मुरैना। प्रखर वक्ता, भारतीय नारी का हमेशा नेतृत्व करने वाली, बीजेपी की वरिष्ठ नेत्री और पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज का मंगलवार रात निधन हो गया. सुषमा स्वराज के निधन से जहां पूरा देश गमगीन है, वहीं बीजेपी सहित तमाम पार्टियां और आम जनता भी सुषमा स्वराज के निधन पर शोक व्यक्त करने के साथ-साथ उनके साथ बिताए हुए पलों को साझा कर रहे हैं.
मुरैना के महापौर और बीजेपी से पांच बार के सांसद रहे अशोक अर्गल ने भी सुषमा स्वराज से जुड़े अपने यादों को साझा किया. उन्होंने बताया कि सुषमा स्वराज सदैव पार्टी के प्रति समर्पित रहती थीं और कार्यकर्ताओं की परेशानियों के प्रति गंभीर रहती थीं. अशोक अर्गल ने कहा कि पार्टी में इतनी प्रतिभावान, ओजस्वी वक्ता और कार्यकर्ताओं के प्रति गंभीर रहने वाली नेता की पूर्ति होना निकट भविष्य में संभव नहीं है.
अशोक अर्गल ने 1996 का एक संस्मरण सुनाते हुए बताया कि मुरैना के झंडा चौक पर आम चुनाव से पहले पार्टी की आमसभा आयोजित की गई थी, जिसमें सुषमा स्वराज भी आई थीं. उस समय मेरा लोकसभा के लिए टिकट फाइनल नहीं हुआ था और मेरे चेहरे पर चिंता की लकीरें थीं, जो सुषमा जी ने पढ़ ली थीं. अर्गल ने बताया कि इसके बाद उन्होंने मुझे बुलाकर कहा कि क्यों अशोक कैसे खड़े-खड़े चेहरे को लटकाए हुए दिख रहे हो, तुम्हें चिंता करने की कोई जरूरत नहीं है, तुम्हारा टिकट कल तक फाइनल हो जाएगा. दूसरे दिन पार्टी द्वारा जो सूची जारी की गई, उसमें मेरा नाम मुरैना से लोकसभा के प्रत्याशी के रूप में था.
अशोक अर्गल ने बताया कि वे एनडीए की सरकार में मंत्री थीं और मैं सांसद रहा. 1996 से 2014 तक मैं लगातार संसद का सदस्य रहा और सुषमा जी के संपर्क में रहा. अर्गल ने कहा कि जब भी वे किसी समस्या को लेकर उनके पास जाते थे, तो सुषमा जी तत्काल उसका निराकरण कर देती थीं, चाहे वह समस्या किसी कार्यकर्ता की व्यक्तिगत रही हो या किसी आम जनता की रही हो, 24 घंटे में समस्या का समाधान कर उससे अवगत करा देती थीं.