सागर। सुरखी विधानसभा क्षेत्र के राहतगढ़ पंचायत अंतर्गत हुरा गांव से शव यात्रा की तस्वीरें सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रही हैं, जिसमें ग्रामीण आधा डूब कर नाले को पार करते हुए नजर आ रहे हैं.
दरअसल, गांव में काफी दूरी पर एक श्मशान घाट है, जिसकी हालत बहुत बुरी हो चुकी है. यहां टीन शेड तक की व्यवस्था नहीं की गई है. वही गांव से श्मशान घाट जाने के लिए कोई पक्का रास्ता तक मौजूद नहीं है, जिससे बारिश के समय रोड पर 3 से 4 फीट पानी भर जाता है. मजबूरन ग्रामीणों को इस नाले में आधा डूब कर श्मशान घाट पहुंचना पड़ता है.
परासरी कलां ग्राम पंचायत के हुरा गांव में 1 हजार 500 के लगभग जनसंख्या है, जहां एक श्मशान घाट है और वह भी क्षतिग्रस्त हालत में पड़ा हुआ है. टीन शेड भी उड़ चुके हैं. रास्ता भी ऐसा है कि अगर गांव में किसी व्यक्ति की मृत्यु हो जाए, तो दाह संस्कार के लिए श्मशान घाट तक ले जाने में लोगों को काफी दिक्कतें होती हैं.
दरअसल, श्मशान घाट तक पहुंचने के लिए ग्रामीणों को नाले से गुजरना पड़ता है, जिसमें वर्तमान में करीब 3 फुट तक पानी भरा हुआ है. रास्ता भी कीचड़ में तब्दील हो चुका है. पिछले दिनों बुजुर्ग महिला की मौत हो गई थी, तब भी लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ा था. इस बारे में ग्रामीण सतीश तिवारी ने बताया कि ग्राम पंचायत और जनपद पंचायत में शिकायत करने के बावजूद भी कोई व्यवस्था नहीं हो पाई है. अभी भी स्थिति जस की तस बनी हुई है.
बहरहाल, सुरखी विधानसभा क्षेत्र से कई बार राजस्व एवं परिवहन मंत्री गोविंद सिंह राजपूत विधायक रह चुके हैं. इस बार भी वह बीजेपी प्रत्याशी के रूप में मैदान में उतरेंगे. हालांकि सरकार भले ही क्षेत्र में विकास के बड़े-बड़े दावे करती हो, लेकिन श्मशान घाट जैसे मूलभूत सुविधाओं की दुर्दशा विकास के सारे दावों पर सवालिया निशान लगाती नजर आ रही है.