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बेहद जरूरी है किसी भी महामारी से लड़ने के लिए एकजुट प्रयास : अंतरराष्ट्रीय महामारी तैयारी दिवस - कोरोना का नया वैरियंट JN1

International Day of Epidemic Preparedness : किसी भी महामारी या संक्रमण के फैलने जैसी आपात स्थिति से लड़ने तथा महामारी से बचने के लिए पहले से ही सभी जरूरी तैयारियों के लिए प्रयास करने हेतू संगठनों व लोगों को प्रेरित करने के उद्देश्य से हर साल 27 दिसंबर अंतरराष्ट्रीय महामारी तैयारी दिवस मनाया जाता है.

International Day of Epidemic Preparedness
International Day of Epidemic Preparedness
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Dec 27, 2023, 12:01 AM IST

हैदराबाद : कोविड-19 ने दुनिया भर को महामारी के कारण पैदा हो सकने वाली भयावह परिस्थितियों से रूबरू करवाया है. कोविड़ 19 का प्रभाव पूरी दुनिया ने बेहद गंभीर स्वरूप में महसूस किया. लेकिन इस घटना ने संगठनों व लोगों को भविष्य में किसी भी प्रकार की महामारी या चिकित्सीय आपदा से बचने के लिए पहले से ही तैयारी करने के लिए प्रेरित भी किया है.

कोविड़ 19 की शुरुआत से ही दुनिया के कई हिस्सों में इस महामारी के अलग-अलग वेरिएन्ट लोगों को कभी कम तो कभी ज्यादा परेशान करते आए हैं. यही नहीं इसके अलावा भी कई चिकित्सीय आपदाओं व महामारियों का प्रभाव दुनिया के अलग अलग हिस्सों में रहने वाले लोग हमेशा से झेलते आए हैं. सिर्फ कोविड़ ही नहीं बल्कि किसी भी प्रकार की महामारी या संक्रामक रोगों के प्रकोप को रोकने, उनके निवारण के लिए हर संभव प्रयास करने तथा इसके लिए रिसर्च व संबंधी प्रणालियों में निवेश के लिए भी लोगों को प्रेरित करने के उद्देश्य से हर साल 27 दिसंबर को अंतरराष्ट्रीय महामारी तैयारी दिवस मनाया जाता है.

जरूरत और उद्देश्य
सभी जानते हैं कि महामारियों का मानव जीवन पर विनाशकारी प्रभाव पड़ता है, जो सिर्फ महामारी काल के दौरान ही नहीं बल्कि लंबे समय तक अंतरराष्ट्रीय, राष्ट्रीय तथा व्यक्तिगत स्तर पर लोगों के सामाजिक और आर्थिक विकास को प्रभावित करता है. खासतौर पर उनका प्रभाव गरीब और कमजोर देशों के नागरिकों व उनकी अर्थव्यवस्थाओं पर ज्यादा पड़ता है. ऐसे में भविष्य में महामारी की तीव्रता और गंभीरता को रोकने के लिए प्रभावी उपायों को लेकर जागरूकता बढ़ाने, उनसे जुड़ी सूचनाओं के आदान-प्रदान, महामारी के इलाज व उससे बचाव के लिए रिसर्च व शोध को बढ़ावा देने की जरूरत बहुत ज्यादा बढ़ जाती है.

अंतरराष्ट्रीय महामारी तैयारी दिवस का मुख्य उद्देश्य सार्वभौमिक स्वास्थ्य कवरेज को आगे बढ़ाने के लिए प्राथमिक स्वास्थ्य देखभाल प्रणालियों को मजबूत बनाने के लिए प्रयास करने तथा आपातकालीन परिस्थिति के लिए महामारी तैयारी प्रणाली तैयार करने के लिए सरकारी व गैर सरकारी संगठनों को प्रेरित करना है.

जरूरी है जागरूकता

वर्ष 2020 में 27 दिसंबर को संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा महामारी के खिलाफ रोकथाम, तैयारी तथा इस दिशा में साझेदारी के महत्व के बारे में लोगों को जागरूक व प्रेरित करने के उद्देश्य से पहले अंतरराष्ट्रीय महामारी तैयारी दिवस का आयोजन किया गया था. गौरतलब है कि विश्व स्वास्थ्य संगठन तथा संयुक्त राष्ट्र प्रणाली दुनियाभर में संक्रामक रोगों और महामारी के प्रभावों को रोकने व उन्हे कम करने तथा महामारी के प्रति प्रतिक्रियाओं के समन्वय व उनसे जुड़े मुद्दों को संबोधित करने के लिए राष्ट्रीय, अंतरराष्ट्रीय तथा क्षेत्रीय प्रयासों को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते है.

संयुक्त राष्ट्र की वेबसाइट पर उपलब्ध सूचना के अनुसार के संयुक्त राष्ट्र के सभी सदस्य देश उन लोगों पर विशेष ध्यान देने के साथ समावेशी, समान और गैर-भेदभावपूर्ण भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं, जो महामारी या संक्रमण की जद में आने की सबसे अधिक आशंका के चलते असुरक्षित या कमजोर स्थितियों में हैं.

गौरतलब है कि इस अंतरराष्ट्रीय दिवस पर महामारी की रोकथाम, तैयारी और महामारी के खिलाफ साझेदारी के महत्व को उजागर करने के लिए शिक्षा और जागरूकता बढ़ाने वाली गतिविधियों का आयोजन किया जाता है. इस अवसर पर संयुक्त राष्ट्र सभी सदस्य देशों, राज्यों, संयुक्त राष्ट्र प्रणाली के संगठनों और अन्य वैश्विक, क्षेत्रीय और उपक्षेत्रीय संगठनों, सरकारी व गैर-सरकारी संगठन तथा शैक्षणिक संस्थानों से सभी जरूरी गतिविधियों में प्रतिभाग करने व उनका आयोजन करने के लिए आह्वान करता है.

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हैदराबाद : कोविड-19 ने दुनिया भर को महामारी के कारण पैदा हो सकने वाली भयावह परिस्थितियों से रूबरू करवाया है. कोविड़ 19 का प्रभाव पूरी दुनिया ने बेहद गंभीर स्वरूप में महसूस किया. लेकिन इस घटना ने संगठनों व लोगों को भविष्य में किसी भी प्रकार की महामारी या चिकित्सीय आपदा से बचने के लिए पहले से ही तैयारी करने के लिए प्रेरित भी किया है.

कोविड़ 19 की शुरुआत से ही दुनिया के कई हिस्सों में इस महामारी के अलग-अलग वेरिएन्ट लोगों को कभी कम तो कभी ज्यादा परेशान करते आए हैं. यही नहीं इसके अलावा भी कई चिकित्सीय आपदाओं व महामारियों का प्रभाव दुनिया के अलग अलग हिस्सों में रहने वाले लोग हमेशा से झेलते आए हैं. सिर्फ कोविड़ ही नहीं बल्कि किसी भी प्रकार की महामारी या संक्रामक रोगों के प्रकोप को रोकने, उनके निवारण के लिए हर संभव प्रयास करने तथा इसके लिए रिसर्च व संबंधी प्रणालियों में निवेश के लिए भी लोगों को प्रेरित करने के उद्देश्य से हर साल 27 दिसंबर को अंतरराष्ट्रीय महामारी तैयारी दिवस मनाया जाता है.

जरूरत और उद्देश्य
सभी जानते हैं कि महामारियों का मानव जीवन पर विनाशकारी प्रभाव पड़ता है, जो सिर्फ महामारी काल के दौरान ही नहीं बल्कि लंबे समय तक अंतरराष्ट्रीय, राष्ट्रीय तथा व्यक्तिगत स्तर पर लोगों के सामाजिक और आर्थिक विकास को प्रभावित करता है. खासतौर पर उनका प्रभाव गरीब और कमजोर देशों के नागरिकों व उनकी अर्थव्यवस्थाओं पर ज्यादा पड़ता है. ऐसे में भविष्य में महामारी की तीव्रता और गंभीरता को रोकने के लिए प्रभावी उपायों को लेकर जागरूकता बढ़ाने, उनसे जुड़ी सूचनाओं के आदान-प्रदान, महामारी के इलाज व उससे बचाव के लिए रिसर्च व शोध को बढ़ावा देने की जरूरत बहुत ज्यादा बढ़ जाती है.

अंतरराष्ट्रीय महामारी तैयारी दिवस का मुख्य उद्देश्य सार्वभौमिक स्वास्थ्य कवरेज को आगे बढ़ाने के लिए प्राथमिक स्वास्थ्य देखभाल प्रणालियों को मजबूत बनाने के लिए प्रयास करने तथा आपातकालीन परिस्थिति के लिए महामारी तैयारी प्रणाली तैयार करने के लिए सरकारी व गैर सरकारी संगठनों को प्रेरित करना है.

जरूरी है जागरूकता

वर्ष 2020 में 27 दिसंबर को संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा महामारी के खिलाफ रोकथाम, तैयारी तथा इस दिशा में साझेदारी के महत्व के बारे में लोगों को जागरूक व प्रेरित करने के उद्देश्य से पहले अंतरराष्ट्रीय महामारी तैयारी दिवस का आयोजन किया गया था. गौरतलब है कि विश्व स्वास्थ्य संगठन तथा संयुक्त राष्ट्र प्रणाली दुनियाभर में संक्रामक रोगों और महामारी के प्रभावों को रोकने व उन्हे कम करने तथा महामारी के प्रति प्रतिक्रियाओं के समन्वय व उनसे जुड़े मुद्दों को संबोधित करने के लिए राष्ट्रीय, अंतरराष्ट्रीय तथा क्षेत्रीय प्रयासों को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते है.

संयुक्त राष्ट्र की वेबसाइट पर उपलब्ध सूचना के अनुसार के संयुक्त राष्ट्र के सभी सदस्य देश उन लोगों पर विशेष ध्यान देने के साथ समावेशी, समान और गैर-भेदभावपूर्ण भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं, जो महामारी या संक्रमण की जद में आने की सबसे अधिक आशंका के चलते असुरक्षित या कमजोर स्थितियों में हैं.

गौरतलब है कि इस अंतरराष्ट्रीय दिवस पर महामारी की रोकथाम, तैयारी और महामारी के खिलाफ साझेदारी के महत्व को उजागर करने के लिए शिक्षा और जागरूकता बढ़ाने वाली गतिविधियों का आयोजन किया जाता है. इस अवसर पर संयुक्त राष्ट्र सभी सदस्य देशों, राज्यों, संयुक्त राष्ट्र प्रणाली के संगठनों और अन्य वैश्विक, क्षेत्रीय और उपक्षेत्रीय संगठनों, सरकारी व गैर-सरकारी संगठन तथा शैक्षणिक संस्थानों से सभी जरूरी गतिविधियों में प्रतिभाग करने व उनका आयोजन करने के लिए आह्वान करता है.

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