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Special: अजमेर में 70 दिनों बाद भी पटरी पर नहीं आई फर्नीचर हाउस की गाड़ी, ग्राहकों के टोटे - फर्नीचर व्यापार को नुकसान

लॉकडाउन में सिर्फ छोटे ही नहीं बड़े व्यापारियों को भी काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है. अजमेर के फर्नीचर व्यापारी जिनका व्यापार शादी ब्याह के सीजन में जोर पकड़ता है, मगर इस बार शादी के सीजन में ही लॉकडाउन की वजह से व्यापारियों का व्यापार मंदा पड़ गया है. लॉकडाउन 5.0 में दुकानें तो खुली हैं लेकिन व्यपारियों को अभी भी ग्राहकों का इंतजार है.

Furniture Trade of ajmer, अजमेर का फर्नीचर व्यापार
फर्नीचर व्यापारियों को उठाना पड़ा भारी नुकसान
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Published : Jun 7, 2020, 3:36 PM IST

अजमेर. कोरोना माहमारी के चलते लगाए गए लॉकडाउन को 70 दिनों से ज्यादा का समय बीत चुका है. वहीं राजस्थान सरकार की ओर से लॉकडाउन 5.0 में राहत देते हुए सभी व्यापारियों को दुकानें खोलने के आदेश दे दिए गए हैं. दुकानें तो खुल चुकी हैं लेकिन 70 दिनों बाद भी व्यापारियों के दुकानों पर ग्राहकों की कमी नजर आ रही हैं. वहीं बाजारों को 17 मई को खोल दिया गया था. लेकिन बाजारों में ज्यादा हलचल नजर आई. और बाजारों में ग्राहक नजर नहीं आ रहे.

फर्नीचर व्यापारियों को उठाना पड़ा भारी नुकसान

फर्नीचर व्यापारी शंकर ने जानकारी देते हुए बताया कि पहले महीने में ही 50 लाख से अधिक तक की बिक्री हो जाती थी, पर अब यह कमाई घटकर केवल 3 से 4 लाख ही रह गई है. फर्नीचर व्यवसाई को काफी बड़ा नुकसान उठाना पड़ रहा है. ऐसे में उनकी आर्थिक स्थिति धीरे-धीरे खराब होती जा रही है. अजमेर शहर की अगर बात की जाए तो लगभग 15 से 20 व्यापारी ऐसे हैं, जो होलसेल कार्य करते हैं. जिन्हें इस लॉकडाउन में लगभग करोड़ों रुपए का नुकसान हुआ है. इसके अलावा इन फर्नीचर हाउस पर काम करने वाले श्रमिक भी पलायन कर चुके हैं. जिससे स्थिति और खराब हो चुकी है.

शादी-सावे भी नहीं हुए इस बार

व्यापारी मूर्जनी ने बताया कि अक्टूबर से जनवरी फरवरी और मार्च में मांगलिक कार्यक्रम होते हैं. जिनमें फर्नीचर की बिक्री अधिक मात्रा में की जाती है. लेकिन इस बार देश मे कोरोना महामारी के चलते शादी विवाह नहीं हो पाए हैं. जिसको लेकर भी फर्नीचर हाउस की आर्थिक स्थिति बिगड़ने लगी है. वहीं पूरा माल गोदाम में रखा है जिसके इस साल बिकने की बिल्कुल भी उम्मीद नहीं है. वहीं राजस्थान सरकार की ओर से गाइडलाइन जारी की गई है की 50 लोगों में ही शादी समारोह कार्यक्रम होंगे. अब ऐसे में लोग इन खर्चों से बच रहे हैं.

Furniture Trade of ajmer, अजमेर का फर्नीचर व्यापार
लॉकडाउन से पहले फर्नीचर की बिक्री अधिक मात्रा में होती थी

दुकान का किराया और बिजली बिल की मार

एक तरफ व्यापारियों का कहना है कि जहां पिछले 2 महीनों से कोई भी काम नहीं हो रहा. अब ऐसे में दुकान का किराया और बिजली का बिल ने उनकी कमर तोड़ कर रख दी है. व्यापार तो पहले ही ठप पड़ा है. लेकिन खर्चे लगातार जारी हैं. जिससे व्यापारियों को काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है. जहां इस बार फर्नीचर हाउस को करोड़ों रुपए का नुकसान हुआ है. इस घाटे से उबरने के लिए उन्हें काफी समय लगेगा जहां जैन फर्नीचर हाउस के व्यापारी शक्ति जैन ने जानकारी देते हुए बताया कि पूरा काम बंद कर दिया गया है ना ही कोई ग्राहक आ रहा है और ना ही काम हो पा रहा है इसके चलते पूरा व्यापार ठप पड़ा है.

Furniture Trade of ajmer, अजमेर का फर्नीचर व्यापार
पटरी पर नहीं आई फर्नीचर हाउस की गाड़ी

व्यापारियों ने शुरू किया लॉकडाउन पैकेज

व्यापारी शक्ति जैन ने बताया कि इस महामारी के बीच पूरे देश में आर्थिक मंदी आई है. व्यापारियों पर भी काफी ज्यादा आर्थिक मार पड़ी है. इसके चलते व्यापारियों की ओर से फर्नीचर हाउस में लॉकडाउन पैकेज शुरू किया गया है. इस पैकेज में सिर्फ उन्हीं चीजों को सम्मिलित किया गया है, जो शादी समारोह में बेहद जरूरी होती है. उन को ध्यान में रखते हुए एक वाजिब कीमतों में इस पैकेज को तैयार किया गया है. जिससे लोगों पर भी आर्थिक भार ना पड़े और व्यापारियों की भी रोजी-रोटी चल सके. फर्नीचर हाउस से लगभग 5 से 7 हजार लोगों का परिवार पलता है. वहीं बता दे इस संक्रमण के बीच जिस तरह से फर्नीचर हाउस व्यापारियों की आर्थिक स्थिति बिगड़ी है. उसके साथ ही अधिकतर लोग पलायन कर चुके हैं.

Furniture Trade of ajmer, अजमेर का फर्नीचर व्यापार
व्यापारियों को अभी भी ग्राहकों का इंतजार

पढ़ेंः अलवर: Corona केस मिलने के बाद क्षेत्र में तैनात पुलिसकर्मियों पर पथराव

फर्नीचर हाउस की तो लगभग 300 से 400 फर्नीचर हाउस बने हुए हैं. जिसमें से बड़े स्तर पर 30 से 40 फर्नीचर हाउस काम करते हैं. जिनके सामने संकट की घड़ी आ चुकी है. कोरोना महामारी के चलते लोगों को काफी घाटा हुआ है. लगभग फर्नीचर हाउस को करोड़ों रुपए का नुकसान हुआ है. वहीं व्यापारियों ने जानकारी देते हुए बताया कि कई फर्नीचर हाउस के तो श्रमिक भी पलायन कर चुके हैं. जिसके चलते उनको ही काम देखना पड़ रहा है. अनुमानित तौर पर एक फर्नीचर हाउस पर लगभग 8 से 10 श्रमिक काम करते हैं. अगर छोटे व्यापारी है तो उसके पास तीन से चार लोग काम करते हैं अब ऐसे में लोगों की स्थिति काफी खराब होने लगी है.

अजमेर. कोरोना माहमारी के चलते लगाए गए लॉकडाउन को 70 दिनों से ज्यादा का समय बीत चुका है. वहीं राजस्थान सरकार की ओर से लॉकडाउन 5.0 में राहत देते हुए सभी व्यापारियों को दुकानें खोलने के आदेश दे दिए गए हैं. दुकानें तो खुल चुकी हैं लेकिन 70 दिनों बाद भी व्यापारियों के दुकानों पर ग्राहकों की कमी नजर आ रही हैं. वहीं बाजारों को 17 मई को खोल दिया गया था. लेकिन बाजारों में ज्यादा हलचल नजर आई. और बाजारों में ग्राहक नजर नहीं आ रहे.

फर्नीचर व्यापारियों को उठाना पड़ा भारी नुकसान

फर्नीचर व्यापारी शंकर ने जानकारी देते हुए बताया कि पहले महीने में ही 50 लाख से अधिक तक की बिक्री हो जाती थी, पर अब यह कमाई घटकर केवल 3 से 4 लाख ही रह गई है. फर्नीचर व्यवसाई को काफी बड़ा नुकसान उठाना पड़ रहा है. ऐसे में उनकी आर्थिक स्थिति धीरे-धीरे खराब होती जा रही है. अजमेर शहर की अगर बात की जाए तो लगभग 15 से 20 व्यापारी ऐसे हैं, जो होलसेल कार्य करते हैं. जिन्हें इस लॉकडाउन में लगभग करोड़ों रुपए का नुकसान हुआ है. इसके अलावा इन फर्नीचर हाउस पर काम करने वाले श्रमिक भी पलायन कर चुके हैं. जिससे स्थिति और खराब हो चुकी है.

शादी-सावे भी नहीं हुए इस बार

व्यापारी मूर्जनी ने बताया कि अक्टूबर से जनवरी फरवरी और मार्च में मांगलिक कार्यक्रम होते हैं. जिनमें फर्नीचर की बिक्री अधिक मात्रा में की जाती है. लेकिन इस बार देश मे कोरोना महामारी के चलते शादी विवाह नहीं हो पाए हैं. जिसको लेकर भी फर्नीचर हाउस की आर्थिक स्थिति बिगड़ने लगी है. वहीं पूरा माल गोदाम में रखा है जिसके इस साल बिकने की बिल्कुल भी उम्मीद नहीं है. वहीं राजस्थान सरकार की ओर से गाइडलाइन जारी की गई है की 50 लोगों में ही शादी समारोह कार्यक्रम होंगे. अब ऐसे में लोग इन खर्चों से बच रहे हैं.

Furniture Trade of ajmer, अजमेर का फर्नीचर व्यापार
लॉकडाउन से पहले फर्नीचर की बिक्री अधिक मात्रा में होती थी

दुकान का किराया और बिजली बिल की मार

एक तरफ व्यापारियों का कहना है कि जहां पिछले 2 महीनों से कोई भी काम नहीं हो रहा. अब ऐसे में दुकान का किराया और बिजली का बिल ने उनकी कमर तोड़ कर रख दी है. व्यापार तो पहले ही ठप पड़ा है. लेकिन खर्चे लगातार जारी हैं. जिससे व्यापारियों को काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है. जहां इस बार फर्नीचर हाउस को करोड़ों रुपए का नुकसान हुआ है. इस घाटे से उबरने के लिए उन्हें काफी समय लगेगा जहां जैन फर्नीचर हाउस के व्यापारी शक्ति जैन ने जानकारी देते हुए बताया कि पूरा काम बंद कर दिया गया है ना ही कोई ग्राहक आ रहा है और ना ही काम हो पा रहा है इसके चलते पूरा व्यापार ठप पड़ा है.

Furniture Trade of ajmer, अजमेर का फर्नीचर व्यापार
पटरी पर नहीं आई फर्नीचर हाउस की गाड़ी

व्यापारियों ने शुरू किया लॉकडाउन पैकेज

व्यापारी शक्ति जैन ने बताया कि इस महामारी के बीच पूरे देश में आर्थिक मंदी आई है. व्यापारियों पर भी काफी ज्यादा आर्थिक मार पड़ी है. इसके चलते व्यापारियों की ओर से फर्नीचर हाउस में लॉकडाउन पैकेज शुरू किया गया है. इस पैकेज में सिर्फ उन्हीं चीजों को सम्मिलित किया गया है, जो शादी समारोह में बेहद जरूरी होती है. उन को ध्यान में रखते हुए एक वाजिब कीमतों में इस पैकेज को तैयार किया गया है. जिससे लोगों पर भी आर्थिक भार ना पड़े और व्यापारियों की भी रोजी-रोटी चल सके. फर्नीचर हाउस से लगभग 5 से 7 हजार लोगों का परिवार पलता है. वहीं बता दे इस संक्रमण के बीच जिस तरह से फर्नीचर हाउस व्यापारियों की आर्थिक स्थिति बिगड़ी है. उसके साथ ही अधिकतर लोग पलायन कर चुके हैं.

Furniture Trade of ajmer, अजमेर का फर्नीचर व्यापार
व्यापारियों को अभी भी ग्राहकों का इंतजार

पढ़ेंः अलवर: Corona केस मिलने के बाद क्षेत्र में तैनात पुलिसकर्मियों पर पथराव

फर्नीचर हाउस की तो लगभग 300 से 400 फर्नीचर हाउस बने हुए हैं. जिसमें से बड़े स्तर पर 30 से 40 फर्नीचर हाउस काम करते हैं. जिनके सामने संकट की घड़ी आ चुकी है. कोरोना महामारी के चलते लोगों को काफी घाटा हुआ है. लगभग फर्नीचर हाउस को करोड़ों रुपए का नुकसान हुआ है. वहीं व्यापारियों ने जानकारी देते हुए बताया कि कई फर्नीचर हाउस के तो श्रमिक भी पलायन कर चुके हैं. जिसके चलते उनको ही काम देखना पड़ रहा है. अनुमानित तौर पर एक फर्नीचर हाउस पर लगभग 8 से 10 श्रमिक काम करते हैं. अगर छोटे व्यापारी है तो उसके पास तीन से चार लोग काम करते हैं अब ऐसे में लोगों की स्थिति काफी खराब होने लगी है.

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