उज्जैन। जिले के नागदा तहसील में NIA ने मंगलवार तड़के दो जगहों पर बड़ी कार्रवाई की. नागदा के बिरलाग्राम थाना क्षेत्र के दुर्गापुर कॉलोनी निवासी योगेश भाटी के साथ ही ग्राम रत्नाखेड़ी में राजपाल चंद्रावत के यहां दबिश दी. दोनों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया. दोनों संदिग्धों की तस्वीरे भी सामने आई हैं. योगेश और राजपाल पर आरोप है कि पंजाब के मोहाली में पंजाब इंटेलिजेंस ऑफिस पर रॉकेट लॉन्चर दागने और सिद्धू मुसेवाला हत्याकांड में आरोपियों को नागदा में पनाह दी गई.
घंटों पूछताछ के बाद संदिग्धों को छोड़ा : हालांकि पकड़ाए संदिग्ध योगेश का स्टेटमेंट सामने आया है कि उसका सिद्धू मुसेवाला और किसी को शरण दिलवाने से कोई लेना देना नहीं है. फिलहाल कई घंटों की पूछताछ के बाद योगेश भाटी और राज्यपाल को एनआईए ने छोड़ दिया है. उनके मोबाइल फोन व कछ दस्तावेज एनआईए की टीम अपने साथ ले गई है. जानकारी अनुसार योगेश भाटी और राजपाल चंद्रावत दोनों दोस्त हैं. हाल ही में 7 माह की तिहाड़ जेल काट कर लौटे हैं. हरियाणा से पकड़ाए दीपक रमदा ने दोनों का नाम लिया है. बताया जा रहा है कि दीपक ने जब रॉकेट लॉन्चर दागा तो दोनों ने साथ दिया था. दीपक को एनआईए ने नेपाल बॉर्डर से गिरफ्तार किया है. वहीं एनआईए की टीम ने योगेश भाटी व राजपाल चंद्रावत कई घंटों पूछताछ की. एनआईए की जांच के बाद ही पता चलेगा कि इन दोनों की क्या भूमिका थी.
उज्जैन जिले के लिए चिंता का विषय : बता दें कि इसके पहले भी एनआईए द्वारा उज्जैन जिले में कार्रवाई की गई थी. नागदा में इससे पहले इंदौर में राहुल गांधी की भारत जोड़ों यात्रा से पहले एक रेस्टोरेंट में धमकी वाले लेटर के आरोपी को नागदा से पकड़ा था. बीते दिनों PFI, SIMI के विरुद्ध भी उज्जैन में कई जगह पर बड़ी कार्रवाई देखने को मिली थी. उज्जैन के लिए यह बड़ी चिंता का विषय है कि कुख्यात अपराधी उज्जैन में पनाह लेने पहुंचते हैं. यहां अपनी जड़ें मजबूत कर रहे हैं. बाबा महाकाल की नगरी लाखों श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र है. ऐसे में सुरक्षा की दृष्टि से उज्जैन की और ध्यान देना बेहद जरूरी हो गया है.