सतना। जिले के रेउरा खरीदी केंद्र में समर्थन मूल्य पर फसल बेचने वाले करीब 1 हजार से अधिक किसान बेहद परेशान हैं. गेहूं बेचने के 1 सप्ताह में किसानों के खातों में पैसे दिए जाने थे, लेकिन 2 महीने बीत जाने के बाद भी अभी तक किसानों को फसल का भुगतान नहीं किया गया है. ऐसे में किसानों को खरीफ के सीजन की फसलों की बुवाई शुरू करनी है, लेकिन किसान के पास बोवनी के लिए भी पैसे नहीं है, जिसकी वजह से किसान खाद, बीज और डीजल की व्यवस्था नहीं कर पा रहे हैं. लिहाजा किसान बेहद परेशान हैं और प्रशासन अपनी आंखें मूंदे बैठा हुआ है.
बारिश की भेंट चढ़ रहा गेहूं
दूसरी तरफ खरीदी केंद्रों पर अधिकारियों की लापरवाही का आलम ये है कि, केंद्रों पर रखे गेहूं का समय पर परिवहन और भंडारण ना होने से हजारों टन गेहूं खुले में पड़ा हुआ है, जो बारिश की भेंट चढ़ रहा है. बारिश में भीगा गेहूं सड़ रहा है, किसानों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.
भुगतान के लिए भटक रहे किसान
रेऊरा खरीदी केंद्र में किसानों से समर्थन मूल्य पर गेहूं की खरीदी की गई, किसानों को बिक्री की रसीद भी दे दी गई, लेकिन 2 माह बीत चुका है, अभी तक किसानों के खातों में पैसा नहीं आया, इसके पहले से लगभग एक हजार से ज्यादा किसान भुगतान के लिए इधर-उधर भटक रहे हैं, किसान सरकारी दफ्तरों के चक्कर काट रहे हैं, किसान खरीफ की फसल के लिए ना केवल खाद बीज खरीद पा रहा है, बल्कि डीजल के लिए पैसा ना होने से खेत भी नहीं जोत पा रहा है. इस बारे में एसडीएम पीएस त्रिपाठी ने बताया कि, अभी तक खरीदी केंद्रों से गेहूं उठाया नहीं जा सका है. जैसे-जैसे गेहूं का उठाव होता जा रहा है, किसानों को खातों में पैसा भी भेजा जा रहा है.