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अवैध खनन में कर्नाटक के बेल्लारी को पीछे छोड़ रहा सतना, मौत को बुलावा दे रहीं खदानें - सतना

मध्यप्रदेश के कई जिलों के साथ सतना जिले में भी अवैध रूप से कई खदानें संचालित हो रही हैं. सतना जिले में चल रहे अवैध खनन की तुलना कर्नाटक के बेल्लारी से की गई थी. इसके बावजूद खनिज विभाग कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है.

सतना जिले में हो रहे अवैध खनन
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Published : Jun 9, 2019, 5:17 PM IST

सतना। मध्यप्रदेश के कई जिलों में अवैध रूप से खदानें संचालित हो रही हैं. जिनके धंसने से कई मजदूरों की मौत भी हो चुकी है. ऐसे मामले दर्ज तो हो जाते हैं, लेकिन कार्रवाई जमीन पर नहीं दिखती, बल्कि फाइलों में दबकर दम तोड़ देती है. वन भूमि पर दिनदहाड़े खनन और परिवहन हो रहा है. कुछ खनन कारोबारी निजी भूमि पर भी खनन कर रहे हैं, जिसके बावजूद खनिज विभाग कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है.

सतना जिले में हो रहे अवैध खनन

सतना जिले में चल रहे अवैध खनन की तुलना कर्नाटक के बेल्लारी से की गई थी. जिले के मझगवां, नागौद, उचेहरा, मैहर, रामनगर में अवैध खदानें संचालित हो रही हैं. जिनसे रसूखदार-दबंग अवैध मुरम का व्यापार कर रहे हैं और खदान धंसने से मरने वाले मजदूरों के परिवार की खदान संचालक सहायता भी नहीं करते, ऐसे कई मामले खनिज विभाग के संज्ञान में होने के बावजूद भी कार्रवाई नहीं की जाती है.

जब खनिज अधिकारियों से बात की गई है तो उन्हें खुद भी नहीं पता की, जिले में कितनी खदानें अवैध रूप से चल रही हैं. उनके पास कोई आंकड़ा नहीं है. उनका कहना है कि जो भी खदानें है, वो खुले तौर पर चल रही हैं, लेकिन जल्द ही अवैध खदानों पर कार्रवाई होगी. हाल ही में नागौद के सितपुरा गांव में खदान को लेकर दो महिलाओं और एक पुरुष के ऊपर गोलियां चलाई गई थी, जिसमें 2 महिलाओं की मौत हो गई थी, जबकि पुरुष अभी भी जबलपुर में इलाजरत है.

सतना। मध्यप्रदेश के कई जिलों में अवैध रूप से खदानें संचालित हो रही हैं. जिनके धंसने से कई मजदूरों की मौत भी हो चुकी है. ऐसे मामले दर्ज तो हो जाते हैं, लेकिन कार्रवाई जमीन पर नहीं दिखती, बल्कि फाइलों में दबकर दम तोड़ देती है. वन भूमि पर दिनदहाड़े खनन और परिवहन हो रहा है. कुछ खनन कारोबारी निजी भूमि पर भी खनन कर रहे हैं, जिसके बावजूद खनिज विभाग कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है.

सतना जिले में हो रहे अवैध खनन

सतना जिले में चल रहे अवैध खनन की तुलना कर्नाटक के बेल्लारी से की गई थी. जिले के मझगवां, नागौद, उचेहरा, मैहर, रामनगर में अवैध खदानें संचालित हो रही हैं. जिनसे रसूखदार-दबंग अवैध मुरम का व्यापार कर रहे हैं और खदान धंसने से मरने वाले मजदूरों के परिवार की खदान संचालक सहायता भी नहीं करते, ऐसे कई मामले खनिज विभाग के संज्ञान में होने के बावजूद भी कार्रवाई नहीं की जाती है.

जब खनिज अधिकारियों से बात की गई है तो उन्हें खुद भी नहीं पता की, जिले में कितनी खदानें अवैध रूप से चल रही हैं. उनके पास कोई आंकड़ा नहीं है. उनका कहना है कि जो भी खदानें है, वो खुले तौर पर चल रही हैं, लेकिन जल्द ही अवैध खदानों पर कार्रवाई होगी. हाल ही में नागौद के सितपुरा गांव में खदान को लेकर दो महिलाओं और एक पुरुष के ऊपर गोलियां चलाई गई थी, जिसमें 2 महिलाओं की मौत हो गई थी, जबकि पुरुष अभी भी जबलपुर में इलाजरत है.

Intro:एंकर इंट्रो ---
सतना जिले भर में अवैध रूप से खाद आने संचालित हो रही हैं । इन खदानों के धसने से कई गरीब मजदूरों की मौते हो चुकी हैं । इन सभी के मामले को दर्ज हो जाते हैं लेकिन इन की कार्रवाई सिर्फ कागजों पर ही रह जाती है । मध्य प्रदेश के बेल्लारी जैसे उत्खनन के नाम पर सतना जिला बदनाम हो चुका है जा जिले भर मैं अवैध उत्खनन जोरों पर है । राजस्व वन भूमि को दिनदहाड़े खनन और परिवहन हो रहा है कुछ खनन कारोबारी निजी भूमि पर भी खनन कर रहे हैं मगर खनिज विभाग जान कर भी अंजान बना हुआ ।


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सतना जिले में अवैध खनन को कर्नाटक के बेल्लारी जैसे अवैध खनन की तुलना की गई थी । जिले के मझगवां नागौद उचेहरा मैहर रामनगर इन जगहों में आज अवैध खदानें संचालित हो रही है । इन खदानों से जिले के रसूखदार और दबंग लोगों द्वारा मुरूम और छुई का व्यापार जोरो से चलाया जा रहा है । अक्सर देखा जाता है कि छुई की खदान धस जाने से गरीब बेसहारा मजदूरों की मौत हो जाती है गरीबों के कई बच्चे अनाथ हो जाते हैं । लेकिन खदान संचालकों द्वारा उनके सहायता के नाम पर कुछ भी नहीं दिया जाता सिर्फ गरीबों का शोषण किया जाता है । जिले भर में संचालित हो रही खदानों को लेकर खनिज विभाग जान कर भी अनजान बना हुआ है । कई मामले खनिज विभाग के संज्ञान में होने के बावजूद भी कार्यवाही नहीं की जाती । वजह यह है कि कहीं ना कहीं जिले के रसूखदार और दबंगों द्वारा संचालित खदानों में कार्रवाई करने पर खनिज विभाग डरता है । इस बारे में जब खनिज विभाग के अधिकारियों से बात की जाती है तो उन्हें यह खुद भी नहीं पता की जिले में कितने खरा ने अवैध रूप से चल रही है कोई आंकड़े इनके पास मौजूद नहीं है ।और कार्यवाही की बात करें तो तो यह कह कर टाल देते हैं की जल्दी अवैध खदानों पर कार्रवाई होगी । लेकिन कारवाही सिर्फ कागजों पर ही रह जाती है। । यही वजह है कि आज सतना जिले में अवैध रूप से खदान संचालकों के हौसले बुलंद हैं । अभी हाल ही में नागौद के सितपुरा गांव में खदान को लेकर दो महिलाओं और एक पुरुष के ऊपर दनादन गोलियों की बरसात की गई थी जिसमें 2 महिलाओं की मौत हो गई थी और एक पुरुष अभी भी जबलपुर में इलाजरत है ।


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ए.के. राय -- खनिज अधिकारी सतना ।
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