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इस जिले में नौनिहालों का FUTURE क्यों हो रहा है बर्बाद

राजगढ़ में शिक्षा का स्तर लगातार गिर रहा है. स्कूलों में शिक्षकों का अभाव होना, प्राचार्य में प्रबंधन की कमी होना, नियमित पढ़ाई नहीं हो पाना, चुनाव का शिक्षकों के ऊपर भार होना और उनके कार्य में बढ़ोतरी होना.

शिक्षा के स्तर में आई गिरावट
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Published : May 28, 2019, 8:26 AM IST

राजगढ़। जिले की स्कूलों में शिक्षकों की कमी का बच्चों की शिक्षा की गुणवत्ता पर बुरा असर पड़ रहा है. जिले में शिक्षा का स्तर क्यों गिर रहा है जब इस पर विचार किया गया तो कई अहम बातें सामने आईं. जैसे स्कूलों में शिक्षकों का अभाव होना, प्राचार्य में प्रबंधन की कमी होना और नियमित पढ़ाई नहीं हो पाना, चुनाव का शिक्षकों के ऊपर भार होना और उनके कार्य में बढ़ोतरी होना.

शिक्षा के स्तर में आई गिरावट

जिला शिक्षा अधिकारी बीएस दिसोरिया ने कहा कि इस बार हमारा रिजल्ट पिछले साल की तुलना में घटा है. शिक्षकों की कमी के साथ-साथ अंग्रेजी और गणित के अतिथि शिक्षक जो उपलब्ध करवाए गए थे वह भी ठीक से परिणाम नहीं दे पाए हैं. वहीं कुछ स्कूलों में विपरीत परिस्थितियों के चलते भी अच्छे परिणाम दिए हैं. लेकिन कुछ जगहों पर ठीक से प्रबंधन नहीं हो पाया.

मध्यप्रदेश के शिक्षा बोर्ड ने कुछ दिन पहले 10वीं और 12वीं का रिजल्ट घोषित किया था. 10वीं बोर्ड का रिजल्ट काफी निराशाजनक रहा. प्रदेश पिछले साल की तुलना में हाई स्कूल के रिजल्ट इस बार 11 प्रतिशत कर रहे. जिले के तकरीबन 18 स्कूलों का परिणाम 30 प्रतिशत से कम रहा है.

राजगढ़। जिले की स्कूलों में शिक्षकों की कमी का बच्चों की शिक्षा की गुणवत्ता पर बुरा असर पड़ रहा है. जिले में शिक्षा का स्तर क्यों गिर रहा है जब इस पर विचार किया गया तो कई अहम बातें सामने आईं. जैसे स्कूलों में शिक्षकों का अभाव होना, प्राचार्य में प्रबंधन की कमी होना और नियमित पढ़ाई नहीं हो पाना, चुनाव का शिक्षकों के ऊपर भार होना और उनके कार्य में बढ़ोतरी होना.

शिक्षा के स्तर में आई गिरावट

जिला शिक्षा अधिकारी बीएस दिसोरिया ने कहा कि इस बार हमारा रिजल्ट पिछले साल की तुलना में घटा है. शिक्षकों की कमी के साथ-साथ अंग्रेजी और गणित के अतिथि शिक्षक जो उपलब्ध करवाए गए थे वह भी ठीक से परिणाम नहीं दे पाए हैं. वहीं कुछ स्कूलों में विपरीत परिस्थितियों के चलते भी अच्छे परिणाम दिए हैं. लेकिन कुछ जगहों पर ठीक से प्रबंधन नहीं हो पाया.

मध्यप्रदेश के शिक्षा बोर्ड ने कुछ दिन पहले 10वीं और 12वीं का रिजल्ट घोषित किया था. 10वीं बोर्ड का रिजल्ट काफी निराशाजनक रहा. प्रदेश पिछले साल की तुलना में हाई स्कूल के रिजल्ट इस बार 11 प्रतिशत कर रहे. जिले के तकरीबन 18 स्कूलों का परिणाम 30 प्रतिशत से कम रहा है.

Intro:कुछ दिन पहले जारी हुए दसवीं के रिजल्ट में जिले का परिणाम काफी निराशाजनक रहा,जिसमे जिले का परिणाम 11 प्रतिशत की गिरावट आई हैं। वहीं इस साल जहां कुल विद्यार्थियों की संख्या 17818 थी जिसमे 11864 विद्यार्थी जहां उत्तीर्ण हुए वहीं 3802 अनुत्तीर्ण रहे और इस तरह जिले के विद्यार्थियों का प्रतिशत 66.87 रहा जो पिछले साल के अपेक्षा 11 प्रतिशत कम रहा।


Body:मध्य प्रदेश के शिक्षा बोर्ड ने जहां अभी कुछ दिन पहले अपना दसवीं और 12वीं का रिजल्ट डिक्लेअर किया था और जिस पर अनेक विद्यार्थियों ने उत्कृष्ट परिणाम देते हुए प्रदेश में अपना और अपने जिले का नाम दर्ज करवाया था वही प्रदेश में कहीं जिन्होंने काफी बेहतर परिणाम देते हुए काफी अच्छा प्रदर्शन किया था परंतु इन सबके बीच में राजगढ़ जिले ने हाल ही में आए रिजल्ट में काशी बेकार परिणाम देखने को मिला और जिले का पिछले साल की तुलना में हाई स्कूल के रिजल्ट में इस बार 11% एक कमी देखी गई और 66% हे विद्यार्थी इस बार परीक्षा को उत्तीर्ण कर पाए है । वहीं जिले के ऐसे अनेक स्कूल है जिनका परिणाम 30% से भी कम रहा और जिले के तकरीबन 18 स्कूलों का परिणाम 30% से कम रहा है। जब अनेक बिंदुओं पर विचार किया गया तो कुछ बातें जो सामने आए जिनके वजह से इस बार स्कूल का प्रतिशत काफी कम रह नहीं का कारण है उनमें से कुछ प्रमुख बिंदु है जैसे कि स्कूलों में शिक्षकों का अभाव होना, प्राचार्य मैं प्रबंधन की कमी होना और नियमित पढ़ाई नहीं हो पाना, पूरे साल के दौरान एक नहीं दो चुनाव का शिक्षकों के ऊपर भार होना और उनके कार्य में बढ़ोतरी होना और वही अनेक ऐसे कारण है जो शिक्षा के स्तर में गिरावट के मुख्य कारण है।


Conclusion:वहीं जब इस बारे में जिला शिक्षा अधिकारी बीएस डिसऑरिया से बात की गई तो उन्होंने कहा कि हां इस बार हमारा रिजल्ट पिछले साल की तुलना में घटा है जो एक काफी बुरी बात है परंतु मैंने जब इस बारे में चर्चा की और पता किया तो पता लगा कि हमारे यहां शिक्षकों की कमी है और वही अंग्रेजी और गणित के अतिथि शिक्षक जो उपलब्ध करवाए गए थे वह भी ठीक से परिणाम नहीं दे पाए हैं वही कुछ स्कूलों में विपरीत परिस्थितियों के चलते भी अच्छे परिणाम दिए हैं परंतु कुछ जगहों पर प्रचारित ठीक से प्रबंधन नहीं कर पाए है, वहीं इस बार रिजल्ट सुधारने के लिए जिले में अनेक प्रयास किए जाएंगे और विद्यालय पर मेरे द्वारा स्वयं नजर रखी जाएगी और उन विद्यालय का रिजल्ट 30% से कम रहा है उनसे हमने कारण बताओ नोटिस भी जारी किया है और उनसे जल्द इस पर रिपोर्ट मांगेंगे। विसुअल बच्चों के बाइट बी एस बिसोरिया जिला शिक्षा अधिकारी
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