अजमेर. रेल बचाओ देश बचाओ अभियान के तहत नेशनल फेडरेशन ऑफ इंडियन रेलवे के आह्वान पर शुक्रवार को उत्तर पश्चिमी रेलवे मजदूर संघ द्वारा हेड ऑफिस के बाहर निजीकरण का विरोध करते हुए उग्र प्रदर्शन किया गया. यूपीआरएस के बैनर तले प्रदर्शन में रेलवे के निजीकरण और निगमीकरण का विरोध किया गया.
इस दौरान मंडल अध्यक्ष एसई जैकब जानकारी देते हुए बताया कि इंडियन रेलवे लगातार निजीकरण का रुख अपना रही है, जिसके कारण रेलवे के साथ ही आम जनता को भी काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है. उन्होंने बताया कि रेलवे ने लगभग 109 रूट और 150 गाड़ियां निजी हाथों में सौंपने का निर्णय ले लिया है. इसके साथ ही विभिन्न सुविधाएं भी अब धीरे-धीरे कर्मचारियों से छीन ली गई हैं. इन सभी मुद्दों को लेकर शुक्रवार को विरोध प्रदर्शन किया गया.
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उन्होंने कहा कि आने वाले समय में इस विरोध को और उग्र किया जाएगा. जैकब ने कहा कि अगर जरूरत पड़ी तो रेलवे संगठन एक जाजम पर आकर सरकार को घेरने का प्रयास भी कर सकता है. जहां निजीकरण व निगमीकरण को लेकर नॉर्थ वेस्टर्न रेलवे एंप्लाइज यूनियन, नेशनल फेडरेशन ऑफ इंडियन रेलवे दोनों ही संगठन एक साथ रेल मंत्रालय को घेरने काफी मानस बना सकते हैं.
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जैकब ने कहा कि रेल को बचाना ही उनका उद्देश्य मात्र है, क्योंकि लगातार रेल को निजी हाथों में सौंपने का प्रयास किया जा रहा है. इसके अलावा धीरे-धीरे चिकित्सा सेवाओं को भी बंद किया जा रहा है. यूनियन ने घोर विरोध करते हुए केंद्रीय सरकार व केंद्रीय रेल मंत्री पीयूष गोयल को लेकर प्रदर्शन किया और उनके खिलाफ नारेबाजी की. उन्होंने कहा कि जल्द ही सरकार अपना फैसला वापस ले, नहीं तो उन्हें बड़े उग्र विरोध प्रदर्शन का सामना करना पड़ेगा.