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अजमेर :राजस्व मंडल में अभिभाषकों ने 2 दिन का किया कार्य बहिष्कार

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Published : Jul 18, 2019, 1:40 PM IST

अजमेर में राजस्व मंडल के अभिभाषक संघ की ओर से 2 दिन का न्यायिक बहिष्कार रखा गया है. इसके तहत अधिकांश वकील या तो कार्य के लिए कोर्ट नहीं आए और जो आए उन्होंने गुरुवार को कार्य नहीं किया. बता दें कि शुक्रवार को भी अभिभाषक न्यायिक बहिष्कार रखेंगे.

राजस्व मंडल में अभिभाषकों ने 2 दिन का किया कार्य बहिष्कार

अजमेर. जिले में राजस्व मंडल के अभिभाषक संघ ने 2 दिन का न्यायिक बहिष्कार रखा है. जिसके चलते गुरुवार को कोर्ट में कोई काम नहीं हुआ. अभिभाषकों के अध्यक्ष वीपी सिंह राजावत का कहना है कि बजट घोषणा में सरकार ने राजस्व न्यायालय के अपीलीय क्षेत्राधिकार में परिवर्तन किया है जो कि किसान विरोधी है. अभिभाषक संघ प्रकार के प्रस्ताव को वापस लेने की मांग कर रहा है.

राजस्व मंडल में अभिभाषकों ने 2 दिन का किया कार्य बहिष्कार

राजस्व मंडल अभिभाषक संघ के अध्यक्ष वीपी सिंह का कहना है कि राजस्थान विधानसभा में बजट भाषण के पेरा संख्या169 में जिला कलेक्टर के आदेश के विरुद्ध राजस्व अपील अधिकारी को प्रस्तुत होने वाली अपील का क्षेत्राधिकार परिवर्तित करते हुए संभागीय आयुक्त को देने संबंधी प्रस्ताव रखा गया है. क्षेत्राधिकार परिवर्तन के पीछे राज्य सरकार की किसानों को सस्ता न्याय प्राप्त होने की सोच गलत है.

सिंह ने बताया कि राजस्व अपील अधिकारी का पद प्रदेश के सभी जिलों में है, जहां नहीं है .वहां भू प्रबंधन अधिकारी को इसका अतिरिक्त दायित्व दे रखा है. इससे काश्तकारों को जिला मुख्यालय तक अपील के लिए जाना होता है. जबकि नए प्रस्ताव के लागू होने पर काश्तकार को संभागीय आयुक्त कार्यालय जाना पड़ेगा. जिससे काश्तकार को समय ध्यान अतिरिक्त बाहर करना पड़ेगा.

उन्होंने बताया कि राजस्व अपील अधिकारी के पास विशुद्ध रूप से न्यायिक कार्य का ही दायित्व होने से न्यायिक निस्तारण की गति सीमा भी ज्यादा रहती है और कार्य दिवसों में हमेशा उपलब्ध रहता है जबकि संभागीय आयुक्त के पास प्रशासनिक कार्यों का अधिकार होने के कारण अदालत समय नहीं दे पाती. इस कारण उनके यहां वर्तमान में चल रहे प्रकरण का निस्तारण नहीं हो पा रहा है.

उन्होंने कहा कि काश्तकारों को आवश्यक प्रकृति के प्रकरणों में भी कई माह तक कोर्ट के चक्कर लगाने पड़ते हैं, फिर भी उन्हें समय पर राहत नहीं मिल पाती है. ऐसी स्थिति में राजस्व अपील अधिकारी के क्षेत्राधिकार के प्रकरण भी संभागीय आयुक्त कोर्ट को देने की स्थिति में यह स्थिति और ज्यादा बिगड़ जाएगी. सिंह ने बताया कि वर्तमान में लगभग 25 राजस्व अपील अधिकारी हैं जबकि संभागीय आयुक्त मात्र 7 हैं. ऐसी स्थिति में 25 का काम 7 को देना न्याय को विलंबित करना होगा. अभिभाषक संघ के अध्यक्ष वीपी सिंह ने सरकार से बजट प्रस्ताव169 को वापस लेने की मांग की है.

अजमेर. जिले में राजस्व मंडल के अभिभाषक संघ ने 2 दिन का न्यायिक बहिष्कार रखा है. जिसके चलते गुरुवार को कोर्ट में कोई काम नहीं हुआ. अभिभाषकों के अध्यक्ष वीपी सिंह राजावत का कहना है कि बजट घोषणा में सरकार ने राजस्व न्यायालय के अपीलीय क्षेत्राधिकार में परिवर्तन किया है जो कि किसान विरोधी है. अभिभाषक संघ प्रकार के प्रस्ताव को वापस लेने की मांग कर रहा है.

राजस्व मंडल में अभिभाषकों ने 2 दिन का किया कार्य बहिष्कार

राजस्व मंडल अभिभाषक संघ के अध्यक्ष वीपी सिंह का कहना है कि राजस्थान विधानसभा में बजट भाषण के पेरा संख्या169 में जिला कलेक्टर के आदेश के विरुद्ध राजस्व अपील अधिकारी को प्रस्तुत होने वाली अपील का क्षेत्राधिकार परिवर्तित करते हुए संभागीय आयुक्त को देने संबंधी प्रस्ताव रखा गया है. क्षेत्राधिकार परिवर्तन के पीछे राज्य सरकार की किसानों को सस्ता न्याय प्राप्त होने की सोच गलत है.

सिंह ने बताया कि राजस्व अपील अधिकारी का पद प्रदेश के सभी जिलों में है, जहां नहीं है .वहां भू प्रबंधन अधिकारी को इसका अतिरिक्त दायित्व दे रखा है. इससे काश्तकारों को जिला मुख्यालय तक अपील के लिए जाना होता है. जबकि नए प्रस्ताव के लागू होने पर काश्तकार को संभागीय आयुक्त कार्यालय जाना पड़ेगा. जिससे काश्तकार को समय ध्यान अतिरिक्त बाहर करना पड़ेगा.

उन्होंने बताया कि राजस्व अपील अधिकारी के पास विशुद्ध रूप से न्यायिक कार्य का ही दायित्व होने से न्यायिक निस्तारण की गति सीमा भी ज्यादा रहती है और कार्य दिवसों में हमेशा उपलब्ध रहता है जबकि संभागीय आयुक्त के पास प्रशासनिक कार्यों का अधिकार होने के कारण अदालत समय नहीं दे पाती. इस कारण उनके यहां वर्तमान में चल रहे प्रकरण का निस्तारण नहीं हो पा रहा है.

उन्होंने कहा कि काश्तकारों को आवश्यक प्रकृति के प्रकरणों में भी कई माह तक कोर्ट के चक्कर लगाने पड़ते हैं, फिर भी उन्हें समय पर राहत नहीं मिल पाती है. ऐसी स्थिति में राजस्व अपील अधिकारी के क्षेत्राधिकार के प्रकरण भी संभागीय आयुक्त कोर्ट को देने की स्थिति में यह स्थिति और ज्यादा बिगड़ जाएगी. सिंह ने बताया कि वर्तमान में लगभग 25 राजस्व अपील अधिकारी हैं जबकि संभागीय आयुक्त मात्र 7 हैं. ऐसी स्थिति में 25 का काम 7 को देना न्याय को विलंबित करना होगा. अभिभाषक संघ के अध्यक्ष वीपी सिंह ने सरकार से बजट प्रस्ताव169 को वापस लेने की मांग की है.

Intro:अजमेर। अजमेर में राजस्व मंडल के अभिभाषक संघ की ओर 2 दिन का न्यायिक बहिष्कार रखा गया है। इसके तहत अधिकांश वकील या तो कार्य के लिए कोर्ट नही आए और जो आए उन्होंने आज कार्य नही किया। शुक्रवार को भी अभिभाषक न्यायिक बहिष्कार रखेंगे। अभिभाषकों के अध्यक्ष वीपी सिंह राजावत का कहना है कि बजट घोषणा में सरकार ने राजस्व न्यायालय के अपीलीय क्षेत्राधिकार में परिवर्तन किया है जो कि किसान विरोधी है। अभिभाषक संघ प्रकार के प्रस्ताव को वापस लेने की मांग कर रहा है।

राजस्व मंडल अभिभाषक संघ के अध्यक्ष वीपी सिंह का कहना है कि राजस्थान विधानसभा में बजट भाषण के पेरा संख्या169 मैं जिला कलेक्टर के आदेश के विरुद्ध राजस्व अपील अधिकारी को प्रस्तुत होने वाली अपील का क्षेत्राधिकार परिवर्तित करते हुए संभागीय आयुक्त को देने संबंधी प्रस्ताव रखा गया है। क्षेत्राधिकार परिवर्तन के पीछे राज्य सरकार की किसानों को सस्ता न्याय प्राप्त होने की सोच गलत है। सिंह ने बताया कि राजस्व अपील अधिकारी का पद प्रदेश के सभी जिलों में है। जहां नहीं है वहां भू प्रबंधन अधिकारी को इसका अतिरिक्त दायित्व दे रखा है इससे काश्तकारों को जिला मुख्यालय तक ही अपील के लिए जाना होता है। जबकि नए प्रस्ताव के लागू होने पर काश्तकार को संभागीय आयुक्त कार्यालय जाना पड़ेगा जिससे काश्तकार को समय ध्यान अतिरिक्त बाहर वह करना पड़ेगा। बताया कि राजस्व अपील अधिकारी के पास विशुद्ध रूप से न्यायिक कार्य का ही दायित्व होने से न्यायिक निस्तारण की गति सीमा भी ज्यादा रहती है एवं कार्य दिवसों में हमेशा उपलब्ध रहता है जबकि संभागीय आयुक्त के पास प्रशासनिक कार्यों का अधिकार होने के कारण अदालत समय नहीं दे पाते इस कारण उनके यहां वर्तमान में चल रहे प्रकरण का निस्तारण नहीं हो पा रहा है। काश्तकारों को आवश्यक प्रकृति के प्रकरणों में भी कई माह तक उनके कोर्ट के चक्कर लगाने पड़ते हैं फिर भी उन्हें समय पर राहत नहीं मिल पाती है ऐसी स्थिति में राजस्व अपील अधिकारी के क्षेत्राधिकार के प्रकरण भी संभागीय आयुक्त कोर्ट को देने की स्थिति में यह स्थिति और ज्यादा बिगड़ जाएगी।

सिंह ने बताया कि वर्तमान में लगभग 25 व राजस्व अपील अधिकारी हैं जबकि संभागीय आयुक्त मात्र साथ हैं ऐसी स्थिति में 25 गोट का काम 7 पोर्ट को देना न्याय को विलंबित करना होगा। अभिभाषक संघ के अध्यक्ष वीपी सिंह ने सरकार से बजट प्रस्ताव169 को वापस लेने की मांग की है....

one 2 one with - वीपी सिंह अध्यक्ष राजस्व मंडल अभिभाषक संघ


Body:प्रियांक शर्मा
अजमेर


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