अजमेर. राजस्थान में कोरोना की स्थिति दिन-ब-दिन भयावह बनती जा रही है. वहीं अजमेर में भी रोजाना लगभग 250 कोरोना पॉजिटिव मरीज सामने आ रहे हैं. इनमे 65 वर्ष की उम्र से अधिक के लोग ज्यादा हैं. चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग ने सैंपलिंग बढ़ा दी है. अब रोजाना 2500 लोगों की सैंपलिंग की जा रही है. वही दूसरी और युद्ध स्तर पर वैक्सीनेशन का कार्य भी जारी है. दिसम्बर 2020 तक कोरोना मरीजों की संख्या जिले में 16 हजार 525 थी. जबकि जनवरी 2021 से अभी तक यह संख्या 3 हजार 436 और जुड़ चुकी है.
पिछले तीन माह का असर जब कोरोना का प्रकोप कम होने से लोगों ने गाइडलाइन की पालना करना बंद कर दिया था. यही लापरवाही अब भारी पड़ रही है. सैंपलिंग बढ़ते ही कोरोना पॉजीटिव मरीजों के मिलने की संख्या बढ़ रही है. शहर ही नहीं ग्रामीण इलाकों में भी कोरोना पहुंच चुका है. सबसे ज्यादा कोरोना के शिकार 60 से अधिक उम्र के लोग शिकार हो रहे हैं. जबकि 0 से 15 वर्ष तक की आयु वर्ग के बच्चें एक भी कोरोना पॉजिटिव नहीं आए हैं.
चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग कोरोना की चैन तोड़ने के लिए कोरोना वायरस मरीजों की कांटेक्ट हिस्ट्री तलाश कर संपर्क में आए लोगों की जांच कर रहा है. जिस एरिया से चार व्यक्ति कोरोना पॉजिटिव आते हैं तो उसको माइक्रो कंटोनमेंट जोन बनाया जा रहा है. इसके अलावा उन इलाकों में डोर टू डोर सर्वे भी किया जा रहा है. जहां कोरोना पॉजिटिव मरीज सामने आ रहे हैं. जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ. केके सोनी ने बताया कि रेलवे स्टेशन बाहर से आने वाले लोगों की सैंपलिंग की जा रही है. इसके अलावा जेएलएन अस्पताल में 24 घंटे सैंपलिंग की व्यवस्था की गई है.
चिकित्सा विभाग की ओर से कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए तत्परता से प्रयास किए जा रहे हैं. उन्होंने बताया कि प्रशासन और पुलिस के सहयोग से माइक्रो कंटोनमेंट जोन बनाए जा रहे हैं. कोरोना पॉजिटिव मरीजों में जो गंभीर हैं उन्हें जेएलएन अस्पताल में भर्ती किया जा रहा है. जबकि शेष मरीजों को घर पर ही क्वॉरेंटाइन किया जा रहा है. मरीज के घर के सबसे नजदीक डिस्पेंसरी से उसकी दवाइयां भिजवाई जा रही हैं. डॉक्टर सोनी ने कहा कि यह कोविड 19 की पालना नहीं करने और लापरवाही बरतने का ही नतीजा है कि कोरोना पॉजिटिव मरीजों की संख्या बढ़ रही है. लोग कोरोना गाइडलाइन की पालना करेंगे तभी संक्रमण को फैलने से रोकने में मदद मिलेगी.