राजगढ़। 26 दिसंबर 2019 को भारत में आखिरी सूर्य ग्रहण देखा गया था. वहीं इस साल का प्रथम सूर्य ग्रहण 21 जून को पड़ रहा है. इस सूर्य ग्रहण का भारत में प्रभाव दिखाई देगा और भारत के कई हिस्सों में इस बार सूर्य ग्रहण देखने को मिलेगा. 21 जून वर्ष का सबसे बड़ा दिन होता है और उस दिन काफी वर्षों बाद सबसे लंबा सूर्यग्रहण देखने को मिलेगा. जो भारत समेत विश्व के अफ्रीका, पाकिस्तान के दक्षिण भाग और चीन में भी देखा जा सकेगा. सूर्य ग्रहण जहां कई मायनों में न सिर्फ खगोल शास्त्र में बल्कि ज्योतिषशास्त्र में भी काफी महत्व रखता है.
सूर्य ग्रहण मे जहां पृथ्वी और सूर्य के बीच में चंद्रमा के आ जाने के कारण पृथ्वी पर सूर्य का दिखाई देना लगभग बंद हो जाता है और ऐसी घटना न सिर्फ वैज्ञानिकों के लिए, बल्कि कहीं मायनों में खास होती है. इस साल जहां 21 जून को साल का पहला सूर्य ग्रहण लगने जा रहा है. वही दूसरा सूर्य ग्रहण 14 दिसंबर 2020 को होगा, लेकिन भारत में दिखाई नहीं देने की वजह से इसका धार्मित महत्व नहीं होगा.
इस समय लगेगा ग्रहण
इस बारे में जब हमने ज्योतिषाचार्य चंद्रकांत से बातचीत की, तो उन्होंने बताया कि इस बार का सूर्य ग्रहण काफी महत्वपूर्ण होने वाला है. क्योंकि साल 2020 में ये इकलौता ऐसा सूर्य ग्रहण है, जो भारत में दिखाई देगा. वहीं दूसरा सूर्य ग्रहण जो 14 दिसंबर को होगा, लेकिन भारत में दिखाई नहीं देगा.
इस बार का सूर्य ग्रहण साल के सबसे बड़े दिन होने जा रहा है. आषाढ़ कृष्ण अमावस्या 21 जून को लगने वाला सूर्य ग्रहण भारत में खंडग्रास के रूप में दिखाई देगा. भारत में इस सूर्य ग्रहण का प्रारंभ सुबह 10:14 से लेकर 1:38 दोपहर तक दिन तक रहेगा. भारत के अलावा ये सूर्य ग्रहण विदेशों में भी दिखाई देगा. जहां इसका मध्य 11:56 दिन में रहेगा. इसका सूतक 20 जून को रात्रि में 10:14 से प्रारंभ होगा और इसकी समाप्ति तक चलता रहेगा.
राशियों पर ग्रहण का प्रभाव
ज्योतिषाचार्य चंद्रकांत ने बताया कि, ये ग्रहण वृषभ, मिथुन, तुला, वृश्चिक, धनु राशियों के लिए अनुकूल नहीं रहेगा. वहीं मेष, कन्या से लेकर मकर राशियों वालों के लिए ये ग्रहण काफी लाभदायक रहेगा. जैसे कि मेष को सम्मान मिलेगा, तो वहीं सिंह को साथी सुख और कन्या राशि को शुभ समाचार मिलने के आसार हैं. मकर राशि के लिए भी ये ग्रहण शुभ साबित होगा. वहीं मिथुन के लिए ये आघात ला सकता है. तुला राशि वाले विवाद में पड़ सकते हैं, वहीं वृश्चिक राशि वालों को परेशानी हो सकती है, तो धनु राशि वाले अपने साथी के कष्ट से परेशान होंगे.
ग्रहण के दौरान करें ये उपाय
ज्योतिषाचार्य चंद्रकांत के मुताबिक, इस समय अन्न और जल ग्रहण न करें, सूर्य ग्रहण के दौरान अपने आराध्य भगवान इष्ट देव का जप करें. जैसे कि, भगवान भोलेनाथ का ॐ नमः शिवाय, भगवान विष्णु के लिए ॐ नमो भगवते वासुदेवाय. सूर्य ग्रहण के दौरान डाब जो एक पवित्र घास मानी जाती है, ये मंदिरों में मिल आसानी से मिल जाती है, इसको आप खाने-पीने की वस्तु और तेल आदि वस्तुओं में डाल दें. वहीं अगर आपको ये प्राप्त नहीं हो सकती है तो अपने घर में लगी हुई तुलसी का प्रयोग भी आप पवित्रता के लिए कर सकते हैं. ग्रहण के बाद स्वच्छ होकर और स्नान करने के बाद आप अपने अनुसार कुछ भी गरीबों में दान करें.
इसे कंकणाकार सूर्यग्रहण के नाम से भी जानते हैं
बता दें, इस बार साल के सबसे बड़े दिन 21 जून को दुर्लभ खगोलीय घटना होगी. यानी रविवार आषाढ़ अमावस्या को वलयाकार सूर्य ग्रहण लगेगा. इसे कंकणाकार ग्रहण भी कहते हैं. ये सूर्य ग्रहण देश के कुछ भागों में पूर्ण रूप से दिखाई देगा. ये सूर्य ग्रहण साल 2020 का पहला सूर्य ग्रहण भी होगा. इस बड़ी खगोलीय घटना को होने में आज से सिर्फ चार दिन शेष रह जाएंगे.