सागर। एक तरफ किसान कृषि कानूनों को लेकर आंदोलित हैं, दूसरी तरफ मध्यप्रदेश में फसल बर्बादी की सर्वे की मांग कर रहे किसानों का प्रशासनिक अधिकारी अपमान कर रहे हैं. उन्हें दुत्कार रहे हैं. किसानों के अपमान की ये घटना प्रदेश के राजस्व मंत्री गोविंद सिंह राजपूत के विधानसभा क्षेत्र सुरखी में सामने आई है. किसान ओला व पाला से बर्बाद हुई फसल लेकर नायब तहसीलदार के दफ्तर पहुंचे थे. जहां नायब तहसीलदार ने किसानों की फसल को कचरा बताया. उन्हें अपमानित किया.
दो दफा पहले भी कर चुके निवेदन
प्रदेश के राजस्व व परिवहन मंत्री गोविंद सिंह राजपूत के विधानसभा क्षेत्र सुरखी की जैसीनगर तहसील में पाला के चलते गेहूं की फसल बर्बाद हो गई है. किसान परेशान हैं. तहसील कार्यालय पहुंचकर किसानों ने दो दफा अपनी समस्या के बारे में बताया है. लेकिन कोई असर नहीं पड़ा. नाराज किसान एक बार फिर तहसील कार्यालय पहुंच गए. इस बार उनके हाथ में गेहूं की बालियां थीं.
किसानों से उठवाईं बालियां
तहसील कार्यालय के सामने प्रदर्शन करने के दौरान किसानों के हाथ से बालियां नीचे गिर गईं. ये नायाब तहसीलदार एल पी अहिरवार को नागवार गुजरा. उन्होंने सभी किसानों की क्लास लगा दी. साहब को भड़कता देख एक किसान उनके पांव छूने लगा तो उसे भी धक्का मार दिया. दुत्कारते हुए कहा बंद करो ये नौटंकी. यहां कचरा क्यों फैलाया है...? किसानों ने खुद बालियां उठाईं और कहा कि साहब ये कचरा नहीं अन्न है.
'साहब जो अन्न आए कचरा नोई कचरा केहो तो खै हो का'
महिला किसान फूलरानी ने नायाब तहसीलदार से कहा कि 'जो कचरा ने हुइए तो तुम खै हो का...? आज इखौ तुम कचरा बता रए... हमाए बाल-बच्चे काय में पालें, काय में का करें... हमाओ तो जो कचरा है... तुमे तो तनख्वाह आ रई... लाखों से हमें तो 10 रुपैया भी भारी हो रए. साहब हरों हों अन्न भी कचरा दिखा रओ.'
नायब तहसीलदार की सफाई
नायब तहसीलदार एलपी अहिरवार का कहना है किसानों की समस्याओं से सीनियर अधिकारियों को अवगत करा दिया गया है. एक-दो दिन बाद सर्वे कराएंगे. किसानों से किसी तरह का दुर्व्यवहार नहीं किया है.