पन्ना। छत्रसाल की नगरी में किसकी किस्मत कब चमक जाए, इसका अंदाजा लगाना मुश्किल होता है. एक तरफ जहां देश में कोरोना संकट काल के चलते रोजगार ठप पड़े हुए हैं, वहीं दूसरी तरफ पन्ना की रत्नगर्भा धरती बेशकीमती रत्न उगल रही है. अभी कुछ दिन पहले ही एक मजदूर की किस्मत चमकी थी और उसे एक हीरा मिला था. आज एक बार फिर 6 मजदूरों की किस्मत खुल गई है. उन्हें खुदाई के दौरान तीन हीरे मिले हैं. इन हीरों को मजदूरों ने हीरा कार्यालय में जमा करा दिया है.
बता दें, जरुआपुर उथली खदान से 6 मजदूरों को एक साथ तीन हीरे मिले हैं. जो लगभग साढ़े सात कैरेट के हैं. हीरा अधिकारी आरके पांडेय ने बताया कि, अभी इन हीरों का वैल्यू एडिशन नहीं हुआ है, तो कीमत अभी स्पष्ट नहीं हो पाई है. हालांकि एक अंदाजे के मुताबिक इन हीरों कीमत करीब 20 से 30 लाख रुपए के बीच बताई जा रही है.
जिन मजदूरों को हीरा मिला है, उनमें से एक शुबल सिकरवार ने बताया कि, कोरोना काल में कोई काम नहीं मिल रहा था, लिहाजा उन्होंने अपने साथियों के साथ मिलकर एक खदान का पट्टा लेने का मन बनाया और करीब डेढ़ महीने पहले खदान का पट्टा ले लिया. आज उनकी मेहनत रंग लाई और उन्हें तीन हीरे मिल गए. खदान के पट्टा की अवधि दिसंबर तक है, तो अभी शुबल और उसके साथी काम में लगे हुए हैं, उन्होंने उम्मीद जताई है कि, अभी और भी हीरे मिल सकते हैं.