अलवर. जिले में बढ़ते हुए क्राइम के ग्राफ को देखते हुए सरकार की तरफ से अलवर में दो एसपी तैनात किए गए. थानागाजी घटना के बाद प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अलवर जिले को क्रिटिकल बताते हुए यहां की व्यवस्थाओं में सुधार करने की बात कही थी. जिसके बाद सरकार ने यह फैसला लिया. पुलिस के लिहाज से अलवर को दो हिस्सों में बांटा गया.
भिवाड़ी एसपी के अधीन 18 और अलवर एसपी के अधीन 20 थाने रखे गए. बानसूर विधानसभा क्षेत्र का नारायणपुर थाना अलवर एसपी और बानसूर का हरसोरा थाना भिवाड़ी एसपी के अधीन रखा गया. इसके अलावा विभाग पुलिस जिला मुख्यालय के पुलिस सर्किल अलवर उत्तर के कोतवाली, शिवाजी पार्क, अलवर दक्षिण सर्किल में उद्योग नगर, रामगढ़, नोगावा, गोविंदगढ़, अलवर ग्रामीण में सदर, अरावली विहार, मालाखेड़ा, राजगढ़ के अधीन राजगढ़, लक्ष्मणगढ़ के अधीन लक्ष्मणगढ़ कठूमर खेड़ली बड़ौदामेव, थानागाजी नवसृजित सर्किल में थानागाजी नारायणपुर प्रतापगढ़ थाने को शामिल किया गया.
इसी तरह से भिवाड़ी सर्किल में भिवाड़ी, भिवाड़ी फेस थर्ड, चौपांकी, किशनगढ़ बास सर्किल के किशनगढ़ बास, कोटकासिम, खैरथल और ततारपुर को शामिल किया गया. बहरोड़ सर्किल में बहरोड़, बानसूर, हरसोरा को रखा गया. वहीं, नीमराणा सर्किल में नीमराणा, मांडव, शाहजहांपुर मुंडावर को शामिल किया गया. तिजारा नवसृजित सर्किल में तिजारा, टपूकड़ा, खुशखेड़ा और शेखपुर अहीर थाने को शामिल किया गया. लेकिन उसके बाद भी लगातार जनप्रतिनिधि और आम लोगों की कई तरह की शिकायतें पुलिस को मिलती रही.
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पुलिस आला अधिकारियों ने अलवर के सीमांकन में फिर से बदलाव करने का फैसला लिया है. डीजीपी भूपेंद्र यादव ने कहा कई जनप्रतिनिधियों पर लोगों की समस्या सामने आई है. क्षेत्र का सर्वे कराया जा रहा है. उसके हिसाब से जिले के सीमांकन में फिर से बदलाव हो सकता है, क्योंकि बानसूर क्षेत्र के लोगों को भिवाड़ी जाने में खासी परेशानी होती है। तो वही कई तरह के बदलाव कि लंबे समय से चर्चाएं चल रही हैं. ऐसे में देखना होगा कि पुलिस की तरफ से किस तरह के बदलाव किए जाते हैं ग्रामीण लोगों को इससे कितना फायदा मिलता है.