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स्पेशल: अलवर के प्याज की बढ़ी मांग, किसान को मिल रहा अच्छा मुनाफा

अलवर की मंडी में प्याज की बंपर आवक शुरू हो चुकी है. प्रतिदिन 40 से 50 हजार कट्टे प्याज के मंडी में पहुंच रहे हैं. इस साल देश की अन्य बड़ी मंडियों की प्याज खराब हो चुकी है. ऐसे में अलवर की प्याज की डिमांड ज्यादा है. दूसरी तरफ किसान को प्याज के बेहतर दाम मिल रहे हैं. इस साल किसान के लिए प्याज खुशहाली लेकर आई है.

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किसानों के चेहरे पर खुशी लेकर आया प्याज
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Published : Nov 20, 2020, 2:38 PM IST

अलवर. अलवर मंडी प्याज के लिए नासिक के बाद देश में दूसरी सबसे बड़ी मंडी है. अलवर की प्याज देश के अलावा विदेशों में सप्लाई होती है. बीते साल किसानों को प्याज के बेहतर दाम मिले थे. रिटेल बाजार में 100 किलो तक की प्याज बिकी थी. वहीं इस बार किसानों को प्याज से खासी उम्मीदें थी. इसलिए अलवर में बीते साल की तुलना में ज्यादा प्याज की बुवाई हुई. ऐसे में किसानों की उम्मीदें पूरी होती नजर आ रही है.

किसानों के चेहरे पर खुशी लेकर आया प्याज

बता दें कि दिवाली बाद अलवर की मंडी में प्याज की आवक शुरू हो चुकी है. इन दिनों प्रतिदिन 40 से 50 हजार कटे प्याज की आवाज अलवर मंडी में हो रही है. मध्य प्रदेश, गुजरात, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश सहित देश की विभिन्न राज्यों की प्याज खराब हो चुकी है. ऐसे में अलवर के प्याजों की बाजार में मांग बढ़ गई है.

दरअसल इस बार खासी बारिश हुई. जिसके कारण प्याज पूरी तरह से समाप्त हो गई. इसलिए पूरे देश की निगाहें अलवर की प्याज पर टिकी हुई है. दिवाली के बाद से अलवर मंडी में प्याज की आवक शुरू हो चुकी है. इस साल किसानों ने देरी से प्याज की बुवाई की थी. इसलिए दिसंबर व जनवरी माह में भी प्याज की आवक होगी. थोक मार्केट में प्याज 50 से 60 रुपए किलो के हिसाब से बिक रही है. जबकि रिटेल बाजार में प्याज के दाम 80 से 100 रुपए किलो हैं.

ये पढ़ें: Special: जयपुर में साइबर ठगी का बढ़ रहा जाल...हर रोज औसत 12 मामले, स्पेशल साइबर विंग का गठन

किसानों को हो रहा लाभ

ऐसे में प्याज अलवर के किसानों के लिए खुशहाली बनकर आई है. एक बीघा प्याज की बुवाई में 40 से 45 हजार रुपए खर्च होते हैं. जबकि एक बीघा की प्यास डेढ़ से दो लाख के हिसाब से मंडी में बिक रही है. अलवर मंडी में उत्तर भारत के 17 राज्यों से खरीददार पहुंच चुके हैं. जो लगातार डिमांड के हिसाब से प्याज की खरीद कर रहे हैं. आगामी दिनों में प्याज की आवक और बढ़ सकती है, प्याज के लगातार बढ़ रहे दाम का सीधा फायदा किसान को मिल रहा है.

विदेशों तक जाता है अलवर का प्याज

अलवर का प्याज पूरे देश के अलावा बांग्लादेश, पाकिस्तान, नेपाल, भूटान और अफगानिस्तान सहित आसपास के देशों में भी सप्लाई किया जाता है. अलवर की प्याज स्वाद में अन्य जगहों की तुलना में बेहतर होती है. अलवर की प्याज में नमी रहती है. जिस कारण बाजारों में इसकी मांग अधिक होती है. लोग यहां के प्याजों को खासा पसंद करते हैं.

ये पढ़ें: Reality Check : राजस्थान ODF प्रदेश घोषित...लेकिन जयपुर में ही खुले में शौच करते दिखे लोग

क्या है प्याज के भाव

थोक बाजार में प्याज 40 से 50 रुपए किलो के हिसाब से बिक रहा है. जबकि रिटेल बाजार में प्याज 70 से 80 रुपए किलो बिक रहा है. व्यापारियों की मानें तो एक बीघा प्याज की बुवाई में 40 से 45 हजार रुपए का खर्चा होता है. जबकि इस बार प्याज के दाम के अनुसार एक बीघ में हुई प्याज की पैदावार से किसान को डेढ़ से दो लाख रुपए की आय होगी. अलवर में कुछ किसान ऐसे हैं, जिनके पास कई बीघा खेत हैं. उन लोगों को प्याज से बेहतर दाम मिलेंगे.

पूरे देश की प्याज की फसल हुई खराब

आंध्र प्रदेश, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश और कर्नाटक सहित देश के कई हिस्सों में बहुतायत मात्रा में प्याज की पैदावार होती है. वहा क्वालिटी में प्याज बेहतर होती है. लेकिन इस बार बारिश के चलते सभी जगह के प्याज खराब हो चुकी है. थोड़ी बहुत प्याज कर्नाटक, मध्य प्रदेश से देश की मंडियों में पहुंची है. लेकिन देश में डिमांड ज्यादा होने के कारण उसकी भरपाई नहीं हो पाती है. इन सबके बीच अलवर की प्याज की डिमांड बढ़ रही है. ऐसे में लोग अलवर की प्याज खरीद रहे हैं.

अलवर. अलवर मंडी प्याज के लिए नासिक के बाद देश में दूसरी सबसे बड़ी मंडी है. अलवर की प्याज देश के अलावा विदेशों में सप्लाई होती है. बीते साल किसानों को प्याज के बेहतर दाम मिले थे. रिटेल बाजार में 100 किलो तक की प्याज बिकी थी. वहीं इस बार किसानों को प्याज से खासी उम्मीदें थी. इसलिए अलवर में बीते साल की तुलना में ज्यादा प्याज की बुवाई हुई. ऐसे में किसानों की उम्मीदें पूरी होती नजर आ रही है.

किसानों के चेहरे पर खुशी लेकर आया प्याज

बता दें कि दिवाली बाद अलवर की मंडी में प्याज की आवक शुरू हो चुकी है. इन दिनों प्रतिदिन 40 से 50 हजार कटे प्याज की आवाज अलवर मंडी में हो रही है. मध्य प्रदेश, गुजरात, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश सहित देश की विभिन्न राज्यों की प्याज खराब हो चुकी है. ऐसे में अलवर के प्याजों की बाजार में मांग बढ़ गई है.

दरअसल इस बार खासी बारिश हुई. जिसके कारण प्याज पूरी तरह से समाप्त हो गई. इसलिए पूरे देश की निगाहें अलवर की प्याज पर टिकी हुई है. दिवाली के बाद से अलवर मंडी में प्याज की आवक शुरू हो चुकी है. इस साल किसानों ने देरी से प्याज की बुवाई की थी. इसलिए दिसंबर व जनवरी माह में भी प्याज की आवक होगी. थोक मार्केट में प्याज 50 से 60 रुपए किलो के हिसाब से बिक रही है. जबकि रिटेल बाजार में प्याज के दाम 80 से 100 रुपए किलो हैं.

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किसानों को हो रहा लाभ

ऐसे में प्याज अलवर के किसानों के लिए खुशहाली बनकर आई है. एक बीघा प्याज की बुवाई में 40 से 45 हजार रुपए खर्च होते हैं. जबकि एक बीघा की प्यास डेढ़ से दो लाख के हिसाब से मंडी में बिक रही है. अलवर मंडी में उत्तर भारत के 17 राज्यों से खरीददार पहुंच चुके हैं. जो लगातार डिमांड के हिसाब से प्याज की खरीद कर रहे हैं. आगामी दिनों में प्याज की आवक और बढ़ सकती है, प्याज के लगातार बढ़ रहे दाम का सीधा फायदा किसान को मिल रहा है.

विदेशों तक जाता है अलवर का प्याज

अलवर का प्याज पूरे देश के अलावा बांग्लादेश, पाकिस्तान, नेपाल, भूटान और अफगानिस्तान सहित आसपास के देशों में भी सप्लाई किया जाता है. अलवर की प्याज स्वाद में अन्य जगहों की तुलना में बेहतर होती है. अलवर की प्याज में नमी रहती है. जिस कारण बाजारों में इसकी मांग अधिक होती है. लोग यहां के प्याजों को खासा पसंद करते हैं.

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क्या है प्याज के भाव

थोक बाजार में प्याज 40 से 50 रुपए किलो के हिसाब से बिक रहा है. जबकि रिटेल बाजार में प्याज 70 से 80 रुपए किलो बिक रहा है. व्यापारियों की मानें तो एक बीघा प्याज की बुवाई में 40 से 45 हजार रुपए का खर्चा होता है. जबकि इस बार प्याज के दाम के अनुसार एक बीघ में हुई प्याज की पैदावार से किसान को डेढ़ से दो लाख रुपए की आय होगी. अलवर में कुछ किसान ऐसे हैं, जिनके पास कई बीघा खेत हैं. उन लोगों को प्याज से बेहतर दाम मिलेंगे.

पूरे देश की प्याज की फसल हुई खराब

आंध्र प्रदेश, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश और कर्नाटक सहित देश के कई हिस्सों में बहुतायत मात्रा में प्याज की पैदावार होती है. वहा क्वालिटी में प्याज बेहतर होती है. लेकिन इस बार बारिश के चलते सभी जगह के प्याज खराब हो चुकी है. थोड़ी बहुत प्याज कर्नाटक, मध्य प्रदेश से देश की मंडियों में पहुंची है. लेकिन देश में डिमांड ज्यादा होने के कारण उसकी भरपाई नहीं हो पाती है. इन सबके बीच अलवर की प्याज की डिमांड बढ़ रही है. ऐसे में लोग अलवर की प्याज खरीद रहे हैं.

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