकर विरोध जताया और डॉक्टरों को नर्सिंग कर्मियों ने नारेबाजी कर प्रदर्शन किया। निलंबित कर्मचारियों की बहाली नहीं होने पर आंदोलन तेज करने की चेतावनी दी है। आज जिले में 2 घंटे का कार्य बहिष्कार किया है। जल्द ही प्रदेश भर में हड़ताल के लिए रणनीति बनाए जाने की चेतावनी दी है।

जिला मुख्यालय पर राजीव गांधी अस्पताल के आईएमए हॉल में बैठक आयोजित कर सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है। हॉस्पिटल में 2 घंटे कार्य बहिष्कार के दौरान इमरजेंसी सेवाएं चालू रही। वहीं ओपीडी में दिखाने आए मरीजों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। इसलिए इमरजेंसी ओपीडी में दिखाने आए मरीजों की लंबी कतार लगी रही। राजकीय सेवा संघ राजस्थान नर्सिंग एसोसिएशन की बैठक में सस्पेंड किए गए चिकित्सा कर्मचारी और नर्सिंग कर्मियों को सरकार से बहाल करने की मांग की जा रही है।


Conclusion:उधर राजस्थान नर्सेज एसोसिएशन जिला अध्यक्ष पुष्पराज शर्मा ने बताया कि हॉस्पिटल में 2 घंटे का कार्य बहिष्कार किया जा रहा है। जिसमें सभी हॉस्पिटल चिकित्सक और नर्सिंग कर्मी मौजूद हैं। 2 घंटे कार्य बहिष्कार के बाद डॉक्टरों ने हॉस्पिटल में काली पट्टी बांधकर विरोध किया। उन्होंने बताया कि इस मामले में डॉक्टरों व नर्सिंग कर्मियों का कोई कसूर नहीं है। सरकार ने डॉक्टर और नर्सिंग कर्मियों को सस्पेंड कर दिया। यह सरकार की हठधर्मिता है। इस मामले में हॉस्पिटल प्रशासन के खिलाफ कार्यवाही होनी चाहिए। सरकार को जल्द ही डॉक्टरों और नर्सिंग कर्मियों को बहाल करना चाहिए। हॉस्पिटल में 2 घंटे का कार्य बहिष्कार जारी रहेगा। जरूरत पड़ी तो प्रदेश में भी इसके खिलाफ आंदोलन किया जाएगा।

बाईट- पुष्पराज शर्मा.....राजस्थान नर्सेज एसोसिएशन जिला अध्यक्ष
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