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कचरे के ढेर में मिली कोविशील्ड वैक्सीन, क्या ऐसे पूरा होगा टीकाकरण अभियान?

रीवा में स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही सामने आई है, जहां मऊगंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के पास कचरे के ढेर में कोविशील्ड वैक्सीन (covishield Vaccine) की 200 से ज्यादा शीशी पड़ी मिली है. लापरवाही पर सवाल पूछने पर अधिकारी जांच कराने का रटा-रटाया जवाब देते नजर आ रहे हैं. सवाल ये उठता है कि क्या ऐसी लापरवाही के साथ प्रदेश में 100 फीसदी टीकाकरण का लक्ष्य पूरा होगा.

covidshield Vaccine Rewa
कचरे के ढेर में कोविशील्ड वैक्सीन
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Published : Nov 23, 2021, 7:39 PM IST

रीवा। एक ओर प्रदेश की शिवराज सरकार शत-प्रतिशत टीकाकरण के लिए महाअभियान चला रही है. वहीं दूसरी ओर एकबार फिर स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही सामने आई है. मामला रीवा जिले के मऊगंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का है. जहां कोरोना संक्रमण के लिए लगाई जा रही कोविशील्ड वैक्सीन (covishield Vaccine) की शीशियां भारी मात्रा में सीएचसी के पीछे कचरे के ढेर में पड़ी मिली हैं.अब स्वास्थ्य अधिकारी जांच की बात कर पूरे मामले से पल्ला झाड़ते नजर आ रहे हैं.

कचरे के ढेर में कोविशील्ड वैक्सीन

कचरे के ढेर में क्यों हैं कोविशील्ड वैक्सीन

मऊगंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के पीछे जीवनदायिनी बनी कोरोना वायरस संक्रमण की कोविशील्ड वैक्सीन (covishield Vaccine) कचरे के ढेर में पड़ी हुई है और जिम्मेदार लोग जांच का हवाला देते हुए मामले से बचते नजर आ रहे हैं. बताया जा रहा है कि कोविशील्ड वैक्सीन की तकरीबन 200 से ज्यादा फाइल कचरे में फेंकी गई है.

2022 है एक्सपायरी डेट

बता दें कि सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के कचरे में जो वैक्सीन की फाइल मिली है, उसमें 2022 की एक्सपायरी डेट है. वीडियो में साफ तौर से देखा जा सकता है कि कचरे के ढेर पर पड़ी कोविशील्ड वैक्सीन की बोतलों में 2022 की एक्सपायरी डेट है. मामले पर स्वास्थ्य अधिकारी ज्यादा कुछ बोलने से कतरा रहे हैं.

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जांच की बात कह पल्ला झाड़ रहे अधिकारी

प्रदेश में जहां बड़े पैमाने पर कोरोना वैक्सीनेशन (corona vaccination) का मेगा कैंप चल रहा है. वहीं इस तरह की बड़ी लापरवाही पर स्वास्थ्य अधिकारी खुलकर कुछ भी बोलने से बच रहे हैं. मामले पर रीवा के मुख्य चिकित्सा स्वास्थ्य अधिकारी बीएल मिश्रा से जब बात की गई तो पहले तो उन्होंने कुछ भी कहने से परहेज किया. मगर बाद में जांच का हवाला देते हुए अधिकारियों का बचाव कर लिया. मामले पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी का कहना है कि वैक्सीन को मेडिकल वेस्ट से सुरक्षित रखने का प्रावधान बनाया गया था, मगर इसमें किस तरह की लापरवाही बरती गई यह उनके संज्ञान में नहीं है, जिस पर उच्च स्तरीय जांच की जाएगी.

रीवा। एक ओर प्रदेश की शिवराज सरकार शत-प्रतिशत टीकाकरण के लिए महाअभियान चला रही है. वहीं दूसरी ओर एकबार फिर स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही सामने आई है. मामला रीवा जिले के मऊगंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का है. जहां कोरोना संक्रमण के लिए लगाई जा रही कोविशील्ड वैक्सीन (covishield Vaccine) की शीशियां भारी मात्रा में सीएचसी के पीछे कचरे के ढेर में पड़ी मिली हैं.अब स्वास्थ्य अधिकारी जांच की बात कर पूरे मामले से पल्ला झाड़ते नजर आ रहे हैं.

कचरे के ढेर में कोविशील्ड वैक्सीन

कचरे के ढेर में क्यों हैं कोविशील्ड वैक्सीन

मऊगंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के पीछे जीवनदायिनी बनी कोरोना वायरस संक्रमण की कोविशील्ड वैक्सीन (covishield Vaccine) कचरे के ढेर में पड़ी हुई है और जिम्मेदार लोग जांच का हवाला देते हुए मामले से बचते नजर आ रहे हैं. बताया जा रहा है कि कोविशील्ड वैक्सीन की तकरीबन 200 से ज्यादा फाइल कचरे में फेंकी गई है.

2022 है एक्सपायरी डेट

बता दें कि सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के कचरे में जो वैक्सीन की फाइल मिली है, उसमें 2022 की एक्सपायरी डेट है. वीडियो में साफ तौर से देखा जा सकता है कि कचरे के ढेर पर पड़ी कोविशील्ड वैक्सीन की बोतलों में 2022 की एक्सपायरी डेट है. मामले पर स्वास्थ्य अधिकारी ज्यादा कुछ बोलने से कतरा रहे हैं.

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जांच की बात कह पल्ला झाड़ रहे अधिकारी

प्रदेश में जहां बड़े पैमाने पर कोरोना वैक्सीनेशन (corona vaccination) का मेगा कैंप चल रहा है. वहीं इस तरह की बड़ी लापरवाही पर स्वास्थ्य अधिकारी खुलकर कुछ भी बोलने से बच रहे हैं. मामले पर रीवा के मुख्य चिकित्सा स्वास्थ्य अधिकारी बीएल मिश्रा से जब बात की गई तो पहले तो उन्होंने कुछ भी कहने से परहेज किया. मगर बाद में जांच का हवाला देते हुए अधिकारियों का बचाव कर लिया. मामले पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी का कहना है कि वैक्सीन को मेडिकल वेस्ट से सुरक्षित रखने का प्रावधान बनाया गया था, मगर इसमें किस तरह की लापरवाही बरती गई यह उनके संज्ञान में नहीं है, जिस पर उच्च स्तरीय जांच की जाएगी.

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