सतना। एक ओर पूरे देश में कोरोना वायरस की मार जारी है, वहीं दूसरी ओर मौसम ने भी रंग दिखाना शुरु कर दिया है. जिले में इस साल लगातार गर्मी के मौसम में तपन ना होकर बेमौसम बारिश होने से लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ सकता है. अगर मौसम समय पर अपना प्रभाव न दिखाए तो उसका दुष्प्रभाव देखने को मिलता है. मौसम में बदलाव की वजह से बीमारियों का भी खतरा बढ़ जाता है.
मौसम विभाग के वैज्ञानिक आरके श्रीवास्तव ने बताया कि पिछले साल 1 मई को गर्मी का पारा 43 डिग्री पहुंचा था, लेकिन इस साल 18 मई तक गर्मी का पारा 41 डिग्री तक ही पहुंचा है. पिछले साल की तुलना मे इस साल तापमान में काफी कमी आई है, जिसकी वजह से मानसून भी गर्मी के मौसम में आ रहे हैं.
मौसम वैज्ञानिक ने कहा कि लोग घरों से कम निकलें और धूप में गमछे का उपयोग जरुर करें. ठंडे पानी का सेवन धूप से आकर बिल्कुल ना करें, घरों के अंदर एसी से बचें और खानपान में संयम रखें, ताकि वायरल बीमारियों से बचा जा सके.
तापमान की गिरावट से वायरल बीमारी का खतरा रहता है. अगर नौतपा में तपन नहीं हुई तो कहीं ना कहीं सतना वासियों के लिए मौसम की दोहरी झेलनी पड़ सकती है. लॉक डाउन की वजह से आर्थिक गतिविधियों पर भी प्रभाव पड़ा है. कपड़ा और इलेक्ट्रॉनिक व्यापार में भी काफी प्रभाव पड़ा है. व्यापार में काफी गिरावट भी आई है. कहीं ना कहीं जिले में प्राकृतिक आपदा लोगों के लिए संकट का विषय बन सकती है.